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Elections Results Goa: नतीजों से पहले ही सत्ता का खेल शुरू, कांग्रेस अपने खेमे को लेकर सतर्क, BJP भी समीकरण साधने में जुटी

Elections Results: गोवा ने नतीजों से पहले ही सरकार बनाने का खेल शुरू। कांग्रेस और बीजेपी दोनो पार्टियां समीकरण साधने में जुटी।

Anshuman Tiwari
Written By Anshuman TiwariPublished By Divyanshu Rao
Published on: 9 March 2022 1:54 PM IST (Updated on: 9 March 2022 1:58 PM IST)
Election Results
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मतगणना की प्रतीकात्मक तस्वीर (फोटो:सोशल मीडिया)

Election Results: गोवा में हुए विधानसभा चुनाव के नतीजों की घोषणा से पहले ही राज्य में सत्ता का खेल शुरू हो गया है। इस मामले में सबसे ज्यादा सक्रियता कांग्रेस की ओर से दिखाई जा रही है। पिछले विधानसभा चुनाव के बाद झटका खा चुकी कांग्रेस ने अपने सभी प्रत्याशियों की पहरेदारी शुरू कर दी है। जानकारों का कहना है कि कांग्रेस के सभी 37 प्रत्याशियों को दो होटलों में शिफ्ट कर दिया गया है। हालांकि कांग्रेस इस बात का खंडन कर रही है। राज्य में सरकार बनाने की संभावनाएं तलाशने में जुटी कांग्रेस ने एक और सियासी पासा फेंकते हुए आम आदमी पार्टी और तृणमूल कांग्रेस से भी हाथ मिलाने की बात कर दी है।

दूसरी ओर भारतीय जनता पार्टी ने भी राज्य में सरकार बनाने की संभावनाएं तलाशने की कोशिशें तेज कर दी हैं। गोवा के मुख्यमंत्री प्रमोद सावंत की प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मंगलवार को हुई मुलाकात को सियासी नजरिए से काफी अहम माना जा रहा है। सावंत ने राज्य में सत्ता बचाए रखने की पार्टी की संभावनाओं के संबंध में प्रधानमंत्री से चर्चा की है। इस मुलाकात के बाद उनका यह बयान काफी महत्वपूर्ण माना जा रहा है कि मुझे लगता है कि मैं ही आगे भी गोवा का मुख्यमंत्री बना रहूंगा।

सरकार बनाने के लिए कांग्रेस ने बदला रुख

चुनाव प्रचार के दौरान हमेशा दूसरे दलों पर हमलावर रुख अपनाने वाली कांग्रेस ने मतगणना का समय करीब आने के साथ ही अपना रुख बदलना शुरू कर दिया है। अभी कुछ समय पहले तक कांग्रेस नेताओं की ओर से आरोप लगाए जा रहे थे कि तृणमूल कांग्रेस और आम आदमी पार्टी भाजपा के हाथों में खेल रही हैं मगर अब पार्टी का नजरिया बदलता हुआ दिख रहा है।

अब पार्टी नेताओं का कहना है कि भाजपा की खिलाफत करने वाले सभी दलों से कांग्रेस बातचीत करेगी और पार्टी इन दलों के साथ मिलकर सत्ता की भागीदारी के लिए पूरी तरह तैयार है। कांग्रेस के गोवा इंचार्ज दिनेश गुंडू राव ने साफ तौर पर कहा है कि भाजपा को समर्थन न देने वाले दलों के साथ कांग्रेस हाथ मिलाने के लिए तैयार है। राव के इस बयान को राज्य में कांग्रेस की सरकार बनाने की कोशिशों के रूप में देखा जा रहा है।

बीजेपी और कांग्रेस के चुनाव चिन्ह की तस्वीर (फोटो:सोशल मीडिया)

भाजपा विरोधी दलों को एकजुट करने की कोशिश

कांग्रेस नेता का कहना है कि चुनाव के दौरान आप और तृणमूल कांग्रेस की ओर से कांग्रेस पर लगातार हमले किए गए, लेकिन अब चुनाव का समय बीत चुका है। अब नतीजों की घोषणा के बाद हमें इन पार्टियों का रुख देखना होगा कि वे गोवा में किस तरह की सियासत चाहती हैं। कांग्रेस का रुख इस बाबत पूरी तरह स्पष्ट है और हम भाजपा विरोधी सभी राजनीतिक दलों के साथ काम करने के इच्छुक हैं।

दरअसल गोवा के संबंध में आए एग्जिट पोल से भी साफ हो गया है कि राज्य में काफी कांटे का मुकाबला हुआ है और ऐसी स्थिति में सियासी उठापटक की संभावना से इनकार नहीं किया जा सकता। पिछले बार के विधानसभा चुनाव में कांग्रेस सबसे बड़ी पार्टी होने के बावजूद सरकार नहीं बना सकी थी। राज्य में पार्टी के 17 विधायक चुने गए थे मगर आखिरकार सिर्फ दो ही विधायक पार्टी में रह गए थे। यही कारण है कि इस बार पार्टी ने चुनाव नतीजों की घोषणा से पहले ही काफी सतर्कता बरतनी शुरू कर दी है।

2017 का इतिहास नहीं दोहराएंगे पार्टी

मजे की बात यह है कि चुनाव से पहले जब टीएमसी की ओर से सभी भाजपा विरोधी दलों से एक मंच पर आने की अपील की गई थी तो कांग्रेस ने टीएमसी के साथ चुनावी गठजोड़ में कोई दिलचस्पी नहीं दिखाई थी मगर अब भाजपा को सत्ता में आने से रोकने के लिए पार्टी का रुख बदलता दिख रहा है। गोवा के कांग्रेस प्रभारी राव का कहना है कि अब राज्य में 2017 का इतिहास नहीं दोहराया जाएगा।

क्षेत्रीय दल से भी साधा संपर्क

कांग्रेस इस बार भाजपा विरोधी दलों को साथ लेकर सरकार बनाने में तनिक भी पीछे नहीं हटेगी। गोवा कांग्रेस के प्रमुख गिरीश चूड़ांकर का भी कहना है कि भाजपा सियासी खेल खेलने में काफी माहिर है और इसी कारण कांग्रेश इस बार काफी सतर्क है। कांग्रेस ने महाराष्ट्रवादी गोमांतक पार्टी के साथ भी संपर्क साधा है ताकि भाजपा का खेल बिगाड़ा जा सके। कांग्रेस अपने भावी विधायकों को लेकर भी काफी सतर्क हो गई है। जानकारों का कहना है कि इन सभी को दो होटलों में शिफ्ट कर दिया गया है। हालांकि पार्टी ने इस तरह की खबरों को पूरी तरह अफवाह बताया है।

भाजपा ने भी बढ़ाई सक्रियता

दूसरी ओर भाजपा की सियासी रणनीति तय करने के लिए मुख्यमंत्री प्रमोद सावंत ने मंगलवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाकात की। इस मुलाकात के दौरान दोनों नेताओं के बीच राज्य में चुनावी संभावनाओं पर विस्तृत चर्चा की गई। राज्य का एग्जिट पोल आने के एक दिन बाद सावंत की पीएम मोदी से मुलाकात को काफी अहम माना जा रहा है। प्रधानमंत्री से मुलाकात के बाद सावंत ने कहा कि हमने राज्य के सियासी हालात पर चर्चा की है और हमें पूरा भरोसा है कि हम सबसे ज्यादा सीटें जीतने के बाद सरकार बनाने में कामयाब होंगे।

उन्होंने कहा कि मुझे पूरी उम्मीद है कि मुझे एक बार फिर मुख्यमंत्री के रूप में गोवा के लोगों की सेवा करने का मौका मिलेगा। उन्होंने भाजपा के राज्य में 20 से ज्यादा सीटें जीतने का भी दावा किया। सावंत ने कहा कि भाजपा क्षेत्रीय पार्टियों और निर्दलीयों के समर्थन से सरकार बनाने में जरूर कामयाब होगी।



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Divyanshu Rao

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