मोदी सरकार ने पाक के हिंदू प्रवासियों के लाए 'अच्छे दिन', अब DM भी लगा सकेंगे नागरिकता पर मुहर

Update:2016-12-25 13:53 IST

नई दिल्ली: पाकिस्तान के हिंदू प्रवासियों को केंद्र सरकार ने बड़ी राहत दी है। इस रहत के तहत अब जिले के जिलाधिकारी (डीएम) भी इन लोगों को नागरिकता की इजाजत दे सकेंगे। लंबे समय से इसकी मांग की जा रही थी। जयपुर, जोधपुर और जैसलमेर में नागरिकता के योग्य पाकिस्तानी नागरिकों को डीएम नागरिकता की इजाजत देंगे। इसके अलावा गरीब प्रवासियों के लिए नागरिकता आवेदन पत्र की फीस भी 100 रुपए कर दी गई है।

समाजसेवी संस्था 'सीमांत लोक संगठन' इन प्रवासियों के हक के लिए आवाज उठा रहा था। इसके चेयरमैन हिंदू सिंह सोढा ने टाइम्स अॉफ इंडिया (टीओआई) से बातचीत में कहा, कि 'यह फैसला प्रवासी लोगों के लिए बड़ी राहत है। इससे नागरिकता पाने में तेजी आएगी।'

लंबे समय से कर रहे थे मांग

सोढा ने बताया कि 'हम बहुत समय से नागरिकता देने का अधिकार जिलाधिकारियों के पास होने और आवेदन की फीस 100 रुपए करने की मांग कर रहे थे। हमें खुशी है कि आखिरकार गृह मंत्रालय के साथ लंबी दौर की बैठकों के बाद हमारी मांगों को मान लिया गया।'

जोधपुर और जैसलमेर में सबसे ज्यादा प्रवासी

राजस्थान के अलावा, नागरिकता देने का अधिकार गुजरात, छत्तीसगढ़, मध्यप्रदेश, महाराष्ट्र, उत्तरप्रदेश, वेस्ट और साउथ दिल्ली के जिलाधिकारियों को दिया गया है। राजस्थान में सिर्फ जयपुर, जोधपुर और जैसलमेर के जिलाधिकारियों के पास ही यह अधिकार होगा। गौरतलब है कि जोधपुर और जैसलमेर में सबसे ज्यादा प्रवासी रहते हैं।

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बैंक अकाउंट, प्रॉपर्टी आदि खरीद सकेंगे प्रवासी

सोढा ने कहा, अब जब राजस्थान के तीन डीएम को यह अधिकार दे दिया गया है हम राज्य सरकार से बातचीत कर एक सिस्टम बनाने को कहेंगे। ताकि बाकी जिलों में रह रहे प्रवासियों को भी फायदा मिल सके। 30 सांसदों की जॉइंट पार्लियामेंट कमिटी और राज्य व केंद्र के अधिकारियों के जोधपुर दौरे के महज एक हफ्ते में ही एक फैसला आया है। सोढा ने कहा कि अब हम इस फैसले को लागू कराने पर ध्यान देंगे, जिसमें कहा गया कि प्रवासी बैंक अकाउंट, ड्राइविंग लाइसेंस और प्रॉपर्टी खरीद सकते हैं।

ये था मामला?

गौरतलब है कि इससे पहले जून में जैसलमेर के मोहनगढ़ इलाके के कुछ अराजक तत्वों ने पाकिस्तानी हिंदुओं को भारतीय नागरिकता देने के नियमों में छूट दिए जाने को लेकर केंद्र सरकार से नाराजगी जताई थी। उन्होंने पाकिस्तानी हिंदुओं की झोपड़ियां भी जला दी थीं। वहीं, न्याय की मांग करते हुए पाकिस्तानी हिंदुओं ने एक जुलूस निकाला और जिलाधिकारी को एक ज्ञापन सौंपकर बताया था कि कुछ प्रभावशाली लोग उन्हें वहां से खदेड़ने की कोशिश कर रहे हैं।

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