इस्लामाबाद : कुलभूषण जाधव मामले में अंतर्राष्ट्रीय अदालत (आईसीजे) में पैरवी के लिए पाकिस्तान ने तदर्थ न्यायाधीश की नियुक्ति का फैसला किया है। भारतीय नौसेना के पूर्व अधिकारी कुलभूषण जाधव को पाकिस्तान की सैन्य अदालत ने जासूसी के आरोप में मौत की सजा सुनाई है, जिसके खिलाफ भारत की अपील पर आईसीजे में मामले की सुनवाई चल रही है।
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एक समाचार पत्र के मुताबिक पाकिस्तान के महान्यायवादी (एजीपी) अशरफ आसफ अली संयुक्त राष्ट्र की सर्वोच्च अदालत में आठ जून को मामले की अगली सुनवाई के दौरान वकीलों के दल का नेतृत्व करेंगे। आईसीजे ने मामले में अंतिम फैसला आने तक 18 मई को पाकिस्तान को जाधव की फांसी पर रोक लगाने का आदेश दिया।
सूत्रों ने कहा कि एजीपी ने कमेटी को सूचित किया है कि पाकिस्तानी आगामी सुनवाई के लिए अपने तदर्थ न्यायाधीश की नियुक्ति करेगा और आईसीजे में वकीलों का नेतृत्व वह खुद करेंगे। नेशनल असेंबली के अध्यक्ष अयाज सादिक के नेतृत्व में मंगलवार को बंद कमरे में राष्ट्रीय सुरक्षा पर संसदीय समिति की बैठक में यह फैसला लिया गया।
एजीपी ने आईसीजे में कुलभूषण जाधव मामले में प्रभावी ढंग से अपना पक्ष रखने के लिए पाकिस्तान द्वारा उठाए जा रहे कदमों से बैठक को संक्षिप्त रूप से अवगत कराया। बीते 23 मई को हुई संसदीय समिति की बैठक में कमेटी ने आईसीजे में जाधव मामले से निपटने के लिए पाकिस्तान की कानूनी रणनीति पर पूर्णतया असंतोष जताया।
कमेटी ने कहा कि सरकार की तैयारी में कमी के कारण नई दिल्ली को सैन्य अदालत के फैसले पर अल्पकालिक रोक का लाभ मिला।