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मायावती बोलीं- मोदी ने मनाया चुनावी दशहरा, जय श्री राम के लगाए नारे, सेना को किया किनारे

बहुजन समाज पार्टी (बसपा) सुप्रीमो मायावती ने पीएम नरेंद्र मोदी के दशहरे के मौके पर लखनऊ स्थित ऐतिहासिक ऐशबाग रामलीला में शामिल होने की परंपरा को राजनीति और चुनावी स्वार्थ बताया है। मायावती ने कहा कि पीएम मोदी ने आतंकवाद के मसले पर भगवान राम और जटायु का जिक्र किया लेकिन सर्जिकल स्ट्राइक पर हमारे सेना के जवानों की एक भी तारीफ नहीं की। यह बेहद अफसोसजनक और दुखद है। मायावती ने पीएम मोदी के बयान पर पलटवार करते हुए कहा कि देश और दुनिया पहले ही युद्ध के बजाए बुद्ध के रास्ते पर चलने का प्रयास करे ताकि फिर युद्ध करने की जरूरत न पड़े।

tiwarishalini
Published on: 12 Oct 2016 5:00 PM IST
मायावती बोलीं- मोदी ने मनाया चुनावी दशहरा, जय श्री राम के लगाए नारे, सेना को किया किनारे
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लखनऊ: बहुजन समाज पार्टी (बसपा) सुप्रीमो मायावती ने पीएम नरेंद्र मोदी के दशहरे के मौके पर लखनऊ स्थित ऐतिहासिक ऐशबाग रामलीला में शामिल होने की परंपरा को राजनीति और चुनावी स्वार्थ बताया है। मायावती ने कहा कि पीएम मोदी ने आतंकवाद के मसले पर भगवान राम और जटायु का जिक्र किया लेकिन सर्जिकल स्ट्राइक पर हमारे सेना के जवानों के बारे में एक शब्द तक नहीं बोला। यह बेहद अफसोसजनक और दुखद है। मायावती ने पीएम मोदी के बयान पर पलटवार करते हुए कहा कि देश और दुनिया पहले ही युद्ध के बजाए बुद्ध के रास्ते पर चलने का प्रयास करे ताकि फिर युद्ध करने की जरूरत न पड़े।

खत्म करें कथनी और करनी का अंतर

-मायावती ने कहा कि जातिवाद और सामाजिक बुराइयों को खत्म करने के लिए जुमलेबाजी से काम नहीं चलेगा।

-मोदी सरकार को कुछ करके दिखाना होगा।

-इसके लिए डॉ. भीमराव अंबेडकर के बताए हुए रास्तों पर ही चलना होगा और उन्हें अपने कथनी और करनी का अंतर भी खत्म करना होगा।

सेना को नहीं मोदी को मिला श्रेय

मायावती ने कहा कि ऐशबाग स्थित रामलीला मैदान के आस-पास जो बड़े-बड़े पोस्टर, बैनर और होर्डिंग लगाए गए थे, वे सर्जिकल स्ट्राइक की सफलता के लिए सेना के बजाए नरेंद्र मोदी को ही ज्यादातर श्रेय दे रहे थे, जो कि गलत है और पार्टी की गलत नीयत को दर्शाता हैं।

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तीर का निशाना बार बार चूकने वाले पीएम

-मायावती ने कहा कि इस मौके पर अपने तीर का निशाना बार-बार चूकने वाले पीएम चुनावी स्वार्थ जैसी बुराई को नहीं रोक पाए।

-कर्म को ही धर्म बनाएं, उपदेशों से देश और समाज की तकदीर संवरने वाली नहीं है।

-मायावती का कहना था कि पीएम मोदी ने अपने भाषण में अनेकों सामाजिक बुराइयां गिनाई, लेकिन उससे काम नहीं चलेगा।

-इन्हें समाप्त करने के लिए केंद्र सरकार के साथ ही बीजेपी शासित राज्यों को इन कानूनों पर सख्ती से अमल करना होगा।

-इसके लिए दृढ़ इच्छाशक्ति की जरूरत है, जो कि खासकर बीजेपी की सरकारों के पास नहीं है।

ऐसा होता तो हिंदू राष्ट्र के नाम पर तांडव करने की नहीं मिलती छूट

मायावती ने कहा कि यदि पीएम मोदी के पास दृढ़ इच्छाशक्ति होती, तो फिर गुजरात का बर्बर दलित ऊना कांड, हरियाणा का मेवात बलात्कार कांड, रोहित वेमुला कांड, मरी गाय नहीं उठाने पर गुजरात का बनासकांठा दलित उत्पीड़न कांड, दादरी कांड, दयाशंकर सिंह कांड नहीं होता और गौरक्षा, लव-जेहाद, धर्म परिवर्तन, हिंदू संस्कृति, हिन्दू धर्म और हिन्दू राष्ट्र के नाम पर भी लोगों को तांडव करने की छूट नहीं मिली होती।



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tiwarishalini

tiwarishalini

Excellent communication and writing skills on various topics. Presently working as Sub-editor at newstrack.com. Ability to work in team and as well as individual.

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