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Agra News: ताजमहल के अंदर पकड़े गए दो फर्जी गाइड, जाली लाइसेंस बरामद, आखिर क्या था मकसद

Agra News: फर्जी लाइसेंस के जरिए पर्यटकों से भी ठगी कर रहे थे। मामला पकड़ में आने के बाद ताजमहल के वरिष्ठ संरक्षण सहायक प्रिंस बाजपेयी ने दिनेश और यशपाल के खिलाफ थाने में मुकदमा दर्ज कराया है। पुलिस आरोपियों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई में जुट गई है।

Rahul Singh
Published on: 9 April 2023 10:22 AM GMT (Updated on: 9 April 2023 1:16 PM GMT)
Agra News: ताजमहल के अंदर पकड़े गए दो फर्जी गाइड, जाली लाइसेंस बरामद, आखिर क्या था मकसद
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ताजमहल

Agra News: मोहब्बत की निशानी कहे जाने वाले ताजमहल के अंदर दो फर्जी गाइड पकड़े गए हैं। दोनो फर्जी गाइड पर्यटकों को घुमाने के लिए ताजमहल पहुंचे थे। फीस तय करने के बाद दोनों गाइड पर्यटकों के साथ ताजमहल के अंदर थे। तभी एएसआइ (Archaeological Survey of India) कर्मचारियों ने दोनों तथाकथित गाइडों से उनका लाइसेंस दिखाने को कहा। इसी के बाद उनकी पोल खुल गई।

पकड़ा दिया फर्जी लाइसेंस

दोनो गाइडों ने एएसआइ कर्मचारियों के मांगने पर उन्हें लाइसेंस दिखाया। जब कर्मचारियों ने इसकी जांच की तो पता चला कि दोनों का लाइसेंस फर्जी हैं। अब दोनों की पोल खुल चुकी थी। एएसआइ ने दोनों को मौके पर पकड़ लिया। पकड़े गए दोनों आरोपियों के नाम दिनेश कुमार पुत्र बिहारी लाल और यशपाल पुत्र रामकिशन हैं। दिनेश नगला पैमा धांधूपुरा थाना ताजगंज क्षेत्र का रहने वाला है। जबकि यशपाल असद गली थाना ताजगंज क्षेत्र का रहने वाला है। बताया जा रहा है कि दोनों आरोपी फर्जी लाइसेंस की आड़ में फर्जीवाड़ा कर रहे थे।

दर्ज हुआ मुकदमा

कर्मचारियों ने पड़ताल की तो सामने आया कि कथित गाइड फर्जी लाइसेंस के जरिए पर्यटकों से ठगी कर रहे थे। मामला पकड़ में आने के बाद ताजमहल के वरिष्ठ संरक्षण सहायक प्रिंस बाजपेयी ने दिनेश और यशपाल के खिलाफ थाने में मुकदमा दर्ज कराया है। पुलिस आरोपियों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई में जुट गई है। प्रिंस बाजपेयी से मिली तहरीर के आधार पर पुलिस आरोपियों के खिलाफ आइपीसी की धारा 420, 467, 468 और 471 के तहत मुकदमा दर्ज कर लिया है। पुलिस आरोपियों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई करने में जुटी हुई है।

सक्रिय है फर्जी गाइडों का गिरोह, रहें सावधान!

दिनेश और यशपाल के पकड़े जाने के बाद फर्जी गाइडों का पूरा नेक्सस सामने आने की संभावना है। माना जा रहा है कि इस तरह के और भी फर्जी गाइड हो सकते हैं। जो फर्जी लाइसेंस की आड़ में पहले पर्यटकों को ताजमहल घुमाते हैं, फिर उन्हें खरीददारी पर ले जाकर उन्हें ठगी का शिकार करवा देते है। पूर्व में पर्यटकों के साथ हुई ठगी के अधिकांश मामलों में गाइडों की अहम भूमिका रही है। मामला पकड़ में आने के बाद एएसआइ कर्मचारियों ने इस तरह के गाइडों पर निगरानी तेज कर दी है। अधिकारियों ने साफ कह दिया है कि फर्जीवाड़ा करने वाले लोगों के साथ किसी भी तरह की रियायत नहीं बरती जाएगी ।

ये है भ्रमण कराने का नियम

नियम के मुताबिक वैध लाइसेंस होने पर कोई व्यक्ति ताजमहल के अंदर गाइड का काम कर सकता है। लेकिन अगर गाइड का लाइसेंस नहीं है, तो कोई व्यक्ति किसी पर्यटक को ताजमहल के अंदर फीस लेकर नहीं घुमा सकता है।

Rahul Singh

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