Diwali Special Tips: इस दिवाली आपके घर भी आएंगी लक्ष्मी, बस इन उपायों से चमकायें अपनी किस्मत

Diwali Special Tips: दिवाली मे ंहर परेशानी का होगा अंत अगर कुछ विशेष बातों का रखते हैं ध्यान जानिए दीपावली टिप्स

Update:2023-10-31 11:00 IST

 Diwali Special Tips: 12 नवंबर को दिवाली का त्योहार मनाया जाएगा। दिवाली पर लक्ष्मी -गणेश जी की पूजा का खास महत्व होता है। इस दिन कार्तिक मास की अमावस्या होती है। और महानिशा काल में और स्थिर लग्न में मां लक्ष्मी की पूजा-अर्चना की जाती है। मां लक्ष्मी की पूजा करने से पूरे साल धन-धान्य की वृद्धि होती है। ऐसे में अगर आप पूजा के समय कुछ महत्वपूर्ण बातों का ध्यान रखते हैं तो आपकी किस्मत चमक सकता है। इस त्योहार के दिन आपको कुछ बेहद ही जरूरी बातों का ध्यान रखना होता है, ताकि आपके घर में सुख-समृद्धि का वास हो सके। ऐसा माना जाता है कि दिवाली के दिन घर में देवी लक्ष्मी का वास होता है। ऐसे में इस दिन घर को साफ-सुथरा व सजाकर रखना चाहिए।

दिवाली में करें लक्ष्मी-गणेश की पूजा

दीपोत्सव के इन पांच दिनों के दौरान व्यक्ति को सुबह ज्यादा देर तक सोने से परहेज करना चाहिए। दीपावली के दिनों में व्यक्ति को ब्रह्म मुहूर्त में ही उठकर घर की साफ-सफाई कर लेनी चाहिए। जो लोग सूर्योदय के बाद तक सोते रहते हैं, उन्हें देवी लक्ष्मी की कृपा नहीं मिल पाती।

इस दिन सबसे पहले अपने घर की उत्तर या पूर्व दिशा को (पूजास्थल) को साफ करके स्थिर लग्न में एक लकड़ी के पटरी पर सवा मीटर लाल कपड़ा बिछाकर भगवान गणेश, देवी लक्ष्मी और कुबेर आदि देवताओं की स्थापना करें।

सभी देवी देवताओं को रोली, चावल, धूप,दीप मोली, सफेद मिष्ठान्न अर्पण करें। भगवान गणेश को 27 हरी दूर्वा की पत्तियां और देवी लक्ष्मी को कमल का पुष्प चढ़ाएं।

 स्वयं स्थिर लग्न में लाल आसन पर बैठकर और अपने दाएं हाथ में जल लेकर देवी लक्ष्मी से अपने घर में सदैव रहने की प्रार्थना करें।

साथ ही कमलगट्टे की माला को लेकर ॐ गं गणपतये नमः, ॐ ह्रीं श्रीं महालक्ष्मये नमः और ॐ कुबेराय नमः मन्त्र का 108 बार जाप करें।

जाप के बाद भगवान गणेश, देवी लक्ष्मी और सभी देवताओं को सफेद मिठाई, फल और साबूदाने की खीर का भोग लगाएं। फिर उसको परिवार के सभी सदस्यों को प्रसाद के रुप में दें।

दिवाली की पूजा करने से पहले सभी पूजा सामग्री को पूजास्थल पर एक जगह इकट्ठा कर लें।

पूजा करने से करीब 15 मिनट पहले किसी जरुरतमंद सुहागन महिला को घर पर बुलाकर लाल साड़ी या सवा मीटर लाल कपड़ा और सुहाग की समस्त सामग्री और सफेद मिठाई अवश्य दें।

दिवाली की पूजा शुरु करने से पहले घर के सभी कमरों को रोशन कर दीजिए और घर के सभी दरवाजे और खिड़कियों को खोल दें, साथ ही घर में गुलाब की सुगन्ध करें।

दिवाली में करें ये उपाय बढ़ेगा धन 

सबसे पहले एक चकोर रेशमी पीला रुमाल लें और 27 कमलगट्टे, 11 पीली कोड़िया/शुद्ध गुलाब का इत्र और लाल चंदन का टुकड़ा लें।स्थिर लग्न में अपने घर की उत्तर दिशा में लाल आसन पर बैठें।भगवान गणेश और मां लक्ष्मी के सामने गाय के घी का दीपक जलाएं और उन्हें लाल गुलाब के फूल चढाएं।फिर ॐ श्रीं श्रियै नमः मंत्र का 108 बार जाप करें और मां लक्ष्मी से अपने घर में सदैव रहने के लिए प्रार्थना करें।

देवी लक्ष्मी से अपने मन की प्रार्थना और ये समस्त सामग्री पीले रुमाल में रखकर कलावे की मदद से बांध दें और इसे घर की तिजोरी में रख दें।स्थिर लग्न में या महानिशा काल में अपने घर की उत्तर या पूर्व दिशा में देवी लक्ष्मी के सामने गाय के घी का दीपक जलाएं और लाल आसन पर बैठकर भगवान गणेश जी का ध्यान करें और भगवान विष्णु के 108 नामों का जाप करें।

शुद्ध चांदी के बर्तन या किसी भी बर्तन में साबूदाने की खीर या सफेद मिठाई रखें और उन्हें लाल गुलाब के फूल और कमल के फूल चढ़ाएं।आसन पर बैठकर उच्च स्वर में श्री सूक्त का जाप करें। जाप करने के बाद माता लक्ष्मी को खीर या मिठाई का भोग लगाएं और इसे छोटी कन्या और सुहागन स्त्री को दें।

धनतेरस या दिवाली के दिन नमक का पैकेट जरूर खदीदकर लाएं, और उससे खाना बनाएं। ऐसा करने से माता लक्ष्मी की कृपा साल भर बनी रहेगी। दिवाली के दिन घर में नमक का पोछा भी लगाना चाहिए, जिससे गरीबी दूर होती है। इसके अलावा आप घर के उत्तर पूर्व कोने में नमक के दानों को कटोरी या डिबिया में करके रख सकते हैं। ऐसा करने से भी घर की सारी निगेटीविटी खत्म होती है, घर में उजा का संचार होता है।

दिवाली की शाम पूजा करते समय माता लक्ष्मी के सामने साबुत धनिया रखें। अगली सुबह उस धनिए को गमले में बो दें। हरे भरे धनिया का पेड़ निकलने पर घर में सुख समृद्धि के साथ आर्थिक स्थिति भी अच्छी रहेगी। क्योंकि माता को धनिया बहुत प्रिय है।

धनतेरस के दिन बाजार से कौड़ी खरीदकर लाएं। और दिवाली वाले दिन कैड़ियों को केसर से रंग कर माता को भेंट करें। बाद में इस कौड़ी को पीले रंग के कपड़े में बांधकर तिजोरी में रखें। माता लक्ष्मी हमेशा आप पर प्रसन्न रहेंगी।

कहते हैं कि धन लाभ के लिए पूजा के समय हल्दी को भी रखनी चाहिए। अगले दिन इसे भी या तो आप अपनी तजोरी में रख लें, या पूजा के स्थान पर ही रखा रहने दें। ऐसा करने से भी मां लक्ष्मी की कृपा बनी रहती है।

हल्दी, कुमकुम, सूखी धनिया, कमल गट्टे के दाने, कौड़ी और क्रिस्टल नमक को एक लाल रंग के कपड़े में बांध कर पोटली बना लें। अब लक्ष्मी माता के चरणों में स्पर्श करा कर अपने तिजोरी में रख दें। ऐसा करने से आपके धन में बढ़ोत्तरी होगी।

मां लक्ष्मी को आमंत्रित करने के लिये घर के द्वार को तोरण से सजायें। आम के पत्तों या अशोक के पत्तों से बनी तोरण शुभ मानी जाती है। मुख्य द्वार पर चावल और सिंदूर के मिश्रण से तैयार किये माँ लक्ष्मी के पैरों के चिन्ह जरूर अंकित करें। इनकी दिशा घर के अन्दर की तरफ होनी चाहिये।

दरवाजे पर हल्दी से ॐ या स्वास्तिक का चिन्ह जरूर बनाएं। कुछ चीजें घर में रखने से माँ लक्ष्मी की असीम कृपा मिलती है। पूजा में इस्तेमाल किये गये सिक्कों को लाल कपड़े में सुनहरे धागे के साथ तिजोरी या अलमारी में रखना चाहिये। घर में सम्पत्ति धन हमेशा बना रहे इसलिये लक्ष्मी गणेश के पूजन में कौड़ियां अवश्य रखनी चाहिए। इस दिन नई झाड़ू से घर की सफाई करें।

दिवाली में ऐसे जलाएं दीपक

दीपावली पर दीये जलाने का बहुत महत्व है। पूजा में कितने दीये जलाएं जाएँ और उनको कहां कहां पर रखा जाए इसका भी विधान है। दीपावली के दिन उत्तर दिशा में नीले और पीले बल्व लगाने से घर में लक्ष्मी का आगमन होता है। दीयों का भी विशेष महत्व है। दीये की संख्या का ध्यान देना बहुत जरूरी है। इसके लिए 11, 21, 51 यह शुभ संख्या मानी जाती है। इस संख्या में दिये जलायें और लक्ष्मी माँ का पूजन करते समय 11 घी के दीये अवश्य जलाने चाहिये। इससे घर हमेशा धन धान्य से भरपूर रहता है।

पहला दीपक मां लक्ष्मी का समक्ष जलाया जाता है। लक्ष्मी जी के सामने पीतल या किसी अन्य धातु का जलाया जा सकता है। उसके बाद पांच मिट्टी के दीपकों में गाय का घी डालकर उसे पूजा स्थान पर घर के कुलदेवी-देवताओं के लिए रखना चाहिए। यह कार्य आप अपने घर की परंपरा के अनुसार कर सकते हैं।

मां लक्ष्मी के सामने दीपक जलाने के बाद दूसरा दीपक मंदिर में जलाकर रख दें। तीसरा दीपक तुलसी के पौधे में जलाने से आरंभ करें और एक दीपक तुलसी में जलाएं। तुलसी में दीपक जलाने के बाद दरवाजे को दोनों ओर दीपक जलाकर रखें। एक दिया दरवाजे पर बनी रंगोली के बीचो-बीच रखें। दरवाजे पर दीपक जलाने के बाद पांचवा दीपक पीपल के वृक्ष के नीचे रखें। छठा दीपक पास के किसी देवस्थान पर प्रज्वलित करें। एक दीपक जहां आपका कूड़ा रखा जाता है, वहां पर रखें।

आठवें दीपक को बाथरुम में रखें। नौंवे दीपक को घर की मुंडेर पर रखें। दस नंबर के दीपक को घर की गैलरी या बाहरी दीवार पर रखें। ग्याहरवें दीपक को खिड़की पर जलाएं। बारहवें दीपक को छत पर रख दें। तेरहवें दीपक को किसी चौराहे पर रख आएं। चौंदहवे दीपक को अपने पितरों के लिए रखना चाहिए। अगर आपने गाय आदि पाल रखी है तो पंद्रहवें दीपक को गौशाला में जलाकर रखें।


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