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बहुत रोचक हैं रक्षाबंधन के ये अनसुने किस्से, कर देंगे भावुक
लखनऊ: भाइयों और बहनों के बीच प्रेम और मजबूत बंधन का प्रतीक रक्षाबंधन का त्योहार आज है। आइए आज इस मौके पर रक्षाबंधन से जुड़ीं रोचक बातें जानते हैं...
रबींद्रनाथ टैगोर ने राखी का इस्तेमाल सामाजिक सौहार्द को बढ़ाने के लिए किया था। उन्होंने सुझाव दिया था कि स्वतंत्रता संग्राम को मजबूत बनाने के लिए और हिंदू एवं मुस्लिम के बीच सांप्रदायिक सौहार्द को बढ़ावा देने के लिए रक्षाबंधन अहम है।
सिकंदर की पत्नी ने पोरस को राखी बांधी थी। इसी वजह से एक युद्ध में पोरस ने सिकंदर को जान से नहीं मारा।
उत्तराखंड के कुमायूं में रक्षाबंधन का त्योहार अलग तरीके से मनाया जाता है। राखी बांधने के अलावा इस मौके पर लोग जनेऊ भी बदलते हैं।
आंध्र प्रदेश में भी इस तरह का एक त्योहार मनाया जाता है। इसका नाम अन्ना चेल्ली पसुमकलम है। यह त्योहार दिवाली के तीसरे या चौथे दिन पड़ता है। इस दिन बहन अपने भाई के लिए खाना बनाती है और स्नेह एवं प्रेम के साथ परोसती है। भाई अपनी बहन को उपहार और आशीर्वाद देता है। इस त्योहार का मुख्य मकसद बहन और भाई के बीच संबंध को मजबूत बनाना है। भाई अपने बहन की रक्षा करने और मुश्किल समय में उसका साथ देने का वादा करता है।
वैसे तो रक्षाबंधन भारत से जुड़ा त्योहार है लेकिन यह दुनिया भर में मनाया जाता है। नेपाल, मॉरीशस, यूएसए, श्रीलंका और यूएई में भारतीय और अन्य लोग भी रक्षाबंधन मनाते हैं। भाई और बहन के बीच बंधन का प्रतिनिधित्व करने के कारण इस त्योहार को व्यापक स्वीकार्यता मिलती है।
चित्तौड़ पर गुजरात के सुल्तान बहादुर शाह ने हमला कर दिया था। अपने राज्य की रक्षा के लिए चित्तौड़ की रानी कर्णावती ने हुमायूं को राखी भेजा। रानी को बचाने के लिए हुमायूं चल पड़ा लेकिन उसे थोड़ा समय लग गया जिससे वह रानी को बचा नहीं सका। लेकिन उसने बहादुर शाह को हराकर और रानी के बेटे को राज्य लौटाकर वादे को पूरा किया।
हृदय नाम का एक एनजीओ है जो पुरुषों के अधिकार के लिए लड़ता है। रक्षाबंधन मनाने का हृदय का अंदाज बहुत ही निराला है। एनजीओ ने एक पहल की है जिसके मुताबिक पुरुष महिलाओं को राखी बांधते हैं और महिलाओं से आईपीसी के सेक्शन 498 ए का दुरुपयोग नहीं करने का वचन मांगते हैं।