हाथ की रेखाओं से जानें बीमारी, कैसे होगी मौत, सब लिखा इन लकीरों में
जीवन रेखा छोटी होती हो तो व्यक्ति की प्रतिरोधक क्षमता कम होती है, इस कारण व्यक्ति की जीवन शक्ति भी कम होगी।
लखनऊ : हस्तरेखा शास्त्र में हाथ की रेखाओ से जान सकते है अपनी शारीरक की बीमारियों और आने वाली दुर्घटनाओं के बारे में। हाथों में केवल रेखाएं ही महत्वपूर्ण नहीं है बल्कि इन पर बनने वाले चिह्न भी उतने ही खास हैं। रेखाओं पर बने चिह्नों का अपना महत्व है। ये सभी चिह्न नकारात्मक और सकारात्मक दोनों ही तरह से व्यक्ति के जीवन को प्रभावित करते हैं। चिह्नों के प्रभाव से संबंधित रेखा का महत्व कम या अधिक हो सकता है। रेखाओं पर बने निशान से व्यक्ति के जीवन में आने वाली संभावित बीमारी का पता भी लगाया जा सकता है।
हाथ में जीवन रेखा की स्थिति को देखकर भविष्य में होने वाली बीमारियों और दुर्घटनाओं के बारे में पहले ही पता किया जा सकता है।
बीमारियों और दुर्घटनाओं का संकेत
जीवन रेखा को बहुत ही महत्वपूर्ण माना गया है। ये रेखा हथेली में इंडेक्स फिंगर और अंगूठे के बीच में से शुरू होकर अंगूठे के नीचले हिस्से को घेरे हुए कलाई की तरफ जाती है। इसे लाइफ लाइन भी कहा जाता है। इस रेखा से सेहत और जीवन में होने वाली महत्वपूर्ण घटनाओं के साथ ही मृत्यु का भी विचार किया जाता है। इस रेखा पर त्रिभूज का निशान बनना शुभ होता है। इसके अलावा जीवन रेखा पर ध्वज, चक्र और स्वस्तिक का निशान होना भी शुभ माना जाता है।
इन बीमारियों से रहेंगे परेशान
जीवन रेखा हथेली के आखिरी हिस्से में (कलाई के पास) दो भागों में बंट जाती है, तो ऐसे व्यक्ति की मृत्यु उसके पैतृक घर से काफी दूर जाकर होती है जीवन रेखा के आखिरी में क्रॉस या गुणन का चिन्ह हो तो अंतिम समय में मृत्यु काफी दुखद होगी।
यदि चंद्र पर्वत पर नक्षत्र का निशान हो तो व्यक्ति जीवनभर पेट रोग से परेशान रहता है। उसे पेट में कोई ना कोई समस्या बनी रहती है। इसी तरह यदि व्यक्ति के हाथ और नाखून पीले पड़ने लगें और धब्बे जैसे दिखाई दें, बुध रेखा कटी-फटी हो तो ऐसे लोग आंत संबंधी बीमारी से ग्रसित रहते हैं।
टीबी रोग होने का खतरा
शनि पर्वत के नीचे द्वीप का निशान दिखाई दे तो रीढ़ की बीमारी होने का संकेत है। इसी तरह यदि बुध रेखा पर काले निशान के साथ नक्षत्र एवं द्वीप का निशान दिखाई दे तो व्यक्ति को पीलिया होने का खतरा बना रहता है।
अगर मस्तिष्क रेखा पर शनि पर्वत के निचले हिस्से में जंजीरनुमा निशान दिखाई पड़ते हैं तो यह फेफड़े और गले के रोगों की ओर इशारा करता है। हाथों में नाखून ऊंचे उठे हुए हों और मस्तिष्क रेखा शनि पर्वत से बुध पर्वत तक पंखदार होकर आगे बढ़े तो व्यक्ति को टीबी रोग होने का खतरा हो सकता है।
गठिया, मिर्गी और लकवा के संकेत
हाथों की अंगुलियां नुकीली और मुड़ी हुई हों, पर्वत नीचे दबा हुआ हो, नाखून लाल हो जाएं, साथ ही उन पर चकते जैसे निशान दिखाई दें तो यह मिर्गी रोग का संकेत देते हैं। हथेली में उच्च शनि पर्वत पर अनेक रेखाएं हो, मस्तिष्क रेखा शनि पर्वत के नीचे खंडित हो जाए, स्वास्थ्य खराब स्थिति में हो अर्थात घिसी और छिन्न-भिन्न हालत में हो, आयु रेखा को काटकर चंद्र पर्वत से रेखा निकले तो यह स्थिति गठिया रोग का संकेत देती है।
हृदय रेखा पर क्रॉस हो या स्वास्थ्य रेखा में अलग-अलग रंग दिखाई दे तो जातक को मिर्गी रोग होता है। यदि हृदयरेखा तथा चंद्र परत पर दो खड़ी लंबी लाइनें हों तो व्यक्ति को लकवा होता है।