बेसिक शिक्षा विभाग की अनोखी पहल, ऐसे करेंगे टीचरों की समस्याओं का समाधान
उत्तर प्रदेश में बेसिक शिक्षा विभाग एक अनोखी पहल करने जा रहा है। बेसिक शिक्षा विभाग अपने टीचरों की समस्याओं का निस्तारण उनके द्वार पर जाकर करने जा रहा है। इसके लिए 23 अक्टूबर से ‘समाधान दिवस’ का आयोजन करने जा रहा है। इसकी सफलता की पूरी जिम्मेदारी संबंधित जिले के जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी (बीएसए) की होगी। इसके चलते शिक्षकों में खुशी की लहर है।
लखनऊ: उत्तर प्रदेश में बेसिक शिक्षा विभाग एक अनोखी पहल करने जा रहा है। बेसिक शिक्षा विभाग अपने टीचरों की समस्याओं का समाधान उनके द्वार पर जाकर करने जा रहा है। इसके लिए 23 अक्टूबर से ‘समाधान दिवस’ का आयोजन करने जा रहा है। इसकी सफलता की पूरी जिम्मेदारी संबंधित जिले के जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी (बीएसए) की होगी। इसके चलते शिक्षकों में खुशी की लहर है।
नहीं बना कोई सिटीजन चार्टर
लखनऊ के जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी प्रवीण मणि त्रिपाठी ने बताया कि यूपी सरकार के आदेश पर ‘समाधान दिवस’ के लिए इसी जिले को पायलेट प्रोजेक्ट के तौर पर चुना गया है। इसके चलते 23 और 24 अक्टूबर को बख्शी का तालाब विकास खंड में समाधान दिवस का पहला आयोजन किया जाएगा। इस आयोजन के पीछे एक बड़ी वजह बेसिक शिक्षा विभाग में शिक्षकों के लिए कोई सिटीजन चार्टर नहीं बना है। इसलिए उनके मुददों की सुनवाई तत्कालिक रूप से नहीं हो पाती है। उम्मीद है कि समाधान दिवस से कई मामलों का मौके पर ही निस्तारण हो जाएगा।
इन मामलों का होगा निस्तारण
बीएसए प्रवीण मणि त्रिपाठी ने बताया कि शिक्षकों की मूलभूत समस्याएं जिसमें नियुक्ति, वेतन विसंगति, पदोन्नति, एरियर में रुकावट जैसी समस्याओं की सुनवाई की जाएगी। इसके लिए शिक्षक 22 तारीख तक संबंधित विकास खंड में अपना प्रत्यावेदन संबंधित समस्या के कागजात और प्रार्थना पत्र के साथ जमा करेंगे। इन शिकायतों पर दो दिन के अंदर निस्तारण की कार्यवाही होगी। अभी तक बख्शी का तालाब में लगने वाले समाधान दिवस के लिए 200 प्रत्यावेदन प्राप्त हो चुके हैं। जिनको सूचीबद्ध करने का काम किया जा रहा है। हर समस्या के लिए जिम्मेदार अधिकारी को ब्लाक स्तर पर भी चिन्हित करके कार्यवाही की जाएगी।