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चैत्र नवरात्रि 2021: पूजन विधि में इन मंत्रों का करें जाप, मिलेगा मां का आशीर्वाद

फूल, चावल चढ़ाते समय 'श्री जगदम्बे दुर्गा देव्यै नम:। दुर्गादेवी-आवाहयामि!' मंत्र का उच्चारण करें।

Chitra Singh
Published on: 10 April 2021 4:33 PM IST
चैत्र नवरात्रि 2021: पूजन विधि में इन मंत्रों का करें जाप, मिलेगा मां का आशीर्वाद
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चैत्र नवरात्रि 2021: पूजन विधि में इन मंत्रों का करें जाप, मिलेगा मां का आशीर्वाद (फोटो- सोशल मीडिया)

नई दिल्ली: हिन्दू कैलेंडर के अनुसार चैत्र नवरात्रि को वर्ष का पहला साल माना जाता है यानी हिन्दू परंपरा के अनुसार भारत में नया साल चैत्र नवरात्रि से शुरू होती है। इस साल चैत्र नवरात्रि 13 अप्रैल से शुरू हो रही है। इस दिन लोग मां दुर्गा की उपासना करते है और नौ दिनों तक कलश स्थापना कर उनकी पूजा-अर्चना करते है। इस दौरान आप मां दुर्गा को भोग, फूल, दूध आदि चढ़ाते वक्त निम्न मंत्रों का उच्चारण कर सकते है...

चैत्र नवरात्रि के दिन सुबह जल्दी उठकर स्नान करके साफ कपड़ें पहन लें। साथ पूजा घर की सफाई करें। इसके बाद पूजा में इस्तेमाल होने वाली सभी सामग्रियों को एकत्रित कर लें। तत्पश्चात मां दुर्गा की फोटो या मूर्ति को लाल कपड़ा चढ़ाएं।

पूजा अर्चना करते समय इन मंत्रों का करें उच्चारण

चैत्र नवरात्रि में मां दुर्गा की पूजा अर्चना करते समय विभिन्न मंत्रों का उच्चारण करना चाहिए। जैसे फूल, चावल चढ़ाते समय 'श्री जगदम्बे दुर्गा देव्यै नम:। दुर्गादेवी-आवाहयामि!' मंत्र का उच्चारण करें। देवी को आसन पर विराजमान करते समय 'श्री जगदम्बे दुर्गा देव्यै नम:' आसनार्थे पुष्पानी समर्पयामि।' का और आचमन ग्रहण करते वक्त 'श्री दुर्गादेव्यै नम: पाद्यम, अर्ध्य, आचमन, स्नानार्थ जलं समर्पयामि।' मंत्र का जाप करें।

चैत्र नवरात्रि (फोटो- सोशल मीडिया)

देवी को दूध चढ़ाते वक्त 'श्री दुर्गा देवी दुग्धं समर्पयामि' का उच्चारण करें। इसी प्रकार दही चढ़ाते समय 'श्री दुर्गा देवी दही समर्पयामि'. घी चढ़ाते समय 'श्री दुर्गा देवी घृत समर्पयामि', शहद चढ़ाते वक्त, 'श्री दुर्गा देवी मधु समर्पयामि', शक्कर चढ़ाते समय 'श्री दुर्गा देवी शर्करा समर्पयामि' मंत्र का जाप करें।

इसी प्रकार माता रानी को पंचामृत का भोग लगाते वक्त 'श्री दुर्गा देवी पंचामृत समर्पयामि', गंध चढ़ाते समय 'श्री दुर्गा देवी गंधोदक समर्पयामि' और जल अर्पित करते समय 'श्री दुर्गा देवी शुद्धोदक स्नानम समर्पयामि' के मंत्र का जाप करना चाहिए।



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Chitra Singh

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