कुंभ- संगम तक आने जाने के लिए एक ही मार्ग, श्रद्धालुओं को हुयी परेशानी

धर्म और आध्यात्म की तंबुओ की नगरी में मेला प्रशासन द्वारा व्यवस्थाएं तो खूब की गई। इससे इनकार नहीं किया जा सकता। भीड़  को कन्ट्रोल करने के लिए बल्लियों का एक भूल भुलैया भी बनाया गया लेकिन  भीड़  को उसमें भी उसमें प्रवेश नहीं दिया गया। पूरा शहर स्नानार्थियों की भीड़ से खचाखच भरा था। प्रयागराज जंक्शन से लेकर फोर्ट रोड तक, चौक से लेकर फोर्ट रोड तक और सिविल लाइसं व इलाहाबाद जंक्शन से लेकर मेला क्षेत्र तक जिधर देखो सिर पर गठरी मोठरी लिए श्रद्धालुओं का रेला ही दिख।

Update: 2019-02-04 11:13 GMT

आशीष पाण्डेय

कुंभ नगर: धर्म और आध्यात्म की तंबुओ की नगरी में मेला प्रशासन द्वारा व्यवस्थाएं तो खूब की गई। इससे इनकार नहीं किया जा सकता। भीड़ को कन्ट्रोल करने के लिए बल्लियों का एक भूल भुलैया भी बनाया गया लेकिन भीड़ को उसमें भी उसमें प्रवेश नहीं दिया गया। पूरा शहर स्नानार्थियों की भीड़ से खचाखच भरा था। प्रयागराज जंक्शन से लेकर फोर्ट रोड तक, चौक से लेकर फोर्ट रोड तक और सिविल लाइसं व इलाहाबाद जंक्शन से लेकर मेला क्षेत्र तक जिधर देखो सिर पर गठरी मोठरी लिए श्रद्धालुओं का रेला ही दिखा। लेकिन मेला प्रशासन ने श्रद्धालुओं को सेक्टर 2 स्थित मीडिया सेंटर के सामने से सीधे काली सड़क में छोड़ दिया गया और अन्य रास्तों को बंद कर दिया गया। जिससे उसी रास्ते से संगम तक जा रही भीड़ संगम स्नान के बाद वापस उसी मार्ग से लौट रही थी। जिससे श्रद्धालुओं को परेशानी का सामना करना पड़ा।

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लाखों शौचालय की व्यवस्था लेकिन बनी रही अव्यवस्था

कुंभ क्षेत्र को स्वच्छ बनाने के लिए मेला क्षेत्र में लगभग एक लाख बीस हजार से अधिक शौचालय बनवाए गए लेकिन संगम जाने वाले सर्भी मार्गों को बंद कर केवल काली सड़ को चालू रखा। जिससे उस मार्ग से गुजरने वाले स्नानार्थियों को परेशानी का सामना करना पड़ा। जिसमें सबसे अधिक परेशानी महिला श्रद्धालुओं को उठानी पड़ी।

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मेले में रैन बसेरों में नहीं मिली जगह तो सड़क पर डाल लिया डेरा

कुंभ नगर में मेला प्रशासन द्वारा श्रद्धालुओं के रूकने के लिए कई रैन बसेरे बनाए गए थे लेकिन स्नानार्थियों का ऐसा रेला उमड़ा कि सभी रैन बसेरे खचाखच भग गए। जिसके बाद बाहर से आए श्रद्धालुओं ने दालमण्डी मार्ग, काली सड़क, त्रिवेणी मार्ग एवं मेला क्षेत्र में जगह जगह हजारों की तादात में खुले आसमान के नीचे डेरा डालने को विवश थे।

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भीड़ को काबू करने के लिए एसएसपी भी देते रहे दिशा निर्देश

कुंभ मेला क्षेत्र में लगातार आ रही भीड़ ने प्रशासन को खूब छकाया। सोमवार को अपराहन 1 बजे तक लगभग ढाई करोड़ से अधिक लोगों ने डुबकी लगाई तो वहीं एक बार कई कोश की परिक्रमा कर संगम पहुंचे लोगों को अपने गंतव्य तक वापस जाने के लिए साधनों तक पहुंचने के पहले व स्नान के पहले रात में भी खुले आसमान के नीचे रात गुजारनी पड़ी।

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