हाथों की लकीर बताएगी तकदीर, जानें सूर्य रेखा से बनेंगे अमीर या फकीर

Update:2016-06-02 10:09 IST

लखनऊ: हस्तरेखा शास्त्र के अनुसार हाथ की रेखाओं से भाग्य का अनुमान लगाया जाता है। हाथ सिर्फ कर्मशक्ति के ही प्रतीक नहीं होते, बल्‍कि ये भाग्य के निर्माता भी होते हैं। हाथ मनुष्य के भाग्य का आईना होता है। हस्तरेखा में सूर्य रेखा बहुत खास है। सूर्य रेखा मनुष्य के भाग्य को आलोकित करती है। सूर्य रेखा मान-सम्मान, धन, सुख और समृद्धि की प्रतीक है। जानिए सूर्य रेखा किस तरह से जातक की जिंदगी प्रभावित करती है।

यदि हाथ में दो समांतर सूर्य रेखाएं हों तो ये विशेष शुभ प्रभाव वाली होती हैं। इससे जातक धन, प्रसिद्धि, स्वास्थ्य और प्रशंसा प्राप्त करता है।

यदि सूर्य पर्वत से इस रेखा की एक शाखा मध्यमा की ओर जाए और एक शाखा सबसे छोटी उंगली( कनिष्ठा) की ओर जाए तो ऐसे जातक की मानसिक स्थिति बहुत अच्छी होती। इनकी याददाश्त तेज होती है और ऐसे लोग बहुत अच्छे वक्ता होते हैं। अगर ये राजनीति में जाते हैं तो बहुत लोकप्रिय होते हैं।

अगर ये भाग्य रेखा से अनामिका की ओर बढ़े तो जातक को यश दिलाती है। सूर्य रेखा पर गुणा जैसा निशान हो तो ये जातक को दुख देती है। ये मनोबल कमजोर होने का भी प्रतीक होती है।

हथेली में सूर्य रेखा रिंग फिंगर( अनामिका )के नीचे पाए जाने वाले सूर्य पर्वत पर होती है। सूर्य पर्वत पर होने से इसे सूर्य रेखा का नाम दिया गया है। जिसके हाथ में ये रेखा स्पष्ट होती है उसे धन, मान-सम्मान, सुख और प्रसिद्धि दिलाती है।

अगर सूर्य रेखा तरंग के आकार जैसी हो तो ये शुभ नहीं होती। इससे व्यक्ति का मन भटकता है और वो किसी भी नौकरी, रिश्ते और कार्य के प्रति अधिक भरोसेमंद नहीं होता।

कई लोगों के हाथों में सूर्य रेखा नहीं होती। वे भी सफल हो सकते हैं, लेकिन उन्हें अधिक परिश्रम करना होता है। ऐसे व्यक्ति के हाथ में अन्य रेखाएं भाग्य में बढ़ोतरी करती हैं।

मणिबंध से अनामिका तक गई सूर्य रेखा मनुष्य को लंबी उम्र, प्रसिद्धि और यश देती है। वो व्यक्ति ऐसा काम करता है जिसकी तारीफ करते हुए उसे लोग याद रखते हैं।

 

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