ड्राइव थ्रू RT-PCR टेस्ट की खासियत, शुरु हुआ इस शहर में पहली बार
कोरोना के बढ़ते रफ्तार ने पूरे देश को अपनी आगोश में लिया है। कोरोना की दूसरी लहर से हर रोज हजारों के संख्या में संक्रमित ..
नई दिल्लीः कोरोना के बढ़ते रफ्तार ने पूरे देश को अपनी आगोश में लिया है। कोरोना की दूसरी लहर से हर रोज हजारों के संख्या में संक्रमित पाए जा रहे हैं। इस समय सरकार के लिए चिंता का विषय बना हुआ है। पिछले 24 घंटे में एक लाख से अधिक लोग कोरोना पॉजिटिव पाए गए। जिसके कारण लोगों के अंदर डर पैदा हो गया है।
बता दें कि सरकार हर संभव प्रयास कर रही है कि कोरोना की रफ्तार को कम किया जाए। इसके लिए कई जिलों में नाइट कर्फ्यू लगा दिया है। इसके बावजूद भी देश का हाल बिगड़ते जा रहा है। महाराष्ट्र से मजदूर प्रवासी अपने घर लौटने पर मजबूर हो गए हैं।
वही कोरोना के बढ़ते हुए मामलों को देखकर गुजरात सरकार ने टेस्टिंग पर जोर दिया है। सरकार का मानना है कि कोरोना की चेन को तोड़ने के लिए ज्याद से ज्यादा टेस्ट हो। ताकि कोरोना संक्रमण को रोका जा सके। देश में पहली बार कोरोना के लिए आरटीपीआर टेस्ट को ड्राइव थ्रू के माध्यम से शुरू किया गया।
अहमदाबाद में शुरूः
आपको बता दें कि अहमदाबाद म्युनिसिपल कोर्पोरेशन ने एक प्राइवेट लैब के साथ मिलकर इस ड्राइव थ्रू टेस्टिंग को शुरू करवाया है। इसमें गाड़ी में बैठा हुए व्यक्ति खुद टेस्ट कर पाएंगा। सबसे अच्छी बात यह है कि 24 से 36 घंटों में उन्हें अपनी रिपोर्ट रजिस्टर्ड मोबाइल नंबर पर मिल जाएगा।
क्या कहा ड्राइव थ्रू को लेकर लैब के सीईओ नेः
गौरतलब है कि कोरोना को हराने के लिए सरकार सभी हथकंडे अपना रही है। इस समय अहमदाबाद के सुप्राटेक लैब के जरिए शुरू किए गये इस ड्राइव थ्रू को लेकर लैब के सीईओ संदीप शाह का कहना है कि हमारे पास लैब पर तीन तरह के लोग सब से ज्यादा आते हैं। जिसमें ट्रैवेलिंग के लिए आरटीपीसीआर करवाने वाले, सिम्प्टम्स वाले और जिन्हें कोई सिम्प्टम्स नहीं होता है। लेकिन वो किसी कोरोना पॉजिटिव के सम्पर्क में आने के बाद अपना टेस्ट करवाते हैं। लैब में सभी लोग एक साथ इकट्टे होते हैं जिससे कारण ट्रैवेलिंग वाले को भी उसका इन्फेक्शन हो सकता है। इससे बचने कि लिए ड्राइव थ्रू सबसे सही कारगर साबित होगा।