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राम मंदिर निर्माण का प्रण लेने वाले DG को RSS के संघचालक का सपोर्ट
लखनऊ: राम मंदिर निर्माण की शपथ लेने वाले पुलिस महानिदेशक को अब राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ (आरएसएस) से सहयोग मिलना शुरू हो गया है। डीजी के प्रण लेने को सराहनीय कदम बताते हुए आरएसएस के प्रांत संघचालक ने उनके संघर्ष में उनका साथ देने की बात कही है। डीजी सूर्य कुमार शुक्ला के राम मंदिर निर्माण की शपथ लेने के वीडियो के बाद अब आरएसएस के प्रांत संघचालक प्रभु नारायण का फेसबुक पोस्ट सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है।
'किसी भी हाल में मत झुकना'
आरएसएस के प्रांत संघचालक प्रभु नारायण ने अपने फेसबुक वॉल पर डीजी सूर्य कुमार शुक्ला का सपोर्ट करते हुए लिखा है कि 'ऐसे राष्ट्रवादी अधिकारियों का बाल भी बांका नहीं होना चाहिए। राष्ट्रवादियों के सामने यह चुनौती है। जेहादियों के समर्थक षडयंत्रकारी ने दमखम लगा रखा है। सूर्य कुमार शुक्ल तुम संघर्ष करो, हम तुम्हारे साथ हैं। एक नहीं दस नौकरियां चली जाएं, झुकना नहीं।'
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खुले मंच से आईपीएस ने ली थी शपथ
सूबे के सीनियर पुलिस अधिकारी डीजी होमगार्ड सूर्य कुमार शुक्ला ने पिछले दिनों लखनऊ यूनिवर्सिटी में खुले मंच से राम मंदिर को जल्द से जल्द बनाने की कसम खाई थी। सीनियर पुलिस अधिकारी का ये शपथ लेते वीडियो न्यूजट्रैक डॉट कॉम के पास है। सूर्य कुमार शुक्ला 1982 बैच के आईपीएस अधिकारी हैं। उनके द्वारा ली गई ये शपथ सुप्रीम कोर्ट के आदेशों की अवेहलना भी है। लेकिन इन सबसे बेफिक्र डीजी होमगार्ड सूर्य कुमार शुक्ला हर हाल में राम मंदिर को बनाने की कसम खाते और जय श्री राम के नारे लगाते नजर आ रहे हैं। इस कार्यक्रम में उनके साथ हिंदू मंच के आजम खान सबको शपथ दिलवाते नजर आ रहे हैं।
अधिकारी पर लग रहे सांप्रदायिकता फैलाने के आरोप
डीजी स्तर के अधिकारी की इस हरकत से उन पर सांप्रदायिकता को बढावा देने के आरोप लग रहे हैं। सवाल उठ रहा है कि जब सीनियर पदों पर बैठे अधिकारी ही इस तरह का धार्मिक उन्माद फैलाएंगे और सुप्रीम कोर्ट के आदेशों की अवहेलना करेंगे, तो प्रदेश में शांति-व्यवस्था कैसे दुरुस्त रहेगी।
डीजी बोले- मैंने लोगों को समझाया था
डीजी सूर्यकुमार शुक्ला ने newstrack.com को बताया, कि 'मैं उस कार्यक्रम में गया था। कुछ मुस्लिम लोग राम मंदिर निर्माण में सहयोग की बात कह रहे थे। मैंने उन्हें ये समझाया था कि उच्चतम न्यायालय ने भी ये कहा है कि हिन्दू-मुस्लिम अगर इस मामले में आपसी समझौते के साथ कुछ हल निकालना चाहते हैं, तो वो ऐसा कर सकते हैं।'