बच्चों में भी हार्ट अटैक का बढ़ा खतरा, जानें क्या करें

(Photo Courtesy- Social Media)
हार्ट अटैक का खतरा अब बच्चों में भी बढ़ रहा है।
ऐसे कई केस सामने आए हैं, जहां बच्चों की टीवी या फोन देखते हुए हार्ट अटैक से मौत हो गई।
बीते दिन उत्तर प्रदेश के अमरोहा जिले में मोबाइल चलाते समय 11वीं के छात्र की हार्ट अटैक से मौत हो गई।
आइए सबसे पहले जानते हैं बच्चों में हार्ट अटैक के लक्षण।
असामान्य थकान, सांस लेने में तकलीफ, थोड़ा सा ही चलने पर सांस फूलना, छाती में दर्द व बेचैनी, चिड़चिड़ापन, स्किन का पीलापन पड़ना, लगातार पसीना आना, होठों के पास नीले निशान, फैमिली हिस्ट्री।
माता-पिता बच्चों की लाइफस्टाइल बेहतर बनाएं।
बच्चों को फिजिकल एक्टिविटीज के लिए प्रेरित करें।
खानपान सही रखें और जंक फूड न खाने दें।
जन्म के समय ही बच्चे की हार्ट की सभी जांच कराएं।
अगर बच्चे की छाती में दर्द और सांस लेने में तकलीफ जैसे लक्षण दिखे तो बिना देर किए तुरंत अस्पताल लेकर जाएं।