TRENDING TAGS :

Aaj Ka Rashifal

MP Politics: मध्य प्रदेश चुनाव में BJP लागू करेगी गुजरात वाला फार्मूला, बड़े पैमाने पर विधायकों के टिकट काटने की तैयारी

MP Politics: चुनावी रणनीति को लेकर भाजपा के शीर्ष नेतृत्व के साथ ही राज्य स्तर के नेता भी लगातार मंथन की कोशिश में जुटे हुए हैं।

Anshuman Tiwari
Published on: 30 Aug 2023 12:13 PM IST
MP Politics: मध्य प्रदेश चुनाव में BJP लागू करेगी गुजरात वाला फार्मूला, बड़े पैमाने पर विधायकों के टिकट काटने की तैयारी
X
BJP MP News (photo: social media )

MP Politics: मध्य प्रदेश के विधानसभा चुनाव की तारीख घोषित होने से पहले ही भाजपा और कांग्रेस दोनों दलों ने राज्य में पूरी ताकत लगा दी है। कर्नाटक के चुनावी हार के बाद बीजेपी मध्य प्रदेश में कांग्रेस को मुंहतोड़ जवाब देने की कोशिश में जुटी हुई है। चुनावी रणनीति को लेकर भाजपा के शीर्ष नेतृत्व के साथ ही राज्य स्तर के नेता भी लगातार मंथन की कोशिश में जुटे हुए हैं।

सत्ता विरोधी रुझान के कहर से बचने के लिए इस बार मध्य प्रदेश में बड़े पैमाने पर टिकट काटने की तैयारी है। भाजपा से जुड़े सूत्रों का कहना है कि राज्य में गुजरात का फार्मूला लागू किया जा सकता है। गुजरात में चुनावी जीत हासिल करने के लिए भाजपा ने दिग्गज नेताओं का टिकट काटने से भी परहेज नहीं किया था। अब वही फार्मूला मध्य प्रदेश में भी लागू किया जा सकता है जिसके तहत करीब 60 विधायकों का टिकट काटे जाने की संभावना है।

कांग्रेस की घेरेबंदी से भाजपा की चुनौतियां बढ़ीं

2024 की सियासी जंग से पहले मध्य प्रदेश, राजस्थान और छत्तीसगढ़ के विधानसभा चुनाव को काफी महत्वपूर्ण माना जा रहा है। भाजपा नेतृत्व को इस बात का बखूबी एहसास है कि विधानसभा चुनाव के नतीजे 2024 के लोकसभा चुनाव पर भी असर डालने वाले साबित होंगे। राज्य में कांग्रेस 2020 में ज्योतिरादित्य सिंधिया की अगुवाई में पार्टी के कई विधायकों की बगावत के बाद कमलनाथ की सरकार गिराने की घटना का बदला लेने की कोशिश में जुटी हुई है।

पार्टी की ओर से मध्य प्रदेश में भी कर्नाटक की तरह कई गारंटियों का ऐलान किया गया है। राज्य के दो पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ और दिग्विजय सिंह कांग्रेस के लिए धुआंधार बैटिंग करने में जुटे हुए हैं और यही कारण है कि भाजपा के लिए चुनौतियां काफी बढ़ गई हैं।

सर्वे के आधार पर होगा टिकटों का फैसला

भाजपा ने इस बार नया प्रयोग करते हुए दूसरे राज्यों के विधायकों को राज्य की सभी विधानसभा सीटों पर सर्वे के काम में लगाया है। इन विधायकों को क्षेत्र के सियासी समीकरण,जनप्रतिनिधि को लेकर जनता की राय, क्षेत्रीय मुद्दों,क्षेत्र में जनप्रतिनिधि की सक्रियता और इलाके के मजबूत पार्टी नेताओं की जमीनी स्थिति के संबंध में पूरा ब्योरा इकट्ठा करके शिव शीर्ष नेतृत्व को भेजने की जिम्मेदारी सौंप गई है।

राज्य के सभी 230 विधानसभा सीटों पर सर्वेक्षण का काम लगभग पूरा हो चुका है। विधायकों के टिकट का फैसला करने में यह रिपोर्ट बड़ी भूमिका निभाएगी। जानकारों के मुताबिक पार्टी की ओर से इस बार कुछ सांसदों को भी विधानसभा के चुनावी अखाड़े में उतारने की तैयारी है।

50 फ़ीसदी विधायकों का कट सकता है टिकट

भाजपा सूत्रों का कहना है कि पार्टी की ओर से कमजोर सीटों के साथ ही उन सीटों पर भी विशेष ध्यान दिया जा रहा है जिन पर मौजूदा समय में भाजपा का कब्जा है। ऐसे में पार्टी की 127 विधानसभा सीटों पर विशेष रूप से सर्वे कराया जा रहा है ताकि क्षेत्रीय विधायक के कामकाज का मूल्यांकन करने के साथ ही उनके प्रति क्षेत्र के लोगों की राय को समझा जा सके।।म इस कारण मध्य प्रदेश में इस बार काफी संख्या में विधायकों का टिकट काट जाने की संभावना जताई जा रही है।

सूत्रों का कहना है कि पार्टी नेतृत्व की ओर से इस बार करीब 50 फ़ीसदी विधायकों के टिकट काटे जा सकते हैं। ऐसी स्थिति में 60 या इससे अधिक विधायकों के टिकट काटे जा सकते हैं। प्रदेश में अभी तक इतनी ज्यादा संख्या में विधायकों के टिकट कभी नहीं काटे गए। ऐसे में यदि पार्टी नेतृत्व यह कदम उठाता है तो शायद यह पहली बार आधे से अधिक के विधायकों के टिकट काटे जाने का मामला होगा।

लोकसभा चुनाव के समीकरण पर भी फोकस

भाजपा नेतृत्व विधानसभा चुनाव के साथ ही लोकसभा चुनाव का समीकरण भी तय करने की कोशिश में भी जुटा हुआ है। भाजपा ने 2024 के लोकसभा चुनाव में राज्य की सभी 29 लोकसभा सीटों पर जीत हासिल करने का लक्ष्य रखा है। 2019 के लोकसभा चुनाव में पार्टी को 28 सीटों पर जीत हासिल हुई थी जबकि कमलनाथ का गढ़ माने जाने वाले छिंदवाड़ा में उनके बेटे नकुल नाथ ने भाजपा को हराने में कामयाबी हासिल की थी।

विधानसभा चुनाव की तरह ही लोकसभा चुनाव में भी कई सांसदों के टिकट काटे जा सकते हैं। पार्टी की ओर से इस बार युवा और कर्मठ नेताओं को आगे बढ़ाने की तैयारी है। उन सांसदों का टिकट कटना तय माना जा रहा है जिनके बारे में क्षेत्र से अच्छी रिपोर्ट नहीं मिल रही है



\
Anshuman Tiwari

Anshuman Tiwari

Next Story