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Anil Deshmukh Giraftar: ED की बड़ी कार्रवाई, पूर्व गृह मंत्री अनिल देशमुख गिरफ्तार, राजनीति हलचलें हो सकती हैं तेज़

Anil Deshmukh Giraftar: सोमवार की सुबह लगभग 12 बजे अनिल देशमुख ईडी के दफ़्तर पहुंचे थे

Shashwat Mishra
Written By Shashwat Mishra
Published on: 1 Nov 2021 8:53 PM GMT (Updated on: 2 Nov 2021 12:59 AM GMT)
Antilia case accused sachin vaze anil deshmukh
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सचिन वाझे से ED ने की पूछताछ। (Photo-Social Media) 

Anil Deshmukh Giraftar: महाराष्ट्र के पूर्व गृहमंत्री अनिल देशमुख (Anil Deshmukh) को मंगलवार की रात करीब 1:30 बजे गिरफ्तार (Maharashtra Former Home Minister Arrested) कर लिया गया। अनिल देशमुख को प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने जबरन वसूली और मनी लॉन्ड्रिंग (Money Laundering Case) के आरोप में गिरफ्तार किया है। बता दें कि, सोमवार की सुबह लगभग 12 बजे अनिल देशमुख ईडी के दफ़्तर पहुंचे थे। जिसके बाद उनसे पूछताछ का सिलसिला शुरू हुआ।

ख़बरों के अनुसार- क़रीब 12-13 घण्टे चली पूछताछ में अनिल देशमुख के जवाब ईडी को संतोषजनक नहीं लगे। इसलिए, ईडी ने उन्हें गिरफ्तार कर लिया और अब कोर्ट में पेश करने की तैयारी में है। वहीं, ईडी के अधिकारियों का साफ तौर पर कहना है कि, अनिल देशमुख ने जांच में सहयोग नहीं किया।

ED ने कई बार भेजा था समन

बताते चलें कि प्रवर्तन निदेशालय (ED) की ओर से इससे पहले कई बार अनिल देशमुख को समन (Anil Deshmuk Ko Saman) भेजा जा चुका था, लेकिन वो अब तक सहयोग करने के लिए ईडी के समक्ष पेश नहीं हुए। लेकिन सोमवार सुबह करीब 11 बजकर 55 मिनट पर वो खुद ईडी दफ्तर पहुंच गए थे और फिर पूछताछ में शामिल हुए। जिसके बाद उनसे करीब 12 घंटे की पूछताछ की गई, जिसमें उनसे ईडी के अधिकारियों ने 12 सवाल किए। लेकिन इसमें से किसी का जवाब भी ईडी को संतोषजनक नहीं लगा, जिसके बाद ईडी ने एक्शन लेते हुए अनिल देखमुख को गिरफ्तार कर लिया।

मीडिया रिपोर्ट्स की मानें तो गिरफ्तारी से पहले महाराष्ट्र के पूर्व गृहमंत्री अनिल देशमुख का बयान दर्ज किया गया था। साथ ही इस अपराध में शामिल अपराधियों के बयान भी उनके सामने रखे थे। लेकिन देखमुख संतोषजनक जवाब नहीं दे पाए। वे बस अधिकारियों के सामने अपने ऊपर लगे आरोपों का खंडन करते आए। बता दें कि जिस मामले में देशमुख की गिरफ्तारी हुई है, उसी मामले में उनकी पत्नी और बेटे से भी पूछताछ के लिए समन भेजा जा चुका है, लेकिन वे लोग अब तक ईडी के दफ्तर नहीं पहुंचे हैं।

जानें क्या है पूरा मामला?

दरअसल, मुंबई पुलिस के पूर्व कमिश्नर परमबीर सिंह (Param Bir Singh) ने महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे को एक चिट्ठी लिखी थी, जिसमें उन्होंने दावा किया था कि अनिल देशमुख ने बतौर गृहमंत्री हर महीने सचिन वाजे से 100 करोड़ रुपये देने की मांग की थी। परमबीर ने यह भी आरोप लगाया था कि देशमुख पुलिस अधिकारियों का ट्रांसफर करने और उनकी पोस्टिंग के एवज में पैसा लेते हैं। इसी मामले में ईडी ने कार्रवाई की है।

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