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Hijab Controversy: स्कूलों में हिजाब पहनने को लेकर मुस्लिम छात्राओं की मांग तेज़, ड्रेस के रंग से मेल खाता हिजाब पहनने की कोर्ट से अनुमति

Karnataka Hijab Case:कर्नाटक में स्कूलों में मुस्लिम छात्राओं को हिजाब पहनने के चलते प्रवेश पर रोक लगाने के बाद से यह मामला लगातार तूल पकड़ता जा रहा है।

Rajat Verma
Report Rajat VermaPublished By Vidushi Mishra
Published on: 15 Feb 2022 8:30 AM IST (Updated on: 15 Feb 2022 8:31 AM IST)
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हिजाब मामला (फोटो-सोशल मीडिया)

Karnataka Hijab Case: कर्नाटक में स्कूलों में मुस्लिम छात्राओं को हिजाब पहनने के चलते प्रवेश पर रोक लगाने के बाद से यह मामला लगातार तूल पकड़ता जा रहा है। सामान्य रूप से मामले का कोई भी हाल ना निकलता देख, ऐसे में यह मामला अब कर्नाटक हाई कोर्ट तक जा पहुंचा है।

कुछ मुस्लिम छात्राओं ने अपनी दलील के आधार पर कर्नाटक हाई कोर्ट में हिजाब प्रकरण मामले को लेकर पुनर्विचार याचिका दायर की है। छात्रा द्वारा अपनी हाई कोर्ट में दायर इस याचिका के चलते स्कूलों में मुस्लिम महिलाओं को स्कूल ड्रेस से मेल खाता हिजाब पहनने की अनुमति मांगी है।

स्कूल ड्रेस के रंग से मेल खाते हिजाब पहनने की मांग

मुस्लिम छात्राओं द्वारा दायर इस याचिका की उनके पक्ष में सुनवाई वकील देवदत्त कामत कर रहे हैं। देवदत्त कामत ने अपने अपनी बात कर्नाटक हाई कोर्ट में मुख्य न्यायाधीश ऋतुराज अवस्थी, न्यायमूर्ति जे एम क़ाजी तथा न्यायमूर्ति कृष्णा एम दीक्षित की पीठ के समक्ष मुस्लिम छात्राओं के पक्ष में पैरवी करते हुए कहा कि इन्हें स्कूलों में स्कूल ड्रेस से मेल खाते रंग का हिजाब पहनने की अनुमति मिलनी चाहिए।

अपनी दलील की मज़बूती प्रदान करते हुए देवदत्त कामत ने कहा कि केंद्रीय विद्यालयों में केंद्र सरकार द्वारा मुस्लिम महिलाओं को स्कूल ड्रेस के रंग का हिजाब पहनने की अनुमति है तथा इसी के आधार पर कर्नाटक में भी इस मामले को लेकर मुस्लिम छात्राओं के पक्ष में फैसला सुनाया जा सकता है।

वकील देवदत्त कामत ने पेश की दलील

मुस्लिम छात्राओं के पक्ष में दलील पेश करते हुए वकील देवदत्त कामत ने कहा कि इस्लाम में हिजाब पहनना एक पूर्णकालिक और अनिवार्य धार्मिक प्रथा है किसी के भी द्वारा उनको अपनी धार्मिक प्रथा से वंचित रखना भारतीय संविधान के अन्तर्गत अनुच्छेद 25 (अंतरात्मा की स्वतंत्रता तथा धर्म के स्वतंत्र पेशे, अभ्यास और प्रचार की स्वतंत्रता) में दिए गए अधिकारों का हनन है।

हालांकि इसके अतिरिक्त हिजाब प्रकरण के चलते बंद कर्नाटक के स्कूल और प्री-यूनिवर्सिटी अब 16 फरवरी से वापस से खोले जा रहे है, इस फैसले पर कर्नाटक के मुख्यमंत्री बसावराज बोम्मई ने अंतिम मुहर लगाई है।

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Vidushi Mishra

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