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Moradabad : किशोरी से गैंगरेप और निर्वस्त्र दौड़ाने मामले में यूपी पुलिस 'सुस्त', खाकी पर उठने लगे कई सवाल
Moradabad Video: मन में ये सवाल उठने लगे हैं कि पुलिस को इस घटना के बारे में जानकारी थी तो उसने कोई कदम क्यों नहीं उठाया? यह घटना 7 सितम्बर की है तो 20 सितंबर तक पुलिस कार्यवाही से क्यों बचती रही?
Moradabad Viral Video : उत्तर प्रदेश के मुरादाबाद जिले में इन दिनों अंधेरी रात में एक निर्वस्त्र घूमती लड़की का वीडियो तेजी से वायरल हो रहा है। इस वीडियो के चर्चा में आते ही लड़की को न्याय दिलाने की मांग उठने लगी। अपील यूपी पुलिस से की जाने लगी। लड़की का रात के समय सुनसान सड़क पर निर्वस्त्र वीडियो के वायरल होते ही पुलिस हरकत में आई। कहा जा रहा है कि, पुलिस ने आनन-फानन में कुछ मीडिया को बुलाया और प्रेस कान्फ्रेस कर मामले को निपटाने के काम किया।
क्या कहा पुलिस ने?
मुरादाबाद के पुलिस अधीक्षक ग्रामीण संदीप कुमार मीणा ने एक वीडियो जारी कर इस मामले में कहा, कि केस दर्ज कर लिया गया है। पीड़ित और उसके परिजनों का बयान लिया जा चुका है। पीड़ित और उसके मां-बाप ने धारा- 161 और 64 बयान में घटना से इनकार किया है। मुरादाबाद पुलिस के अनुसार साक्ष्य के आधार पर एक व्यक्ति नोशे को ज्यूडिशियल कस्टडी में भी भेजा गया है। आपको बता दें कि, घटना 7 सितंबर 2022 की बताई जा रही है।
क्या कहा पीड़िता की रिश्तेदार ने?
रिश्ते में पीड़िता की भाभी ने बताया, कि इस घिनौनी हरकत में प्रधान का बेटा शामिल है। जिसे बचाने के लिए ये षड्यंत्र रचा जा रहा है। क्षेत्र वासियों ने भी बताया की जिन-जिन लोगों ने इस घटना को अंजाम दिया है वो एक राजनीतिक पार्टी से संबंधित हैं। उनके राजनीतिक रसूख की वजह से ही पुलिस उन लोगों पर कार्रवाई से बच रही है।
उठने लगे सवाल
अब लोगों के मन में ये सवाल उठने लगे हैं कि जब स्थानीय पुलिस को इस घटना के बारे में जानकारी थी तो उसने कोई कदम क्यों नहीं उठाया। यह घटना 7 सितम्बर की है तो 20 सितंबर तक पुलिस कार्यवाही से क्यों बचती रही। साथ ही, इन 13 दिनों में रेप मामले में पुलिसिया कार्यवाही क्यों नहीं की गई। आखिर पुलिस इस मामले में देरी कर किसे बचाना चाह रही थी?
क्या है मामला?
यह घटना मुरादाबाद में भोजपुर थाना क्षेत्र की है। जहां पांच युवकों ने मेला देख कर लौट रही एक किशोरी को रास्ते से अगवा कर गैंगरेप किया। बाद में उसे निर्वस्त्र हालत में सड़क पर दौड़ाया। वह किशोरी चीखती-चिल्लाती रही। शर्मसार किशोरी किसी तरह अपने घर पहुंची। घटना के बाद से ही भोजपुर थाना पुलिस टालमटोल करती रही। आख़िरकार, सात दिन बाद एसएसपी के आदेश पर केस दर्ज किया था।