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बुध का राशि परिवर्तन, 15 दिन इन राशियों को रहना होगा सावधान
बुध ग्रह के गोचर की अवधि कम लेकिन प्रभावशाली होती है। 16 अप्रैल की रात को बुध ग्रह मेष राशि में गोचर कर गया है।
लखनऊ : बुध ग्रह (Planet Mercury )जब एक राशि से दूसरी राशि में प्रवेश करता है, तो इसे बुध का गोचर कहा जाता है। ज्योतिष में बुध के गोचर की अवधि सबसे कम होती है। यह ग्रह प्रत्येक राशि में लगभग 14 दिन तक स्थित रहता है। बुध अश्लेषा, ज्येष्ठा और रेवती नक्षत्र ( Ashlesha,jyeshtha and Revathi Nakshatra) का स्वामी है। हरा रंग और रत्नों में पन्ना बुध को प्रिय है।
बुध ग्रह को सबसे तेज गति से चलने वाला ग्रह है। जो तर्क शक्ति, बुद्धि, संचार, लेखन, व्यापार और वाणी का प्रतिनिधित्व करता है। मजबूत बुध वाले जातक प्रखर वक्ता, हाजिर जवाबी और बहुत अच्छे व्यापारी होते हैं वहीं बुध कमजोर होने पर व्यक्ति हमेशा मानसिक परेशानियों से घिरा रहता है।
बुध ग्रह के गोचर की अवधि कम लेकिन प्रभावशाली होती है। 16 अप्रैल की रात को बुध ग्रह मीन से निकलकर रात 9 बजकर 5 मिनट पर मेष राशि में गोचर कर गया है।अगले महीने 01 मई तक बुध की यही स्थिति रहने वाली है। इसके बाद ये वृषभ राशि में गोचर कर जाएगा।
राशियों पर प्रभाव
मेष राशि में बुध का ये गोचर मिथुन, मीन और कर्क राशियों के लिए अच्छा रहेगा, जबकि वृश्चिक, मकर और वृषभ राशि वालों को अगले 15 दिनों तक बहुत सावधान रहने की जरूरत है।
मेष राशि का स्वामी ग्रह मंगल है। वहीं बुध और मंगल एक दूसरे के प्रति शत्रुभाव रखते हैं, इस वजह से इस गोचर का आम जनजीवन पर बहुत ही गहरा असर पड़ने वाला है। इस गोचर का आम लोगों पर क्या प्रभाव पड़ेगा।
बुध के इस गोचर का प्रभाव लोगों की सेहत पर भी पड़ेगा। इस दौरान लोगों को स्वास्थ्य के प्रति बहुत जागरुक रहने की जरूरत है। बुध का संबंध चर्म रोग से माना जाता है। इसलिए इस गोचर के दौरान लोगों में स्किन एलर्जी की समस्या भी बढ़ सकती है।इससे बचने के लिए साफ कपड़े पहनने और घर की साफ-सफाई रखने की सलाह दी जाती है।
15 दिन रहना होगा बचके
बुध बुद्धि का कारक है और अग्नि तत्व की राशि मेष में गोचर से इसका असर लोगों के मन-मस्तिष्क पर पड़ सकता है। घर के सदस्यों के बीच वाणी की कटुता नजर आ सकती है। इसके अलावा दाम्पत्य जीवन में भी गलतफहमियां बढ़ सकती हैं।
बुध के प्रभाव से घर में लड़ाई-झगड़ा और क्लेश बढ़ सकता है। माहौल तनाव भरा हो सकता है। आने वाले 15 दिनों तक आपको अपने वाणी पर संयम रखें।
बुध के इस गोचर के प्रभाव से पूरे दुनिया में उथल-पुथल की स्थिति आ सकती है। इसके प्रभाव से लोगों में सहनशीलता की कमी देखी जा सकती है और लोगों के स्वभाव में उग्रता बढ़ सकती है। दो देशों के बीच तनाव बढ़ सकता है जिसका प्रभाव देश की सीमाओं पर पड़ सकता है। आम लोगों के बीच भी कटुता बढ़ सकती है।
इनको मिलेगा लाभ
आर्थिक दृष्टि से बुध के गोचर मिलेजुले परिणाम देने वाला है। वकालत, पत्रकारिता, लेखन, शिक्षा और दूरसंचार को बुध से प्रभावित क्षेत्र माना जाता है। इस गोचर के दौरान इन सभी क्षेत्रों में हानि की संभावना है। वहीं बैंकिंग या निवेश कंपनियों को इस गोचर के अच्छे परिणाम मिल सकते हैं।