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Maharashtra Crisis : फडणवीस को लेकर भाजपा ने क्यों बदली रणनीति,शिंदे की ताजपोशी के पीछे क्या है गेम प्लान

Maharashtra Politics: फडणवीस की ओर से शिंदे को नया मुख्यमंत्री बनाए जाने के ऐलान के बाद खुद शिंदे ने फडणवीस के त्याग की जमकर तारीफ की।

Anshuman Tiwari
Written By Anshuman Tiwari
Published on: 30 Jun 2022 1:45 PM GMT (Updated on: 30 Jun 2022 2:01 PM GMT)
Maharashtra Crisis : फडणवीस को लेकर भाजपा ने क्यों बदली रणनीति,शिंदे की ताजपोशी के पीछे क्या है गेम प्लान
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New Delhi: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Prime Minister Narendra Modi) और गृह मंत्री अमित शाह (Home Minister Amit Shah) के फैसलों को भांपना आसान काम नहीं है। मीडिया ही नहीं बल्कि बड़े बड़े सियासी दिग्गज भी इस मामले में गच्चा खा जाते हैं। महाराष्ट्र की सियासत (Maharashtra politics) में भी कुछ ऐसा ही देखने को मिला। सुबह से ही सभी चैनलों और वेबसाइटों में खबर चल रही थी कि देवेंद्र फडणवीस (Devendra Fadnavis) महाराष्ट्र के नए सीएम होंगे। शिवसेना के बागी नेता एकनाथ शिंदे (Eknath Shinde) को डिप्टी सीएम बनाए जाने की बात थी। तभी अचानक सभी चैनलों में ब्रेकिंग चलने लगी कि महाराष्ट्र के नए मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे (New CM of Maharashtra Eknath Shinde) होंगे। मजे की बात यह है कि चौंकाने वाला यह ऐलान खुद फडणवीस ने किया।

फडणवीस का यह ऐलान सुनकर सियासी जानकार भी चौंक गए क्योंकि किसी को भाजपा की इस रणनीति का अंदाजा नहीं था। भाजपा ने शिंदे को मुख्यमंत्री बनाने के ऐलान के साथ एक तीर से कई निशाने साधने की कोशिश की है। भाजपा (BJP) की इस रणनीति के पीछे बड़ा गेम प्लान माना जा रहा है जिसका नतीजा आने वाले दिनों में दिखेगा। फडणवीस किंग मेकर की भूमिका में दिखेंगे और 2024 की सियासी जंग और महाराष्ट्र के अगले विधानसभा चुनाव पर इस फैसले का बड़ा असर पड़ने की संभावना जताई जा रही है।

भाजपा ने शिवसेना से चुकाया हिसाब

महाराष्ट्र में 2019 के विधानसभा चुनाव में भाजपा शिवसेना की अपेक्षा काफी मजबूत बनकर उभरी थी मगर इसके बावजूद शिवसेना ने मुख्यमंत्री पद को लेकर भाजपा से गठजोड़ तोड़ने के बाद एनसीपी (NCP) और कांग्रेस (Congress) के समर्थन से सरकार बनाई। उस समय देवेंद्र फडणवीस ने एनसीपी में सेंधमारी की कोशिश करके मुख्यमंत्री पद की शपथ ली थी मगर 24 घंटे के भीतर ही उन्हें मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा देना पड़ा।

भाजपा तभी से शिवसेना (Shiv Sena) की ओर से उठाए गए इस कदम का हिसाब चुकाने में लगी थी और आखिरकार शिंदे की अगुवाई में हुई शिवसेना में बड़ी बगावत से भाजपा को बदला लेने का बड़ा मौका मिल गया। हालांकि शिवसेना की इस टूट के पीछे भी भाजपा का ही हाथ माना जा रहा है।

उद्धव ठाकरे: photo - social media

उद्धव से लिया धोखे का बदला

भाजपा ने इस कदम के जरिए उद्धव ठाकरे के 2019 में दिए गए धोखे का बदला भी ले लिया है। उद्धव ठाकरे को मुख्यमंत्री पद भी छोड़ना पड़ा है और भाजपा ने उनके खिलाफ बगावत करने वाले नेता को ही मुख्यमंत्री बनाकर उद्धव ठाकरे को करारा जवाब दिया है। इस कदम के जरिए भाजपा की ओर से महाराष्ट्र के लोगों को यह संदेश देने की भी कोशिश की गई है कि सत्ता की चाह में उद्धव ठाकरे को सत्ता से बेदखल नहीं किया गया है।

शिवसेना के आरोपों की हवा निकाली

शिवसेना में बगावत के बाद ही उद्धव ठाकरे और संजय राउत (Sanjay Raut) समेत शिवसेना के अन्य नेताओं की ओर से भाजपा पर सत्ता की लालच में शिवसेना में बगावत कराने का आरोप लगाया जाता रहा है। संजय राउत ने तो यहां तक आरोप लगाया था कि फडणवीस ने मुख्यमंत्री बनने के लिए यह घिनौना खेल खेला है।

शिवसेना का आरोप था कि विधायकों की खरीद-फरोख्त में काफी रकम खर्च की गई है और यह सबकुछ भाजपा ने सत्ता हथियाने के लिए ही किया है। अब भाजपा की ओर से फडणवीस की जगह शिंदे की ताजपोशी के बाद इन सारे आरोपों की हवा निकल गई है।

भाजपा को होगा बड़ा सियासी फायदा

सियासी जानकारों का यह भी मानना है कि भाजपा के इस कदम के बाद पार्टी को कई फायदे होने की संभावना है जबकि नुकसान कुछ भी नहीं होगा। भाजपा ने सांप भी मर जाए और लाठी भी ना टूटे वाली कहावत को पूरी तरह चरितार्थ कर दिया है। 2024 की सियासी जंग में भाजपा अपने इस दांव को भुनाने की पूरी कोशिश करेगी। इसके साथ ही महाराष्ट्र के अगले विधानसभा चुनाव में भी भाजपा हिंदुत्व का कार्ड खेलकर शिवसेना को पूरी तरह कमजोर करने की कोशिश में जुट गई है।

शिवसेना का बागी गुट भी शुरुआत से ही भाजपा से गठबंधन की वकालत करता रहा है। बगावत के बाद से ही शिंदे कहते रहे हैं कि यदि उद्धव ठाकरे (Uddhav Thackeray) भाजपा के साथ मिलकर सरकार बना लें तो उन्हें कोई आपत्ति नहीं होगी। बागी गुट शिवसेना पर हिंदुत्व के रास्ते से भटकने का आरोप भी लगाता रहा है। ऐसे में भाजपा ने बागी नेता शिंदे को मुख्यमंत्री बना कर यह संदेश देने की कोशिश की है कि महाराष्ट्र की सियासत में वह आगे भी हिंदुत्व के रास्ते पर ही बढ़ने की कोशिश करेगी।

भाजपा के एहसान से दबे रहेंगे शिंदे

फडणवीस की ओर से शिंदे को नया मुख्यमंत्री बनाए जाने के ऐलान के बाद खुद शिंदे ने फडणवीस के त्याग की जमकर तारीफ की। उन्होंने कहा कि भाजपा की ओर से यह कदम उठाकर पूरे देश में एक बड़ी मिसाल कायम की गई है। उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, गृह मंत्री अमित शाह और भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जगत प्रकाश नड्डा के प्रति आभार भी जताया। उन्होंने कहा कि भाजपा की ओर से बाला साहब ठाकरे (Bala Saheb Thakre) के शिवसैनिक को आगे बढ़ाया गया है। उन्होंने कहा कि फडणवीस खुद महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री बन सकते थे मगर उन्होंने मुझे मौका देकर देश में एक बड़ी मिसाल कायम की है।

देवेंद्र फडणवीस: photo - social media

शिंदे ने कहा कि भाजपा की ओर से मुझे यह बड़ी जिम्मेदारी सौंपी गई है और मैं शिवसैनिकों और भाजपा की उम्मीदों पर खरा उतरने की पूरी कोशिश करूंगा। शिंदे के बयान से साफ हो गया है कि भाजपा ने फडणवीस को बड़ा हीरो बनाकर पेश कर दिया है। फडणवीस भले ही मुख्यमंत्री न बन पाया हों मगर यह बात सबको पता है कि महाराष्ट्र में सत्ता की चाबी उन्हीं के हाथों में होगी।

Shashi kant gautam

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