TRENDING TAGS :
रामवीर कल खोलेंगे अपने पत्ते
इधर रामवीर उपाध्याय ने भी बुधवार को हाथरस स्थित अपने आवास पर विशेष प्रेसवार्ता का आयोजन किया है। समझा जाता है कि बुधवार को वह अपनी आगे की रणनीति मीडिया के साथ साझा करेंगे।
लखनऊ: बहुजन समाज पार्टी सुप्रीमो मायावती ने अंतिम चरण के मतदान के बाद और मतगणना से पहले बड़ी कार्रवाई करते हुये अपनी पार्टी के कददावर नेता और पश्चिमी उत्तर प्रदेश में बसपा का ब्राहम्ण चेहरा माने जाने वाले विधायक रामवीर उपाध्याय को पार्टी से निलंबित कर दिया है। रामवीर उपाध्याय पर अनुशासनहीनता और पार्टी विरोधी कार्यो में लिप्त होने का आरोप है। रामवीर के निष्कासन के बाद कयास लगाये जा रहे है कि रामवीर जल्द ही भाजपा में शामिल हो जायेंगे।
इधर रामवीर उपाध्याय ने भी बुधवार को हाथरस स्थित अपने आवास पर विशेष प्रेसवार्ता का आयोजन किया है। समझा जाता है कि बुधवार को वह अपनी आगे की रणनीति मीडिया के साथ साझा करेंगे।
ये भी देखें : मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ दर्शन करने पहुंचे हनुमान सेतु
मंगलवार को बसपा महासचिव मेवालाल गौतम की तरफ से रामवीर उपाध्याय को लिखे गए निलंबन पत्र में कहा गया है कि लोकसभा चुनावों में रामवीर ने आगरा, फतेहपुर सीकरी और अलीगढ़ लोकसभा सीटों के अलावा अन्य सीटों पर विरोधी दलों के प्रत्याशियों का समर्थन किया और बसपा प्रत्याशियों का विरोध किया। पार्टी ने इसे अनुशासनहीनता मानते हुए उन्हे तत्काल प्रभाव से पार्टी से निकाल दिया है।
बसपा ने रामवीर को पार्टी के मुख्य सचेतक के पद से भी हटा दिया है और कहा है कि वह भविष्य में पार्टी के किसी भी कार्यक्रम में भाग नहीं लेंगे और न ही उनको बुलाया जाएगा।
गौरतलब है कि 2017 में यूपी विधानसभा चुनाव से पहले ही पूर्व ऊर्जामंत्री रामवीर उपाध्याय के प्रतिनिधि आशीष शर्मा और उनके करीबी हाथरस के ब्लाक प्रमुख अमर सिंह पाण्डेय भाजपा में शामिल हो गये थे। इसके बाद पिछले साल रामवीर के भाई मुकुल उपाध्याय के भाजपा में शामिल होने के बाद से ही रामवीर उपाध्याय के भाजपा में जाने की अटकले लगनी शुरू हो गयी थी और वह लगातार बसपा सुप्रीमों के रडार पर थे।
ये भी देखें : कर्नाटक: राजीव चंद्रशेखर बोले, राज्य में गठबंधन की सरकार 1 दिन भी नहीं चलनी चाहिए
इसी बीच मौजूदा लोकसभा चुनाव के दौरान बसपा विधायक रामवीर उपाध्याय की एक तस्वीर वायरल हुई थी, जिसमें वह आगरा के भाजपा प्रत्याशी व मंत्री एसपी सिंह बघेल के गले मिल कर उन्हें जीत की अग्रिम बधाई दे रहे थे। हालांकि, तब रामवीर उपाध्याय इस पर सफाई देते हुए कहा था कि एसपी सिंह बघेल उन्हें रास्ते में मिल गए थे और उन्होंने उनकी कुशलक्षेम पूछकर बधाई दे दी।