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जवाहरबाग कांडः रामवृक्ष यादव को गायब कर देना चाहती है सरकार!
गाजीपुर: मरदह थाना के रायपुर "बाघपुर" के रहने वाले जवाहरबाग के मुख्य आरोपी रामवृक्ष यादव के बेहद करीबी कहे जाने वाले उनके मित्र सुदामा यादव ने सपा सरकार पर संगीन आरोप लगाए हैं। उन्होंने कहा है कि सपा सरकार रामवृक्ष यादव को गायब कर देना चाहती है। सुदामा ने इस पूरे मामले के लिए जयगुरुदेव के उत्तराधिकारी पंकज यादव को भी जिम्मेदार ठहराया है सुदामा का कहना है कि पंकज ने ही बदनाम करने के लिए हथियार पहुंचाया है।
पंकज यादव और रामवृक्ष यादव जय गुरूदेव से जुड़े थे। बाद में कुछ बातों को लेकर दोनों में आपसी मतभेज पैदा हा गया इसके बाद रामवृक्ष यादव ने अपना एक अलग संगठन बना लिया था।
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स्थानीय निवासी एवं वरिष्ट पत्रकार सतीश ने क्या कहा
मिट्टी की खपरैल वाला यह मकान जिसमें आज पिछले 2 साल से ताला पड़ा हुआ है। यह घर मथुरा कांड के मुख्य आरोपी रामवृक्ष यादव का है। वह अपने पूरे परिवार के साथ मथुरा में रहता है। रामवृक्ष यादव ने वैसे तो इण्टर तक की पढ़ाई गाजीपुर और स्नातक की पढ़ाई मऊ में की और जय गुरूदेव के सानिध्य मे आ गए। किन्ही कारणों से एक बैठक के दौरान जय गुरूदेव ने इनका पोशाक बोरे का वस्त्र उतरवा दिया था।
इसके बाद इनकी दूरियां बढ़ गईं थीं। ये जय गुरुदेव को सुभाष चन्द्र बोस मानते थे। और उनके नाम से चलने वाले सिक्के की मांग करते थे। और सुभाष चन्द बोस के अन्तिम इच्छानुसार स्वाधीन भारत नाम का राजनैतिक संगठन बना लिया था। और उसी बैनर के तले लोकसभा और विधानसभा का चुनाव भी लड़े थे। इनकी मांग थी भारतीय रुपए से लेनदेने हो।
ग्रामीण इंद्रदेव यादव ने क्या कहा
इस घटना पर जय गुरुदेव आश्रम सहेड़ी गाजीपुर के मुखिया इंद्रदेव यादव ने कहा कि इस घटना से हमारा कोई लेन देना नहीं है। बाबा जयगुरुदेव ने खासकर अपने प्रेमियों से कहा था कि किसी तरह के आंदोलन, हड़ताल, रैली और धरना प्रदर्शन में आप लोग भाग मत लीजिए क्योंकि इससे देश की जनधन की बड़ी हानि होती है। इसलिए बाबाजी ने सबको मना किया था और इसमें हम लोग बिलकुल रूचि नहीं रखते हैं। आंदोलनकारी जो जयगुरुदेव का नाम ले रहे थे वो गलत है उससे हम लोगों की संस्था का कोई मतलब नहीं है।
सपा दे रही थी मीसा पेंशन
- रामवृक्ष यादव को मीसा (लोकतंत्र रक्षक सेनानी ) के बंदी होने के चलते सपा सरकार 15000 रुपए महीना पेंशन देती है।
-वह दो वर्ष पहले अपने परिवार को मथुरा लेकर चले गये थे और वहीं धरना स्थल पर साथ ही रखते थे।
- हाई स्कूल और इंटर पी.एन. इंटर काॅलेज मरदह गाजीपुर , ग्रेजुएसन डी.सी.एस.के. पी.जी. कालेज - मऊ से।
- रामब्रिक्ष यादव 1984 में निर्दलीय लोकसभा का चुनाव लड़ा और हार गया उसे 3234 वोट मिले।
- दूरदर्शी पार्टी से गाजीपुर के जहूराबाद से विधान सभा का चुनाव लड़ा और हार गया।
- बाद में ख़ुद का राजनैतिक संगठन बना लिया जिसका नाम था "स्वाधीन भारत"