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Delhi Water Crisis: जल संकट पर SC ने दिल्ली सरकार को लगाई फटकार, टैंकर माफिया को लेकर भी सुनाई खरी खोटी
Delhi Water Crisis: दिल्ली में जारी भीषण जल संकट पर राज्य सरकार की ओर से दाखिल की गई याचिका में सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली सरकार को कड़ी फटकार लगाई है।
Delhi Water Crisis: दिल्ली में जारी भीषण जल संकट पर राज्य सरकार की ओर से दाखिल की गई याचिका पर सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली सरकार को कड़ी फटकार लगाई है। सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली सरकार से सख्त लहजे में यह भी कहा है कि न्यूज़ चैनलों पर टैंकर माफिया की ख़बरें चल रही हैं। आपने अब तक इन माफियाओं पर क्या कार्रवाई की और पानी की बर्बादी रोकने के लिए क्या कदम उठाए हैं।
दिल्ली सरकार की ओर से दाखिल याचिका पर सुनवाई कर रही जस्टिस प्रशांत कुमार और पीबी वराले की पीठ ने कई सवाल पूछे। कोर्ट ने कहा कि न्यूज़ चैनलों पर टैंकर माफिया से जुडी ख़बरें चल रही हैं। आपने इस पर क्या कार्रवाई की है। गर्मियों में अगर हर बार पानी की कमी होती है तो आपने इसे रोकने के लिए क्या उपाय किए हैं। इस पर दिल्ली सरकार के वकील ने कहा कि हम इस पर सुप्रीम कोर्ट में हलफनामा दाखिल करेंगे।
सरकार नहीं कर सकती कार्रवाई तो पुलिस से कहें: कोर्ट
कोर्ट ने सख्त लहजे में सरकार से पूछा है आपने अभी तक टैंकर माफिया के खिलाफ क्या कार्रवाई की है, क्या किसी माफिया के खिलाफ एक्शन लिया, एफआईआर दर्ज कराई। इस पर वकील ने कहा कि सरकार ने कनेक्शन काटने सहित अन्य कदम उठाए हैं। कोर्ट ने यह भी कहा कि अगर सरकार कार्रवाई नहीं कर सकती तो हम दिल्ली पुलिस से कहें। अब कोर्ट में गुरुवार को पुनः इस मामले की सुनवाई होगी।
दिल्ली में सैकड़ों टैंकर माफिया सक्रिय
दिल्ली एक ओर जहाँ भीषण जल संकट से जूझ रही है तो दूसरी ओर राज्य भर में सैकड़ों टैंकर माफिया धड़ल्ले से रुपये के बदले अवैध तरीके से पानी की सप्लाई कर रहे हैं, यहां 1500 से लेकर 3000 प्रति टैंकर से पानी धड़ल्ले से बिक रहा है। अपनी सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट ने भी इस बात से नाराजगी जताई है।
याचिका में की गई है हरियाणा से पानी छोड़ने की मांग
दिल्ली सरकार की ओर से सुप्रीम कोर्ट में दाखिल याचिका में मांग की गई है कि कोर्ट हरियाणा को निर्देश दे कि वह हिमाचल से छोड़े गए अतिरिक्त पानी को दिल्ली के लिए छोड़ दें। जबकि हरियाणा सरकार के वकील श्याम दीवान ने इन आरोपों से इंकार किया है। उन्होंने कहा कि हरियाणा की ओर से पहले ही अतिरिक्त पानी छोड़ा जा चुका है अब राज्य के पास अतिरिक्त पानी नहीं बचा है। फिलहाल कोर्ट ने गुरुवार को एक बार फिर से इस मामले की विस्तार से सुनवाई करने की बात कही है।