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Bihar Politics: बिहार में कांग्रेस की रणनीति से तेजस्वी नाराज, राहुल और खड़गे के साथ पार्टी नेताओं की बैठक टली
Bihar Politics: बिहार चुनाव के लिए राज्य की ओर से तेजस्वी यादव को मुख्यमंत्री के चेहरे के रूप में प्रोजेक्ट किया जा रहा है मगर कांग्रेस ने अभी तक खुलकर इस ऐलान का समर्थन नहीं किया है।
Tejashwi Yadav and Rahul Gandhi (photo: social media )
Bihar Politics: बिहार में इस साल होने वाले विधानसभा चुनाव के लिए विभिन्न राजनीतिक दलों ने अपनी रणनीति बनानी शुरू कर दी है। बिहार में एनडीए की ओर से पूरी ताकत के साथ चुनाव मैदान में उतरने की तैयारी की जा रही है तो दूसरी ओर विपक्षी महागठबंधन में खींचतान की स्थिति दिख रही है। बिहार में कांग्रेस की रणनीति से राजद नेता तेजस्वी यादव नाराज बताए जा रहे हैं।
इस बीच बिहार कांग्रेस नेताओं की पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे और राहुल गांधी के साथ कल होने वाली बैठक टल गई है। हालांकि इस बैठक को टालने के पीछे होली के त्योहार को कारण बताया जा रहा है मगर जानकारों का मानना है कि तेजस्वी यादव की नाराजगी की वजह से इस बैठक को अभी टाल दिया गया है। अब कांग्रेस की ओर से जमीनी फीडबैक लेने के बाद बैठक की जाएगी।
कांग्रेस से इस कारण नाराज हैं तेजस्वी
बिहार चुनाव के लिए राज्य की ओर से तेजस्वी यादव को मुख्यमंत्री के चेहरे के रूप में प्रोजेक्ट किया जा रहा है मगर कांग्रेस ने अभी तक खुलकर इस ऐलान का समर्थन नहीं किया है। कांग्रेस के कुछ वरिष्ठ नेताओं का मानना है कि सीएम पद का फैसला कांग्रेस हाईकमान के फैसले के बाद किया जाना चाहिए। कांग्रेस के इस रुख से तेजस्वी यादव और राजद के अन्य नेता नाराज बताए जा रहे हैं।
इसके साथ ही बिहार में कांग्रेस की ओर से ‘नौकरी दो,पलायन रोको’ पदयात्रा शुरू करने का ऐलान किया गया है। कांग्रेस की इस पदयात्रा के दौरान कन्हैया कुमार प्रमुख भूमिका में दिखेंगे। इसके अलावा कांग्रेस पूर्णिया के निर्दलीय सांसद पप्पू यादव को भी आगे बढ़ाने में जुटी हुई है। पप्पू यादव राजद के खिलाफ बयानबाजी का कोई मौका नहीं छोड़ते।
कन्हैया और पप्पू के कारण उलझा मामला
कांग्रेस की ओर से कन्हैया कुमार और पप्पू यादव को बढ़ावा दिया जाना तेजस्वी यादव को काफी नागवार गुजर रहा है। कन्हैया कुमार कांग्रेस के युवा नेता हैं और उनकी युवा मतदाताओं पर अच्छी पकड़ मानी जाती है। तेजस्वी यादव उन्हें पहले से ही नापसंद करते रहे हैं। दूसरी ओर पप्पू यादव ने पिछले लोकसभा चुनाव के दौरान निर्दलीय उम्मीदवार के तौर पर अपनी ताकत दिखाई थी।
राजद की ओर से पूरी ताकत लगाने के बावजूद पप्पू यादव ने बड़ी जीत हासिल की थी। हाल के दिनों में पप्पू यादव राजद पर काफी हमलावर रहे हैं और कांग्रेस की ओर से उन्हें आगे बढ़ाए जाने से कई राजद नेता खुद को असहज महसूस कर रहे हैं।
खींचतान के कारण कांग्रेस की बैठक टली
कांग्रेस और राजद के बीच चल रही इस खींचतान के कारण कल होने वाली कांग्रेस की महत्वपूर्ण बैठक भी टाल दी गई है। पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे और राहुल गांधी के साथ कल बिहार कांग्रेस के नेताओं की बैठक होने वाली थी मगर अब इस बैठक को टाल दिया गया है।
इस बैठक को टालने के पीछे होली के त्योहार को कारण बताया गया है मगर सियासी जानकारों का मानना है कि कांग्रेस और राजद के बीच चल रहे टकराव की वजह से अब यह बैठक कल नहीं होगी।
जमीनी फीडबैक लेने के बाद होगी बैठक
कांग्रेस की ओर से हाल में राहुल गांधी के करीबी माने जाने वाले कृष्णा अल्लावेरू को बिहार का नया प्रभारी बनाया गया है। अल्लावेरू बिहार में कांग्रेस की स्थिति का जमीनी फीडबैक लेने की कोशिश में जुटे हुए हैं। सियासी जानकारों का कहना है कि इसी कारण कल होने वाली बैठक डाल दी गई है। राज्य में कांग्रेस की स्थिति का जमीनी फीडबैक मिलने के बाद पार्टी की ओर से नए सिरे से रणनीति बनाने की तैयारी है।
जमीनी फीडबैक मिलने के बाद ही पार्टी की ओर से यह फैसला भी किया जाएगा की पार्टी राज्य की कितनी सीटों पर चुनाव लड़ने के लिए दावेदारी पेश करेगी। बिहार के विपक्षी महागठबंधन में सीट बंटवारे की गुत्थी भी उलझी हुई है क्योंकि कांग्रेस की ओर से जितनी सीटों की डिमांड की जा रही है, उतनी सीटें देने के लिए इस बार राजद नेतृत्व तैयार नहीं दिख रहा है। कांग्रेस इस बार खुद को मजबूती से स्थापित करना चाहती है और इसलिए आने वाले दिनों में खींचतान और बढ़ सकती है।