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Rashmika Mandanna Deepfake Video: मामले का आरोपी जल्द होगा गिरफ्तार, पुलिस को मिला सुराग
Rashmika Mandanna Deepfake Video: रश्मिका मंदाना डीपफेक वीडियो मामले में दिल्ली पुलिस को एक महत्वपूर्ण सुराग मिला है। ऐसे में इस मामले के आरोपी को जल्द गिरफ्तार किया जा सकता है।
Rashmika Mandanna Deepfake Video: रश्मिका मंदाना इन दिनों काफी चर्चा में है। बहुत जल्द एक्ट्रेस की मोस्ट अवेडेट फिल्म 'एनिमल' सिनेमाघरों में रिलीज होने वाली है, तो वहीं दूसरी तरफ वह पिछले कुछ दिनों से अपने निजी कारण की वजह से भी चर्चा में है। दरअसल, रश्मिका मंदाना का एक डीफफेक वीडियो सोशल मीडिया पर कुछ दिनों पहले काफी तेजी से वायरल हुआ था। अब इस मामले में दिल्ली पुलिस को एक महत्वपूर्ण सुराग मिला है, जिसका तकनीकी विश्लेषण के माध्यम से सत्यापन किया जा रहा है।
पुलिस को मिला महत्वपूर्ण सुराग
दरअसल, रश्मिका मंदाना के डीपफेक वीडियो पर एक अधिकारी ने कहा- ''तकनीकी विश्लेषण के हिस्से के रूप में, अधिकारी उन सभी आईपी पतों की पहचान कर रहे हैं, जहां से वीडियो अपलोड किया गया था और उस पते का पता लगाने की कोशिश कर रहे हैं, जहां से वीडियो पहली बार इंटरनेट पर अपलोड किया गया था। ऐसे में एक महत्वपूर्ण सुराग मिले हैं और आरोपियों को जल्द ही गिरफ्तार कर लिया जाएगा। बता दें कि दिल्ली महिला आयोग द्वारा शहर पुलिस को नोटिस भेजे जाने के बाद 11 नवंबर 2023 को दिल्ली पुलिस के इंटेलिजेंस फ्यूजन एंड स्ट्रैटेजिक ऑपरेशंस ने मामले के संबंध में अज्ञात लोगों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की थी।
डीपफेक को लेकर सरकार बनाएगी नियम
इससे पहले, आईटी मंत्री अश्विनी वैष्णव ने इस मुद्दे पर सोशल मीडिया प्लेटफार्मों से मुलाकात की थी। उन्होंने डीपफेक को लोकतंत्र के लिए नया खतरा बताते हुए कहा था कि सरकार डीपफेक से निपटने के लिए जल्द ही नए नियम लाएगी। बता दें कि बीते दिनों रश्मिका मंदाना का एक डीपफेक वीडियो सोशल मीडिया पर ताबड़तोड़ वायरल हुआ था। आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस का इस्तेमाल कर रश्मिका का एक अश्लील फेक वीडियो तैयार किया गया और देखते ही देखते इस वायरल वीडियो ने हर तरफ सनसनी मचा दी। वीडियो पर इस कदर बवाल मचा कि कॉन्टेंट को सोशल मीडिया प्लेटफार्म से हटाने की एडवायजरी तक जारी हो गई थी।
फेक कंटेंट को लेकर जारी हुई थी एडवाइजरी
बता दें कि रश्मिका मंदाना के इस डीपफेक वीडियो के सामने आने के बाद इलेक्ट्रॉनिक्स और इनफॉर्मेशन टेक्नोलॉजी मंत्रालय ने एक एडवाइजरी जारी की थी, जिसके तहत अगर कोई शख्स किसी की तस्वीर को गलत तरह से इस्तेमाल करता है, तो उस पर भी कानूनी कार्रवाई की जाएगी। इस एडवाइजरी में इस तरह की धोखाधड़ी करने वालों के खिलाफ सजा तय की गई है। रिपोर्ट के अनुसार, आईटी अधिनियम, 2000 की धारा 66 डी में कंप्यूटर संसाधन का उपयोग करके धोखाधड़ी करते पाए जाने वालों को तीन साल तक की कैद और 1 लाख रुपए तक का जुर्माना हो सकता है। इसी के साथ अगर सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे डीपफेक और मॉर्फ्ड कंटेंट को 24 घंटे के भीतर हटाया नहीं गया, तो टॉप सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म इंस्टाग्राम, एक्स और फेसबुक जैसी कंपनियों के खिलाफ एक्शन लिया जाएगा।