Ayodhya News: अयोध्या में हुए जमीन सौदों पर आयकर विभाग की नजर, IAS और PCS अफसरों की खंगाली जा रही कुंडली
Ayodhya News: अयोध्या में मंदिर निर्माण का मार्ग 2019 में सुप्रीम कोर्ट का फैसला आने के बाद प्रशस्त हो गया था। इसके बाद यहां पर जमीन खरीदने की होड़ सी मच गई। आरोप है कि अयोध्या में अफसरों और नेताओं ने अपने सगे – संबंधियों के नाम पर जमीनें खरीदीं। अब आयकर विभाग इन ब्यौरा जुटा रहा है।
Ayodhya News: प्रभु श्रीराम की नगरी अयोध्या में भव्य राम मंदिर निर्माण का काम जोर-शोर से चल रहा है। साल के अंत तक इसके पूरे होने की संभावना है। अगले साल की शुरुआत में मंदिर आम लोगों के दर्शन के लिए खुल जाएगा। अयोध्या में मंदिर निर्माण का मार्ग 2019 में सुप्रीम कोर्ट का फैसला आने के बाद प्रशस्त हो गया था। इसके बाद यहां पर जमीन खरीदने की होड़ सी मच गई।अयोध्या में जमकर जमीन के सौदे हुए हैं, जिसके कारण यहां की जमीनों के भाव आसमान छून लगे।
जमीन सौदों में हुई बेतहाशा वृद्धि को लेकर पहले भी विपक्ष सवाल खड़े करता रहा है। आरोप है कि अयोध्या में अफसरों और नेताओं ने अपने रिश्तेदारों और सगे – संबंधियों के नाम पर जमकर जमीनें खरीदीं। अब आयकर विभाग की भी इन सौदों पर नजर है। मिली जानकारी के मुताबिक, इनकम टैक्स हाल के वर्षों में अयोध्या में हुई लैंड डील का पूरा ब्योरा जुटा रहा है।
IAS और PCS अफसरों की खंगाली जा रही कुंडली
आयकर विभाग प्रदेश के उन IAS और PCS अफसरों की कुंडली भी खंगाल रहा है, जिन्होंने अयोध्या में जमीने खरीदी हैं। विभाग ऐसे अधिकारियों के सगे-संबंधियों के बारे में भी जानकारी एकत्रित कर रहा है। यदि जांच में इन अधिकारियों के विरूद्ध कोई गड़बड़ी पाई जाती है तो कड़ी कार्रवाई निश्चित है। आयकर विभाग IAS और PCS अफसरों की चल – अचल संपत्ति का ब्योरा भी खंगाल रहा है ताकि यह पता चल सके कि जमीनों की खरीद में काला धन का तो नहीं इस्तेमाल किया गया है।
जिन बड़े बिल्डर्स और संस्थाओं ने अयोध्या में जमीन के बड़े – बड़े टुकड़े खरीदे हैं, उनकी डिटेल भी निकाली जा रही है। विभाग यह पता लगाना चाहती है कि कहीं इन्होंने अधिकारियों के काले धन को तो जमीन खरीद में नहीं खपाया। बता दें कि सुप्रीम कोर्ट ने 9 नवंबर 2019 को अयोध्या स्थित रामजन्मभूमि बाबरी मस्जिद विवाद पर अपना फैसला सुनाया था।
अयोध्या में जमीन के भाव में भारी उछाल
मंदिर के पक्ष में फैसला आने के बाद अयोध्या में जमीन के भाव में भारी उछाल आया। इसके बाद यहां के नेताओं और अधिकारियों में जमीन खरीदने की होड़ मच गई थी। 2021 में एक अंग्रेजी अखबार ने अपनी रिपोर्ट में दावा किया था कि अयोध्या में तैनात तमाम छोटे-बड़े अधिकारियों ने अपने रिश्तेदारों और उनके पार्टनर्स के नाम पर यहां जमीनें खरीदी। विपक्ष के हंगामे के बाद सरकार ने ऐसे अधिकारियों की संपत्ति जांच करने की बात कही थी।