Dev Uthani Ekadashi 2022: घर में होते हैं लड़ाई-झगड़े और कलेश तो देव उठनी एकादशी पर करें उपाय, घर में रहेगी सुख-शांति

Dev Uthani Ekadashi 2022: हिंदू धर्म में देव उठनी एकादशी का विशेष महत्व होता है। भगवान विष्णु 6 महीने बाद नींद से उठते हैं। इस साल देव उठनी एकादशी का व्रत 4 नवंबर को है।

Report :  Anupma Raj
Update:2022-11-04 06:13 IST
Dev Uthani Ekadashi 2022 (Image: Social Media)

Dev Uthani Ekadashi 2022: हिंदू धर्म में देव उठनी एकादशी का विशेष महत्व होता है। ऐसा माना जाता है कि भगवान विष्णु 6 महीने बाद नींद से उठते हैं। इस साल देव उठनी एकादशी का व्रत 4 नवंबर को है। बता दें इस व्रत को देवोत्थान एकादशी और प्रबोधिनी एकादशी के नाम से भी जाना जाता है।इस दिन कुछ खास उपाय करने से घर में हो रहें कलेश से छुटकारा मिलता है।तो आइए जानते हैं उन उपायों के बारे में:

देव उठनी एकादशी पर घर में सुख शांति और समृद्धि के लिए करें ये उपाय: 

दरअसल ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, गृह क्लेश से छुटकारा पाने के लिए शिव-पार्वती की तस्वीर के सामने घी का दीपक जलाएं। इसके साथ ही रोजाना शिव चालीसा का पाठ करने से गृह कलेश से छुटकारा मिल जाता है। इस उपाय को आप देव उठनी एकादशी को भी करें।

देव उठनी एकादशी की शाम को तुलसी के सामने गाय के शुद्ध देसी घी का दीपक प्रज्वलित करें। फिर इसके बाद ऊँ वासुदेवाय नम: मंत्र का जाप करते हुए तुलसी की 11 परिक्रमा करें। इससे घर में लड़ाई झगड़े नहीं होंगे और घर में सुख-शांति बनी रहती है।

देव उठनी एकादशी के दिन खीर में तुलसी के पत्ते डाल कर भगवान विष्णु को भोग लगाएं क्योंकि ऐसा करने से घर में सुख-शांति बनी रहती है। 

देव उठनी एकादशी के दिन हर मनोकामना पूर्ति के लिए भगवान विष्णु की पूजा करके पीले फूल जरूर अर्पित करें और घर में सुख शांति के लिए भगवान विष्णु से प्रार्थना करें। 

देव उठनी एकादशी के दिन भगवान विष्णु के साथ माता लक्ष्मी की पूजा करने से धन लाभ और सौभाग्य की प्राप्ति होती है। साथ ही घर में सुख शांति बनी रहती है।

देव उठनी एकादशी को सुबह स्नानादि कार्यों से निवृत होकर श्रीमद्भागवत कथा का पाठ करें क्योंकि इससे भगवान विष्णु प्रसन्न होंगे और घर में सुख शांति बनी रहेगी।

दरअसल देव उठनी एकादशी के दिन तुलसी विवाह का विधान है। इसलिए इस दिन तुलसी के पौधे पर लाल रंग की चुनरी अर्पित करनी चाहिए। साथ ही चुनरी अर्पित करते समय इस मंत्र महाप्रसाद जननी सर्व सौभाग्यवर्धिनी आधि व्याधि हरा नित्यं, तुलसी त्वं नमोस्तुते। का उच्चारण करें। ऐसा माना जाता है कि इस तरह तुलसी पर चुनरी अर्पित करने से तुलसी मां और भगवान शालीग्राम जल्द प्रसन्न हो जाते हैं। साथ ही घर में सुख-शांति और धन-वैभव की प्राप्ति होती है। 

बता दें शास्त्रों में ऐसा कहा गया है कि तुलसी में मां लक्ष्मी का वास होता है और लक्ष्मी जी को प्रसन्न करने के लिए नियमित रूप से सुबह-शाम तुलसी के पास घी का दीपक जलाना चाहिए। इसलिए देवउठनी एकादशी के दिन भी तुलसी पर घी का दीपक जलाने से घर में सुख-समृद्धि का वास होता है। 

दरअसल ज्योतिष शास्त्र के अनुसार तुलसी में कच्चा दूध अर्पित करने का भी विधान है। इसलिए तुलसी विवाह के दिन तुलसी में थोड़ा कच्चा दूध अर्पित करें और ॐ नमो भगवते वासुदेवाय नम:' का उच्चराण करें। ऐसा माना जाता है कि ऐसा करने से मां लक्ष्मी और भगवान विष्णु प्रसन्न होकर कृपा बरसाते हैं और घर में सुख शांति का वास होता है।


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