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प्रियंका कर रहीं UP में अपना रोल तय, गुलाम नबी से लंबी बातचीत की
नई दिल्लीः यूपी में होने वाले विधानसभा चुनावों से पहले कांग्रेस अब पूरी तरह एक्शन मोड में आती दिख रही है। मंगलवार को राज बब्बर को यूपी कांग्रेस की कमान सौंपने का ऐलान करने से ठीक पहले दिन में प्रियंका गांधी भी अपने रोल को लेकर सक्रिय हो गईं। उन्होंने यूपी कांग्रेस के प्रभारी गुलाम नबी आजाद से मुलाकात की। दोनों के बीच लंबी बातचीत का दौर चला।
सूत्रों के मुताबिक प्रियंका यूपी में पार्टी की शीर्ष प्रचारक का जिम्मा संभालने को लेकर गुलाम नबी से बातचीत करने पहुंची थीं। सूत्रों के अनुसार एक घंटे तक गुलाम नबी से बातचीत में प्रियंका ने अपने इसी रोल पर फोकस किया और इससे कांग्रेस को होने वाले नफा-नुकसान को लेकर गंभीर चर्चा की।
प्रियंका के रोल पर कांग्रेस में चुप्पी
-प्रियंका के यूपी में रोल पर अभी कांग्रेस हाईकमान ने चुप्पी साध रखी है।
-पार्टी पहले ये तौलना चाहती है कि प्रियंका को लाने से उसे क्या फायदा हो सकता है।
-अभी तक प्रियंका अपनी मां सोनिया के क्षेत्र रायबरेली और भाई राहुल के क्षेत्र अमेठी में ही प्रचार करती रही हैं।
-हालांकि, 2012 के यूपी विधानसभा चुनाव में उन्होंने विपक्षी दलों को ये कहकर चुनौती देने की कोशिश की थी कि क्या वे चाहते हैं कि यूपी में हर जगह वह प्रचार करें।
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गुलाम नबी चाहते हैं प्रियंका की बड़ी भूमिका
-सूत्रों के अनुसार गुलाम नबी आजाद चाहते हैं कि प्रियंका गांधी यूपी में बड़ा रोल निभाएं।
-उन्होंने इस बारे में अपनी राय सोनिया और राहुल को बता भी दी है।
-कांग्रेस के पोल स्ट्रैटेजिस्ट प्रशांत किशोर (पीके) ने भी प्रियंका की बड़ी भूमिका का सुझाव दिया था।
-पीके ने ये सुझाव भी दिया था कि यूपी में कांग्रेस की कमान ही प्रियंका को दे दी जाए।
विधानसभा सीटों पर प्रियंका का क्या रहा असर?
-बता दें कि साल 2012 में प्रियंका ने अमेठी और रायबरेली में कांग्रेस का प्रचार किया था।
-इन दोनों संसदीय क्षेत्रों में 10 विधानसभा सीटें आती हैं।
-साल 2012 में प्रियंका के प्रचार के बावजूद कांग्रेस इन 10 में से सिर्फ 3 सीटें ही जीत सकी थी।
-इसे देखते हुए भी प्रियंका के भावी रोल को लेकर कांग्रेस नेतृत्व उहापोह की स्थिति में है।