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Tabu Birthday Special: गणित प्रोफेसर की पोती की बेटी कैसे बनीं बॉलीवुड की शान? आइए जानते हैं इनके बारे में

Tabu Birthday Spcial: बतौर चाइल्ड आर्टिस्ट (child artist) तब्बसुम ने फिल्म की शूटिंग पूरी की। लेकिन जब फिल्म रिलीज हुई तो उन्हें कोई क्रेडिट नहीं मिला। अजय देवगन अभिनेत्री तब्बू (actress tabu) के लिए लकी साबित हुए।

Priya Singh
Report Priya SinghPublished By Shashi kant gautam
Published on: 4 Nov 2021 12:35 PM GMT (Updated on: 4 Nov 2021 12:36 PM GMT)
Tabu Birthday Special: गणित प्रोफेसर की पोती की बेटी कैसे बनीं बॉलीवुड की शान? आइए जानते हैं इनके बारे में
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तबस्सुम फातिमा हाशमी कैसे बनीं तब्बू: डिजाईन फोटो- सोशल मीडिया 

Tabassum Fatima Hashmi: बॉलीवुड का नाम पूरे दुनिया में रौशन करने वाली अभिनेत्रीयों की सूची में कई नाम शामिल हैं। लेकिन इसमें एक ऐसी अभिनेत्री का नाम भी शामिल है जिन्हें उनकी डेब्यू फिल्म में ही क्रेडिट नहीं दी गई थी।

हम बात कर रहे हैं अभिनेत्री तबस्सुम फातिमा हाशमी (Tabassum Fatima Hashmi) की। इनका जन्म वर्ष 1970 में हैदराबाद (Hyderabad) के एक संपन्न परिवार में हुआ। इनकी पैदाइश के कुछ समय बाद ही माता-पिता के बीच किसी निजी कारण से अनबन होने लगी। जिसके बाद उन्होंने अलग होने का निर्णय लिया। मां रिजवाना हाशमी (Rizwana Hashmi) अपनी बेटी तब्बसुम को लेकर अपने पिता के घर आ गईं।

रिज़वाना हाशमी एक स्कूल में शिक्षिका (teacher) थीं और उनका मायका भी सुख - सुविधाओं से संपंन्न था। इस वजह से उन्हें और उनकी बेटी तब्बसुम को वहां किसी प्रकार की परेशानी नहीं हुई। तब्बसुम ने हैदराबाद के सेंट एन्स हाई स्कूल (St. Ann's High School) में अपने हाई स्कूल की पढ़ाई पूरी की। 1982 में तब्बसुम के जीवन में एक खूबसूरत मोड़ आया। तब्बसुम को बॉलीवुड की एक बड़ी फिल्म 'बाजार' (BAZAR) में अभिनय करने का सुनहरा मौका मिले। तब्बसुम ने बिना समय गवाएं इस फिल्म के लिए तुरंत हां कर दी।

चाइल्ड आर्टिस्ट तब्बू: फोटो- सोशल मीडिया


तब्बसुम बतौर चाइल्ड आर्टिस्ट नहीं मिला कोई क्रेडिट

बतौर चाइल्ड आर्टिस्ट (child artist) तब्बसुम ने फिल्म की शूटिंग पूरी की। लेकिन जब फिल्म रिलीज हुई तो उन्हें कोई क्रेडिट नहीं मिला। इसके बाद तब्बसुम ने मुंबई (Mumbai) जाने का मन बनाया। 1983 में तब्बसुम मुंबई गईं और उन्होनें दो वर्षों तक वहां के सेंट ज़ेवियर्स कॉलेज में पढ़ाई की। 1985 में तबस्सुम कि किस्मत का सितारा दुबारा चमका। उन्हे उस सदी के सुपरस्टार देवानंद के साथ स्क्रीन शेयर करने का मौका मिला। उस वक्त तब्बसुम की उम्र मात्र 15 वर्ष थी। फिल्म में तब्बसुम को एक दुष्कर्म पीड़िता का किरदार निभाना था। तब्बसुम ने बेहद शानदार तरीके से उस किरदार को जीवंत किया। तब्बसुम की इस प्रतिभा से देवानंद बेहद प्रभावित हुए और उन्होंने खुश होकर उसे ' तब्बू ' नाम दिया। ये वहीं तब्बू हैं जिन्होंने फिल्म हैदर, माचिस, विरासत, चांदनी बार आदि में अपने अभिनय से दर्शकों के होश उड़ा दिए।

अभिनेत्री तब्बू: फोटो- सोशल मीडिया


अजय देवगन अभिनेत्री तब्बू (actress tabu) के लिए लकी साबित हुए

वर्ष 1987 में निर्माता बोनी कपूर (Film Producer Boney Kapoor) ने तब्बू को दो बड़ी फिल्में - रुप की रानी चोरों का राजा और प्रेम ऑफर किया। लेकिन ये फिल्में 8 साल में बनकर तैयार हुईं। जिसकी वजह से तब्बू की पटरी पर चलती गाड़ी दुबारा लड़खड़ाने लगी। वहीं उनकी पहली हिंदी फिल्म 'पहला पहला प्यार' (Pehla Pehla Pyar) जिसमें उन्होंने मुख्य किरदार की भूमिका निभाई थी, पर्दे पर अपना जादू नहीं बिखेर पाई। इसके बाद वर्ष 1994 में किस्मत ने उन्हें फिर संभलने का मौका दिया। इसबार तब्बू को एक्टर अजय देवगन (Acter Ajay Devgan) के साथ फिल्म 'विजयपथ' में अभिनय करने का सुनहरा मौका मिला और इस फिल्म ने पर्दे पर कमाल कर दिखाया। फिल्‍म 'विजयपथ' के लिए उन्‍हें सर्वश्रेष्‍ठ नवोदित अभिनेत्री का फिल्‍मफेयर पुरस्‍कार (Filmfare Awards) भी मिला। इस तरह से अजय देवगन अभिनेत्री तब्बू (actress tabu) के लिए लकी साबित हुए।

अभिनेता अजय देवगन के साथ अभिनेत्री तब्बू : फोटो- सोशल मीडिया


वर्ष 1996 में तब्बू को ढेर सारे फिल्मों के ऑफर आने लगे

वर्ष 1996 में तब्बू को ढेर सारे फिल्मों के ऑफर आने लगे। जिसमें से 8 फिल्मों में उन्होंने काम भी किया। इसमें से दो फिल्म 'साजन चले ससुराल' और 'जीत' ने खूब कामयाबी हासिल की। वहीं फिल्म माचिस की बात करें तो इस फिल्म ने तब्बू (actress tabu) को बॉलीवुड (Bollywood) में वो स्थान दिलाई जिसकी वो हकदार थीं। बता दें कि फिल्म 'माचिस' में तब्बू, चंद्रचूर सिंह, ओम पुरी और जिमी शेरगिल ने मुख्य भूमिकाएं निभाईं थी। राजनीतिक थ्रिलर फिल्म (political thriller movie) की यह कहानी 1980 के दशक में पंजाब में सिख विद्रोह के उदय के इर्द-गिर्द घूमती है। फिल्म का निर्देशन गुलजार (Film directed Gulzar) ने किया था, जबकि आर वी पंडित ने इसे नियंत्रित किया था। फिल्म को इसकी कहानी के साथ-साथ इसके गाने के लिए पसंद किया जाता है। इस फिल्म ने सर्वश्रेष्ठ लोकप्रिय फिल्म के लिए राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार भी जीता है। आज तब्बू अपना 50 वां जन्मदिन (tabu 50th birthday) मना रही हैं।

Shashi kant gautam

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