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Shani Jayanti Upay: इस दिन है शनि जयंती,कष्ट और बाधाओं से मुक्ति के लिए करें ये उपाय और मंत्र जाप

Shani Jayanti Upay : भगवान शनि के आशीर्वाद के साथ अपने जीवन को समृद्धि और खुशियों से भर देने की कामना है। इस पवित्र दिन पर, हम सभी को धार्मिक अनुष्ठानों का पालन करने का संकल्प लेना चाहिए और शनिदेव की पूजा-अर्चना करनी चाहिए।

Suman  Mishra | Astrologer
Published on: 5 Jun 2024 10:17 AM IST
Shani Jayanti Upay: इस दिन है शनि जयंती,कष्ट और बाधाओं से मुक्ति के लिए करें ये उपाय और मंत्र जाप
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Shani Jayanti Upay : हिन्दू धर्म और ज्योतिष में सूर्य देव के पुत्र भगवान शनि को महत्वपूर्ण स्थान मिला है। शनि देव को न्याय के देवता माना गया है जो कर्म फल के दाता है अर्थात शनि देव हर मनुष्य को उसके अच्छे या बुरे कर्मों के अनुसार फल प्रदान करते हैं।शनि जंयती को शनिदेव की पूजा अर्चना करने से जीवन में कष्ट और बाधाओं से मुक्ति मिलती है। शनिदेव को सूर्य देव का पुत्र और कर्म फल का दाता देव माना माना जाता है। जानते है कब मनाई जाएगी शनि जंयती (Date of Shani Jayanti) और उससे जुड़ी कथा (Katha of Shani Jayanti) ….

शनि जयंती का मुहूर्त

शनि जयंती ज्येष्ठ माह की अमावस्या को मनाई जाती है। इस वर्ष ज्येष्ठ माह की अमावस्या तिथि 5 जून को संध्या 7 .54 मिनट से शुरू होकर 6 जून को 6 . 7 मिनट पर समाप्त होगी। शनि जयंती 6 जून गुरुवार को मनाई जाएगी। ज्येष्ठ माह की अमावस्या को वट सावित्री का व्रत भी रखा जाएगा।

शनि जयंत को शनिदेव को प्रसन्न करने इस मंत्र का जाप करें-

ॐ शं अभय हस्ताय नमः”

“ॐ शं शनैश्चराय नमः”

“ॐ नीलांजनसमाभामसं रविपुत्रं यमाग्रजं छायामार्त्तण्डसंभूतं तं नमामि शनैश्चरम”

शनि जयंती उपाय

शनि जयंती पर पीपल की जड़ में जल चढ़ाने एवं दीपक जलाने से अनेक दुखों एवं कष्टों का निवारण होता है।

इस दिन पीपल के पेड़ को लगाने से शनि देव की कृपा प्राप्त होती है।

शनि जयंती पर शनि देव से जुड़ी वस्तुओं जैसे काले कपड़े, काले तिल, सरसों के तेल आदि का दान करने से पुण्य की प्राप्ति होती है।

इस दिन भगवान शनि के आराध्य भगवान शिव का काले तिल मिले हुए जल से अभिषेक करना चाहिए।

इस दिन भगवान शनि सहित हनुमान जी की उपासना से शनि देव की कृपा प्राप्त होती है।

शनि जयंती पर शनि दोष के निवारण के लिए सुबह स्नान करने के बाद शनिदेव की पूजा करनी चाहिए।

एक कटोरी में सरसों का तेल लेकर उसमें अपना चेहरा देखें और उस तेल सहित कटोरी को शनि मंदिर में दान करें।

शनि जयंती पर कैसे करें शनि देव की पूजा?

शनि जयंती को सूर्य पुत्र भगवान शनि के जन्मोत्सव के रूप में मनाया जाता है। पंचांग के अनुसार, प्रतिवर्ष ज्येष्ठ महीने के कृष्ण पक्ष की अमावस्या तिथि को शनि जयंती मनाई जाती है।भगवान शनि सूर्य देव और छाया देवी के पुत्र है और यम व यमुना इनके भाई-बहन है।

शनि जयंती पर भगवान शनि का पूजन करना कल्याणकारी होता है। शनि देव की कृपा प्राप्ति के लिए भगवान शनि का पूजन इस प्रकार करें:

शनि जयंती पर व्रती को प्रात:काल स्नान करने के बाद स्वच्छ वस्त्र धारण करने चाहिए।

अब चौकी पर काले रंग के वस्त्र को बिछाएं और उस पर शनिदेव की प्रतिमा या चित्र स्थापित करें।

इसके पश्चात शनि देव के सामने देशी घी या तेल का दीपक जलाएं और धूप दिखाएं।

अब शनि देव की प्रतिमा को पंचगव्य, पंचामृत, इत्र आदि से स्नान करवायें।

इसके बाद कुमकुम, काजल, अबीर, गुलाल आदि के साथ फूल शनिदेव को अर्पित करें।

भगवान शनि को इमरती या तेल से बनी मिठाई का प्रसाद के रूप भोग लगाएं।

पंचोपचार और पूजा के सम्पन्न होने के बाद शनि मंत्र की एक माला का जाप करें।

माला जाप के बाद शनि चालीसा का पाठ करें।

अंत में शनिदेव की आरती करें एवं पूजा संपन्न करें।



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Suman  Mishra | Astrologer

Suman Mishra | Astrologer

एस्ट्रोलॉजी एडिटर

मैं वर्तमान में न्यूजट्रैक और अपना भारत के लिए कंटेट राइटिंग कर रही हूं। इससे पहले मैने रांची, झारखंड में प्रिंट और इलेक्ट्रानिक मीडिया में रिपोर्टिंग और फीचर राइटिंग किया है और ईटीवी में 5 वर्षों का डेस्क पर काम करने का अनुभव है। मैं पत्रकारिता और ज्योतिष विज्ञान में खास रुचि रखती हूं। मेरे नाना जी पंडित ललन त्रिपाठी एक प्रकांड विद्वान थे उनके सानिध्य में मुझे कर्मकांड और ज्योतिष हस्त रेखा का ज्ञान मिला और मैने इस क्षेत्र में विशेषज्ञता के लिए पढाई कर डिग्री भी ली है Author Experience- 2007 से अब तक( 17 साल) Author Education – 1. बनस्थली विद्यापीठ और विद्यापीठ से संस्कृत ज्योतिष विज्ञान में डिग्री 2. रांची विश्वविद्यालय से पत्राकरिता में जर्नलिज्म एंड मास कक्मयूनिकेश 3. विनोबा भावे विश्व विदयालय से राजनीतिक विज्ञान में स्नातक की डिग्री

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