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नाराजगी के बीच भूपेंद्र कैबिनेट का शपथ ग्रहण आज, बड़े बदलाव की तैयारी से भड़का गुस्सा, मनाने का दौर जारी
Bhupendra Patel Cabinet Shapath Grahan: गुजरात के नए मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल (Bhupendrabhai Patel) अपने मंत्रिमंडल के शपथ ग्रहण से पहले ही मुश्किल में फंसते दिख रहे हैं। नए मंत्रिमंडल में अधिकांश नए चेहरों को महत्व देने की उनकी रणनीति के खिलाफ पार्टी में जबर्दस्त गुस्सा भड़क गया है।
Bhupendra Patel Cabinet Shapath Grahan: गुजरात के नए मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल (Bhupendrabhai Patel) अपने मंत्रिमंडल के शपथ ग्रहण से पहले ही मुश्किल में फंसते दिख रहे हैं। नए मंत्रिमंडल में अधिकांश नए चेहरों को महत्व देने की उनकी रणनीति के खिलाफ पार्टी में जबर्दस्त गुस्सा भड़क गया है। पूर्व मुख्यमंत्री विजय रुपाणी (Vijay Rupani Mantrimandal) के कई करीबी मंत्रियों को मंत्रिमंडल से बाहर किए जाने की चर्चाओं के बीच पार्टी में नाराजगी इतनी ज्यादा बढ़ चुकी है कि वरिष्ठ नेताओं के भी पसीने छूट रहे हैं।
पार्टी के राष्ट्रीय संगठन मंत्री बीएल संतोष (BL Santhosh) और राज्य के प्रभारी भूपेंद्र यादव (Bhupender Yadav) नाराज नेताओं को मनाने की कोशिश में जुटे हुए हैं मगर अभी तक इस काम में ज्यादा कामयाबी नहीं मिल सकी है। दो बार टाले जाने के बाद एक बार फिर आज दोपहर शपथ ग्रहण समारोह तय किया गया है।
मुख्यमंत्री की ओर से अधिकांश पुराने मंत्रियों को बाहर किए जाने की तैयारी से पूर्व मुख्यमंत्री विजय रुपाणी और पूर्व डिप्टी सीएम नितिन पटेल (Nitinbhai Patel) भी नाराज बताए जा रहे हैं। रुपाणी के समर्थकों ने उनके घर पर बैठक करके आगे की रणनीति पर भी चर्चा की है। सियासी जानकारों का मानना है कि शुरुआत में ही भूपेंद्र पटेल की मुश्किलें बढ़ती दिख रही हैं। आने वाले दिनों में यह नाराजगी पार्टी हाईकमान के लिए भी बड़ी मुसीबत साबित हो सकती है।
संकट को मैनेज करने के प्रयास जारी
नए मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल ने अपने सहयोगियों के शपथ ग्रहण समारोह के लिए पहले मंगलवार का दिन तय किया था। फिर इसे बुधवार के लिए टाल दिया गया। इस बीच नेताओं को मनाने का दौर जारी रहा मगर इसमें कामयाबी न मिलने पर आखिरकार शपथ ग्रहण समारोह गुरुवार तक के लिए टाल दिया गया। अब शपथ ग्रहण समारोह के लिए आज दोपहर 1:30 बजे का समय तय किया गया है। शपथ ग्रहण समारोह को टालने के बाद नाराज नेताओं को मनाने की मशक्कत चलती रही।
हालांकि अभी तक इस बात का खुलासा नहीं हो सका है कि इस काम में कहां तक कामयाबी मिल सकी है। पार्टी के नाराज नेता अभी तक खुलकर कोई बयान नहीं दे रहे हैं मगर उन्होंने वरिष्ठ नेताओं को अपनी नाराजगी से अवगत करा दिया है। पार्टी नेताओं की इस नाराजगी की सुगबुगाहट दिल्ली तक पहुंच चुकी है। संकट को मैनेज करने के प्रयास किए जा रहे हैं।
नए सीएम की रणनीति से पैदा हुआ विवाद
दरअसल, पार्टी में पूरा विवाद मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल की नई रणनीति के कारण पैदा हुआ है। भूपेंद्र पटेल गुजरात के नए मंत्रिमंडल में व्यापक बदलाव चाहते हैं। उनकी तैयारी मंत्रिमंडल के 90 फीसदी चेहरों को बदलने की है। भूपेंद्र पटेल की इस पहल के बाद दो-तीन चेहरे ही ऐसे होंगे जिन्हें दोबारा मंत्रिमंडल में जगह मिलेगी। इस बात की जानकारी होने के बाद विरोध के स्वर फूटने लगे। कई पूर्व मंत्री पूर्व मुख्यमंत्री विजय रुपाणी के घर पर इकट्ठा हुए। रुपाणी के घर पर इस मुद्दे को लेकर गहराई से चर्चा की गई मगर कोई नतीजा नहीं निकल सका।
भूपेंद्र मंत्रिमंडल में नए चेहरों के साथ ही महिलाओं की संख्या भी बढ़ाई जाएगी। तीन महिला विधायकों संगीता पाटिल, मनीषा वकील और निमाबेन आचार्य को नए मंत्रिमंडल में शामिल किए जाने की चर्चा है। हालांकि महिला मंत्रियों की संख्या इससे ज्यादा भी हो सकती है।
27 मंत्रियों को शपथ दिलाने की तैयारी
पार्टी की ओर से जातीय समीकरण साधने और निर्विवाद चेहरों को प्राथमिकता देने की तैयारी की गई है मगर इसे लेकर भी असंतोष पैदा हो गया है। जानकार सूत्रों का कहना है कि गुरुवार को होने वाले शपथ ग्रहण समारोह में 27 नए मंत्रियों को शपथ दिलाई जा सकती है। नए मंत्रियों की सूची भी तैयार कर ली गई है मगर पार्टी नेता शपथ ग्रहण से ऐसे नेताओं की नाराजगी दूर करना चाहते हैं जो मौका न मिलते देख नाराज बताए जा रहे हैं।
नाराज नेताओं में रुपाणी और पटेल भी शामिल
पार्टी नेतृत्व की ओर से पूर्व मुख्यमंत्री विजय रुपाणी और प्रदेश अध्यक्ष सी आर पाटिल को विधायकों की नाराजगी दूर करने की जिम्मेदारी सौंपी गई है मगर सबसे बड़ा पेंच यह फंसा हुआ है कि रुपाणी और पूर्व डिप्टी सीएम नितिन पटेल खुद नाराज बताए जा रहे हैं। रुपाणी के करीबी कई पूर्व मंत्रियों को नए मंत्रिमंडल में जगह न मिलने की चर्चा है।
प्रदेश बीजेपी अध्यक्ष पाटिल के आवास पर बुधवार को दिन भर विधायकों का जमावड़ा लगा रहा। जानकारों का कहना है कि कई विधायकों ने पाटिल से अपनी नाराजगी दर्ज कराई है। पाटिल विधायकों को मनाने में जुटे रहे और उन्हें आगे सबकुछ दुरुस्त हो जाने का आश्वासन देते रहे।
भूपेंद्र के लिए मुश्किल होगी आगे की राह
पार्टी के राष्ट्रीय संगठन मंत्री बीएल संतोष और पार्टी के प्रदेश प्रभारी भूपेंद्र यादव भी राजधानी में ही डेरा डाले हुए हैं । नए मंत्रिमंडल के शपथ ग्रहण समारोह की रुकावटें को दूर करने का प्रयास कर रहे हैं। दोनों पदाधिकारी मंगलवार से ही पार्टी नेताओं की नाराजगी दूर करने में जुटे हुए हैं मगर इस काम में अभी तक ज्यादा कामयाबी मिलती नहीं दिख रही है।
दोनों नेताओं ने पूर्व मुख्यमंत्री विजय रुपाणी के साथ ही नए मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल से भी विस्तृत चर्चा की है। पूर्व डिप्टी सीएम नितिन पटेल की नाराजगी भी दूर करने का प्रयास किया जा रहा है।
भाजपा के वरिष्ठ नेता नए मंत्रिमंडल को लेकर सहमति बनाने की कोशिश में जुटे हुए हैं। अब देखने वाली बात यह होगी कि उन्हें इस काम में कहां तक कामयाबी मिलती है। वैसे इतना तो तय है की शपथ ग्रहण से पहले ही नाराजगी को देखते हुए भूपेंद्र पटेल की आगे की राह काफी मुश्किल होगी।
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