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Diwali Ke Totke: आज दिवाली की रात इन उपायों से नाराज मां लक्ष्मी को करें प्रसन्न, रातों-रात चमेकगा आपका सोया भाग्य

Diwali Ke Totke ( दिवाली के लाभकारी टोटके) : दिवाली के दिन अगर अपनी किस्मत खोलनी हैं और भाग्य को चमकाना हैं। अपने जीवन में आ रही तकलीफों को आसानी से दूर करें, यह उपाय बहुत लाभकारी है, लेक‍िन रोज करें।

Suman  Mishra | Astrologer
Published on: 4 Nov 2021 1:07 PM IST (Updated on: 4 Nov 2021 3:26 PM IST)
Diwali K Labhkaari Totke
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सांकेतिक तस्वीर ( सौ. से सोशल मीडिया)

दिवाली के लाभकारी टोटके( Diwali K Labhkaari Totke)

आज दिवाली ( Diwali) का त्यौहार है। दिवाली लक्ष्मी जी के आगमन के लिए मनाया जाता हैं। इसमें लक्ष्मी जी (Lakshmi) की पूजा की जाती हैं ताकि उनका घर में वास रहें और घर हमेशा धन-धान्य से भरा रहें। सभी चाहते हैं कि मां के आशीर्वाद से बिगड़ी किस्मत संवर जाए और अच्छे दिन आए। ऐसे में आज हम आपको दिवाली के दिन किए जाने वाले कुछ आसान और कारगर उपायों

दिवाली के लाभकारी टोटके (Totke)

दिवाली के दिन अगर अपनी किस्मत खोलनी हैं और भाग्य को चमकाना हैं। अपने जीवन में आ रही तकलीफों को आसानी से दूर करे, यह उपाय बहुत लाभकारी है लेक‍िन रोज करें...

दिवाली पर गरीबों के चेहरे पर लाएं खुशी

ज्‍योत‍िषशास्त्र के अनुसार कभी भी अपनी सफलताओं पर गर्व नहीं करना चाह‍िए। बल्कि प्रत्येक उपलब्धि को ईश्वर की कृपा का प्रसाद मानकर सहज भाव से ग्रहण करना चाह‍िए। इसके अलावा न‍ियम‍ित रूप से दीन-दुखियों की सहायता करनी चाह‍िए। भूखे व्‍यक्तियों को भोजन कराना चाह‍िए। ऐसा ही दिवाली के दिन अपनी खुशियों में गरीबों और असहायों को भी शामिल करना चाहिए। ताकि उनके चेहरे पर भी मुस्कान आ सके।


सांकेतिक तस्वीर ( सौ. से सोशल मीडिया)

दिवाली पर फूलों से करें श्रीलक्ष्मी-गणेश जी का श्रृंगार

ज्‍योत‍िषशास्‍त्र के अनुसार घर के मंद‍िर में स्थापित श्रीलक्ष्मी-गणेश समेत सभी देवों का ताजे फूलों से श्रृंगार करना चाहिए। मान्‍यता है क‍ि ऐसा करने से घर में स्थापित देवी-देवता प्रसन्न होते हैं और साधक का भाग्य चमका देते हैं। इसके अलावा प्रतिदिन चींटियों को शक्कर मिला हुआ आटा खिलाएं। कहते हैं क‍ि ऐसा करने से जातक के पाप कर्मों का क्षय हो जाता है और ईश्‍वर की कृपा से जातकों की सोई क‍िस्‍मत भी जग जाती है।

दिवाली पर चमकेगा भाग्‍य

ज्‍योत‍िषशास्‍त्र के अनुसार दिवाली के दिन किसी भी तालाब, झील या नदी में मछलियों को जाकर आटे की गोलियां खिलानी चाह‍िए। कहते हैं क‍ि भाग्‍य को चमकाने या फ‍िर रूठे भाग्‍य को मनाने के ल‍िए यह एक अचूक उपाय है। मान्‍यता है क‍ि जो भी जातक दिवाली के दिन से नियमित रूप से यह उपाय करता है। उसकी किस्मत चमक जाती है।

दिवाली पर पूजा की दिशा

मान्‍यताओं के अनुसार द‍िवाली की पूजा हमेशा उत्‍तर द‍िशा या फ‍िर उत्‍तर-पूर्व द‍िशा में ही करें। साथ ही पूजन करते समय लाल या पीले रंग के ही वस्‍त्र धारण करें। मान्‍यता है क‍ि ऐसा करने से माता लक्ष्‍मी की व‍िशेष कृपा प्राप्‍त होती है और ब‍िगड़ते कार्य बनने लगते हैं।

दिवाली पर मिट्टी के दिये

घर-पर‍िवार के र‍िश्‍तों में कलह या फ‍िर दूर‍ियां हों तो द‍िवाली के द‍िन म‍िट्टी से बने द‍ियों में ही दीप जलाएं। लेक‍िन ध्‍यान रखें क‍ि द‍ियों की संख्‍या 11, 21 और 31 ही होनी चाह‍िए। इसके साथ ही इसमें घी और लाल रंग की बाती का ही प्रयोग क‍िया जाना चाह‍िए। मान्‍यता है क‍ि ऐसा करने से घर-पर‍िवार में व्‍याप्‍त कलह और दूर‍ियां धीरे-धीरे अपने आप ही समाप्‍त होने लगती हैं।

दिवाली का यह खास टोटका

द‍िवाली के द‍िन नई झाड़ू जरूर खरीदें और इससे पूरे घर की साफ-सफाई कर दें। इसके बाद जब झाड़ू का काम खत्‍म हो जाए तो उसे ऐसी जगह रखें जहां क‍िसी की नजर उसपर न पड़े। मान्‍यता है क‍ि जब भी झाड़ू का काम न हो तो उसे छ‍िपाकर ही रखना चाह‍िए। ऐसा करने से मां लक्ष्‍मी प्रसन्‍न होती हैं और उनकी कृपा से घर में सुख-शांत‍ि आती है।धन प्राप्ति की कामना पूर्ति के ल‍िए द‍िवाली के द‍िन घर के ईशान कोण में चांदी, तांबा या स्टील के बर्तन में पानी भरकर रखें। साथ ही तिजोरी का मुंह उत्तर दिशा में रखें। ध्‍यान रखें क‍ि त‍िजारी में रखे गहनों और रुपयों को पीले या लाल वस्त्र में लपेटकर ही रखें। मान्‍यता है क‍ि ऐसा करने से धन लाभ होता है। साथ ही मां लक्ष्‍मी की कृपा से जीवन में व्‍याप्‍त धन संबंधी द‍िक्‍कतें भी खत्‍म होने लगती हैं।

द‍िवाली अमावस्या के दिन पड़ती है। इसलिए इस दिन पीपल के पेड़ में जल जरूर अर्पित करें। मान्‍यता है क‍ि ऐसा करने से कुंडली में व्‍याप्‍त शनि और कालसर्प दोष खत्म हो जाता है। इसके अलावा देर रात पीपल पेड़ के नीचे तेल का दीपक जलाएं। ध्यान रखें, दीपक रखने के बाद चुपचाप अपने घर लौट आएं, पलटकर न हरग‍िज न देखें। इससे पैसे की कमी नहीं रहती है।

सांकेतिक तस्वीर ( सौ. से सोशल मीडिया)


दिवाली के दिन इन कामों से नाराज होगी मां लक्ष्मी

  • दिवाली के दिन सबकुछ अच्छा करने के बाद हम अनजाने में कुछ काम ऐसे कर बैठते हैं जिससे मां लक्ष्मी नाराज हो जाती हैं और तकदीर बिगड़ने लगती हैं। मां लक्ष्मी की नाराजगी जीवन में कई परेशानियां ला सकती हैं। तो आइये जानते हैं उन कामों को जिससे मां लक्ष्‍मी नाराज होती हैं।

  • जिन घरों में महिलाएं बिना नहाए किचन में काम करती हैं, उस घर में कभी बरकत नहीं आती और मां लक्ष्‍मी भी नाराज रहती हैं। इसलिए सफाई के साथ नहाने पर भी ध्यान दें।

  • कुछ लोगों की आदत होती है छोटी-छोटी बातों पर बुरा मानकर एक-दूसरे से लड़ाई करते हैं और अपशब्‍द बोलते हैं। ऐसे लोगों से मां लक्ष्‍मी हमेशा के लिए नाराज हो जाती हैं। इसलिए हम सभी को अपने गुस्‍से और अपनी भावनाओं पर काबू रखना चाहिए और आवेश में आकर किसी को भला बुरा नहीं बोलना चाहिए।

  • कुछ लोगों की आदत होती है कि मेहमानों के घर आते ही खींज जाते हैं। हिंदू धर्म में अतिथियों को देवताओं का दर्जा दिया गया है कि और ऐसा कहा जाता है कि अतिथि के रूप में देवता हमारे घर में पधारते हैं। ऐसे में उनके आने पर मुंह बना लेना यह बिल्‍कुल भी अच्‍छी बात नहीं है। हमें मेहमानों को पूरे सम्‍मान के साथ बैठकार उनकी आवभगत करनी चाहिए और हो सके तो उन्‍हें कुछ उपहार देकर विदा करना चाहिए। मान्‍यता है कि ऐसा करने से मां लक्ष्‍मी आप पर बेहद प्रसन्‍न होती हैं।

  • शाम के वक्‍त पति और पत्‍नी को काफी संयम से काम लेना चाहिए। सूर्यास्‍त के वक्‍त या फिर गौधूलि बेला में अगर कोई महिला या पुरुष शारीरिक संबंध बनाने का काम करते हैं तो यह अच्‍छा नहीं माना जाता। ऐसा करने वालों से मां लक्ष्‍मी सदैव अप्रसन्‍न रहती हैं और उनके घर में दरिद्रता पांव पसारने लगती है।

सांकेतिक तस्वीर ( सौ. से सोशल मीडिया)


दिवाली लक्ष्मी पूजन का शुभ मुहूर्त कितने बजे है

दिवाली का शुभ मुहूर्त पूरे दिन होता है। इस दिन से पहले घर के हर कोने को अच्छे से साफ कर लिया जाता है। फिर दिवाली के दिन शाम के बाद शुभ मुहूर्त में मां लक्ष्मी का पूजन करते हैं। जानते हैं...

अमावस्या तिथि प्रारंभ -04 नवबंर 2021, सुबह 06:03 बजे से

अमावस्या तिथि समाप्ति- 05 नवबंर 02:44 बजे तक है।

लक्ष्मी पूजा का शुभ मुहूर्त -शाम 06:10 बजे से रात्रि 08:06 बजे तक

पूजा की अवधि- 01 घंटा 54 मिनट

प्रदोष काल मुहूर्त -शाम 05:34 बजे से रात्रि 08:10 बजे तक

वृषभ लग्न- 18.10 से 20.06 तक

महानिशीथ काल-23.38 से 24.30 तक

विशेष सिंह लग्न - रात 12.42 से रात 02.59 मिनट तक

दिवाली का पंच दिवसीय पर्व

दिवाली संस्कृत शब्द दीपावली से बना है जिसका अर्थ होता है प्रकाशोत्सव। आपको बता दें कि दिवाली एक दिन का नहीं 5 दिवसीय त्योहार है जो धनतेरस से शुरू होता है और भाईदूज को खत्म होता है। इस बार –

2 नवंबर को धनतेरस

3 नवंबर को नरक चतुर्दशी

4 नवंबर को दिवाली

5 नवंबर को गोवर्धन पूजा

6 नवंबर को भाई दूज है।



Suman  Mishra | Astrologer

Suman Mishra | Astrologer

एस्ट्रोलॉजी एडिटर

मैं वर्तमान में न्यूजट्रैक और अपना भारत के लिए कंटेट राइटिंग कर रही हूं। इससे पहले मैने रांची, झारखंड में प्रिंट और इलेक्ट्रानिक मीडिया में रिपोर्टिंग और फीचर राइटिंग किया है और ईटीवी में 5 वर्षों का डेस्क पर काम करने का अनुभव है। मैं पत्रकारिता और ज्योतिष विज्ञान में खास रुचि रखती हूं। मेरे नाना जी पंडित ललन त्रिपाठी एक प्रकांड विद्वान थे उनके सानिध्य में मुझे कर्मकांड और ज्योतिष हस्त रेखा का ज्ञान मिला और मैने इस क्षेत्र में विशेषज्ञता के लिए पढाई कर डिग्री भी ली है Author Experience- 2007 से अब तक( 17 साल) Author Education – 1. बनस्थली विद्यापीठ और विद्यापीठ से संस्कृत ज्योतिष विज्ञान में डिग्री 2. रांची विश्वविद्यालय से पत्राकरिता में जर्नलिज्म एंड मास कक्मयूनिकेश 3. विनोबा भावे विश्व विदयालय से राजनीतिक विज्ञान में स्नातक की डिग्री

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