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हिमाचल चुनाव : BJP-CONG बागियों से निपटने में फेल, क्या होगा आगे का खेल

Rishi
Published on: 27 Oct 2017 11:39 AM GMT
हिमाचल चुनाव : BJP-CONG बागियों से निपटने में फेल, क्या होगा आगे का खेल
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शिमला : बाकी राज्यों की तरह हिमाचल में भी बीजेपी और कांग्रेस अपनों की बगावत से परेशान है। ये वो हैं जो कभी पार्टी के लिए कुछ भी करने का दावा ठोंका करते थे। लेकिन टिकट क्या कटा पार्टी के ही पलीता लगाने में लगे हुए हैं। नामांकन वापसी के साथ ही विधानसभा चुनाव की तस्वीर साफ नजर आने लगी है। बागियों ने निपटने में कांग्रेस और बीजेपी दोनों के ही हाथ पैर फूल गए हैं।

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कद्द्वर नेता और मंत्री कौल सिंह ठाकुर की द्रंग सीट के साथ ही कांग्रेस की अन्य परंपरागत सात सीटें बागियों से सहमी नजर आ रही हैं। वहीं बीजेपी पालमपुर में प्रवीण, चंबा में विधायक वीके चौहान, फतेहपुर में बलदेव ठाकुर और श्री रेणुका जी सीट पर हृदय राम की बगावत से परेशान है। नाम वापसी के अंतिम दिन तक कुल 56 निर्दलियों ने नाम वापस लिया जबकि 82 नामांकन खारिज हुए हैं। इनमें कांग्रेस की बुजुर्ग नेता विद्या स्टोक्स का नाम भी शामिल है। इसके बाद मैदान में 338 प्रत्याशी बाकी बचे हैं।

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बीजेपी की ओर से महामंत्री संगठन रामलाल चुनाव प्रभारी थावर चंद गहलोत, केंद्रीय मंत्री जेपी नड्डा और मंगल पांडेय की अपील को बागियों ने सिरे से नकार दिया है। पालमपुर से प्रवीण शर्मा और फतेहपुर से बलदेव ठाकुर और राजन सुशांत बीजेपी को धूल चटाने में लगे हुए हैं। पार्टी ने यहां से नए चेहरों को मौका दिया है। अब ऐसे में यदि ये चुनाव पार्टी हारती है तो ये उसके लिए बड़ा झटका होगा। ऐसे में बागियों की मौजूदगी प्रत्याशियों की स्थिति को असहज बना रही है।

कहा ये भी जा रहा है कि पूर्व सीएम और सांसद शांता कुमार का वरदहस्त इन बागियों के सिर पर है। वो सिर्फ उन्हें मनाने का दिखावा कर रहे हैं।

बीजेपी हाई कमान ने बागियों से निपटने के लिए जो भी रणनीति बनाई वो फेल हो चुकी है। चंबा में सिटिंग विधायक वीके चौहान और श्री रेणुका जी सीट से हृदय राम पार्टी के खिलाफ चुनाव मैदान में हैं। ये दोनों नेता बड़े जनाधार वाले माने जाते हैं। इस लिए इन्हें अंतिम समय तक पाले में लाने के प्रयास होते रहे। हां! बीजेपी रणनीतिकारों को सिर्फ एक सफलता मिली कि उन्होंने कसुम्पटी सीट से बागी पृथ्वी विक्रम सिंह को मनाने में कामयाबी हासिल कर ली है।

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कांग्रेस के तो दो पूर्व सीएम भी ना मना सके बागियों को

हरीश रावत और भूपेंद्र हुड्डा को पार्टी ने बागियों को मनाने की जिम्मेदारी दी थी। लेकिन बाकियों की क्या कहें सीएम वीरभद्र के करीबी ही निर्दलीय ताल ठोक रहे हैं, और ये दोनों उन्हें ही नहीं मना सके। जानकारों के मुताबिक कांग्रेस के बागी उसे आधा दर्जन सीटों पर झटका देने वाले हैं।

ये हैं बीजेपी के बागी

पालमपुर - प्रवीण शर्मा

फतेहपुर - बलदेव सिंह ठाकुर, राजन सुशांत

चंबा - वीके चौहान, डीके सोनी

श्री रेणुका जी - हृदय राम

हरोली - रविंद्र मान

भरमौर - ललित ठाकुर

ये हैं कांग्रेस के बागी

कुल्लू - रेणुका डोगरा

लाहौल - राजेंद्र करपा

ऊना - राजीव गौतम

शिमला शहर - हरीश जनारथा

नालागढ़- हरदीप सिंह बावा

द्रंग - पूर्ण चंद ठाकुर

रामपुर - सिंघी राम

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आशीष शर्मा ऋषि वेब और न्यूज चैनल के मंझे हुए पत्रकार हैं। आशीष को 13 साल का अनुभव है। ऋषि ने टोटल टीवी से अपनी पत्रकारीय पारी की शुरुआत की। इसके बाद वे साधना टीवी, टीवी 100 जैसे टीवी संस्थानों में रहे। इसके बाद वे न्यूज़ पोर्टल पर्दाफाश, द न्यूज़ में स्टेट हेड के पद पर कार्यरत थे। निर्मल बाबा, राधे मां और गोपाल कांडा पर की गई इनकी स्टोरीज ने काफी चर्चा बटोरी। यूपी में बसपा सरकार के दौरान हुए पैकफेड, ओटी घोटाला को ब्रेक कर चुके हैं। अफ़्रीकी खूनी हीरों से जुडी बड़ी खबर भी आम आदमी के सामने लाए हैं। यूपी की जेलों में चलने वाले माफिया गिरोहों पर की गयी उनकी ख़बर को काफी सराहा गया। कापी एडिटिंग और रिपोर्टिंग में दक्ष ऋषि अपनी विशेष शैली के लिए जाने जाते हैं।

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