कार्तिक पूर्णिमा पर जरूर करें इस मंत्र का जाप, कुछ ही दिनों में मिलेगा लाभ
जयपुर: हिंदू धर्म में पूर्णिमा का बहुत महत्व है। खासकर कार्तिक पूर्णिमा में स्नान और दान का खास महत्व है। शास्त्रों में ऐसी मान्यता है कि यह दिन भगवान विष्णु, देवाधिदेव शंकर और माता लक्ष्मी को विशेष रूप से पसंद है। कार्तिक पूर्णिमा के दिन गंगा स्नान के बाद दान करने से धन-धान्य की प्राप्ति के साथ-साथ सभी पापों से मुक्ति मिलती है। कार्तिक पूर्णिमा का दिन आर्थिक परेशानियों को दूर करने के लिए अच्छा होता है।
भगवान विष्णु और देवी लक्ष्मी को प्रसन्न करने यह उपाय लाभकारी होता है। कार्तिक पूर्णिमा की रात में स्नान और पूजा भी कर सकते हैं। लेकिन ब्रह्म मुहूर्त में इस मंत्र का जाप करना अत्यंत लाभकारी होता है।
मंत्र
"पुत्रपौत्रं धनं धान्यं हस्त्यश्वादिगवेरथम् प्रजानां भवसि माता आयुष्मन्तं करोतु मे"
पूर्णिमा की रात या ब्रह्म मुहूर्त इस दोनों समय में से किसी भी समय कर सकते हैं। इस मंत्र का जाप शुरू करने से पहले शुद्ध जल से स्नान कर पीले या सफेद वस्त्र धारण करें। फिर भगवान विष्णु और लक्ष्मी जी के सामने किसी आसन पर पद्मासन या सुखासन में बैठ जाएं। जहां आप बैठे वह ईशान कोण (उत्तर और पूर्व का कोना) होना चाहिए। इसके बाद अपनी मनोकामनाओं को ध्यान में रखते हुए भगवान विष्णु और माता लक्ष्मी से प्रार्थना करें। बाद में इस विशेष मंत्र का कम से कम 108 बार जाप करें। श्रद्धा पूर्वक इस मंत्र का जाप करने से कुछ ही दिनों में इसका लाभ मिलने लगेगा।