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Sonbhadra : मजदूरी की बंदरबांट, एक व्यक्ति को आठ लाख से अधिक का भुगतान, चहेतों को भेजी रकम

Sonbhadra: राबर्ट्सगंज ब्लाक में एक व्यक्ति के खाते में आठ लाख से अधिक रकम भेज दी गई है। इसी तरह कई और ग्राम पंचायतों में नियमों को ताक पर रखकर भाई-भतीजा, चहेतों को धनराशि भुगतान किए जाने की शिकायत की जा रही है।

Kaushlendra Pandey
Report Kaushlendra PandeyPublished By Deepak Kumar
Published on: 13 May 2022 12:12 PM GMT (Updated on: 13 May 2022 6:22 PM GMT)
Sonbhadra News In Hindi
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Sonbhadra : मजदूरी का बंदरबांट, एक व्यक्ति को आठ लाख से अधिक का भुगतान। (Social Media)

Sonbhadra: जिले की कई ग्राम पंचायतों में मजदूरी भुगतान के नाम पर लाखों का बंदरबांट सामने आया है। राबर्ट्सगंज ब्लाक (robertsganj block) के सलखन में पिछले वित्तीय वर्ष में महज एक व्यक्ति के खाते में आठ लाख से अधिक रकम भेज दी गई है। इसी तरह चोपन ब्लाक के गोठानी में 2020-21 में प्रधान के खाते में और राबर्ट्सगंज ब्लाक (robertsganj block) के मारकुंडी में 2021-22 में प्रधान के भाई के खाते में तीन लाख से अधिक धनराशि भेजने का मामला सामने आया है। इसी तरह कई और ग्राम पंचायतों में नियमों को ताक पर रखकर भाई-भतीजा, चहेतों को धनराशि भुगतान किए जाने की शिकायत की जा रही है। चोपन ब्लाक से जुड़े मसले को लेकर एक शिकायत भी बीडीओ चोपन के यहां पहुंची है, जिसे ग्राम पंचायत निधि का मामला बताते हुए प्रकरण डीपीआरओ को अंतरित कर दिया गया है।

राबर्ट्सगंज में महज तीन से चार ग्राम पंचायतों में सामने आया लाखों का खेल

राबर्ट्सगंज ब्लाक (robertsganj block) में पांचवें और 15वें वित्त से दर्शाए गए कार्यों के परिप्रेक्ष्य में जो मजदूरी भुगतान हुई है, उसमें एक कार्य की पूरी मजदूरी एक या दो से तीन व्यक्ति में ही भुगतान किए जाने की स्थिति से जहां बड़े घपले का अंदेशा जताते हुए जांच की मांग उठने लगी है। वहीं महज तीन से चार ग्राम पंचायतों में मजदूरी भुगतान का जो खेल सामने आया है, उसने लोगों के होश उड़ा दिए हैं। 2020-21 में हुए भुगतान के आनलाइन आंंकड़े बताते हैं कि मारकुंडी में कथित सूरज नामक व्यक्ति, जिसे प्रधान का भाई बताया जा रहा है, के खाते में अलग-अलग तिथियों में 3.88 लाख का भुगतान किया गया है। इसी तरह शाक पिट मजदूरी के रूप में सिद्ार्थ कुमार और विशाल के खाते में कुल 77076 रूपये भेजे गए हैं।

सलखन ग्राम पंचायत में मजदूरी भुगतान ने सारे आंकडों को पीछे छोड़ दिया है। यहां पांचवें और 15वें वित्त से कथित तुषार को 1.40 लाख, सत्यप्रकाश को 8.13 लाख, सुरेंद्र को 2.08 लाख, अनिल को 75,600, कुंदन को 75,600, पूनम को 1.03 लाख का भुगतान किया गया है।

इसी तरह कुरहुल ग्राम पंचायत में हैंडपंप चबूतरा, शाॅकपिट और इंटरलाकिंग मजदूरी के एवज में कथित बनारसी को 1,23,156, सीसी रोड में मजदूरी के लिए थंथीराम को 55512, महेंद्र को 53658, विमकेश को 20196, सामुदायिक शौचालय की मजदूरी के लिए फागू को 63555, बचयनिया को 49245, सुनीता को 23800 की धनराशि भुगतान की गई है। महुआंव कला में दिनेश कुमार को मजदूरी का 77774 रूपये प्रदान किया गया है।

उधर, चोपन ब्लाक के गोठानी में वर्ष 2020-21 में कथित तौर पर प्रधान के खाते में चार अक्टूबर से सात दिसंबर के बीच पांच अलग-अलग कार्यों का कुल 156324 रूपये भुगतान भेजे जाने का दावा किया जा रहा है। इसको लेकर आनलाइन दर्ज कराई गई शिकायत में गोठानी के अलावा 2021-21, 2021-22 में सिंदुरिया, वर्दिया, गोठानी, घटिहटा, अगोरी, बरगवां, चतरवार, नेवारी, पनारी, कोटा, परसोई, बैरपुर, कनहरा, कनछ, कन्हौरा, पनारी में श्रमिकों के नाम पर मजदूरी भुगतान में बड़े बंदरबांट का आरोप लगाया गया है। इस मामले की जांच खंड विकास अधिकारी चोपन को सौंपी भी गई थी लेकिन तीन दिन पूर्व उन्होंने यह कहकर मामले को डीपीआरओ के यहां अंतरित कर दिया कि मामला ग्राम पंचायत निधि से संबंधित है।

मजदूरी भुगतान का यह है नियम

शासन की तरफ से जिस व्यक्ति ने मजदूरी की है यानी जिसका मस्टररोल भरा गया है, उसी के खाते में भुगतान भेजने के निर्देश हैं लेकिन कई ग्राम पंचायतों में कार्य करने वाले सभी श्रमिकों की मजदूरी एक व्यक्ति या फिर महज दो से तीन व्यक्तियों के खाते में भेज दिया गया है। लोगों का आरोप है कि इससे किसको मजदूरी मिली, किसको नहीं, जहां यह पता नहीं चलेगा। वहीं कितने मजदूरों ने काम किया और कितने को कागज पर दिखाया गया, इसमें भी बड़ा गोलमाल देखने को मिल सकता है। बता दें कि पिछले माह ही चोपन में कायाकल्प कार्य की मजदूरी एक ही व्यक्ति के खाते में भेजने का मामला आने के बाद एफआईआर दर्ज कराई गई थी। वहीं शासनादेश के सख्ती से पालन कराने के निर्देश भी एडीओ पंचायतों को दिए गए थे।

संबंधितों की तरफ से दिया जा रहा तर्क

गोठानी के सेक्रेटरी पंकज मौर्या का कहना है कि भुगतान का मसला उनकी तैनाती के पहले का है। वहीं परसोई सेक्रेटरी अभिषेक का कहना है कि उनकी जानकारी में मजदूरी भुगतान में कोई गड़बड़ी नहीं की गई है। राबर्ट्सगंज ब्लॉक के सेक्रेटरी जितेंद्र कुमार का कहना है कि वह जब से आए हैं तब से उन्होंने ऐसे भुगतान पर रोक लगाने की कोशिश की है। कहां क्या गड़बड़ी है? रिकॉर्ड देखने के बाद ही कुछ कह पाएंंगे। एडीओ पंचायत राबर्ट्सगंज कृपाशंकर शुक्ला का का कहना था कि कई लोगों की मजदूरी किसी एक के खाते में भेजना गलत है। शिकायत मिलती है या कोई गड़बड़ी पकड़ में आती है तो कार्रवाई होगी। चोपन बीडीओ सुनील सिंह का कहना था कि हाल में ही शिकायत मिली है जो नियमानुसार होगा कार्रवाई होगी। वही डीपीआरओ विशाल सिंह का कहना था कि मामला उनके संज्ञान में नहीं है। वह इसकी जानकारी करेंगे। गड़बड़ी होगी तो कार्रवाई होगी।

Deepak Kumar

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