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Punjab Assembly Election 2022: पंजाब में कांग्रेस ने अदिति सिंह के पति अंगद सिंह का टिकट काटा, दिखा नेतृत्व की नाराजगी का असर
Punjab Assembly Election 2022: अंगद सिंह उत्तर प्रदेश की रायबरेली सीट से विधायक अदिति सिंह के पति हैं और अदिति सिंह की बगावत के बाद पंजाब में उनके पति का टिकट कटना तय माना जा रहा था।
New Delhi: पंजाब (Punjab) में कांग्रेस (Congress) की ओर से आठ प्रत्याशियों की अंतिम सूची जारी (Final list of Congress candidates released) कर दी गई है। इसके साथ ही पार्टी ने राज्य की सभी 117 विधानसभा सीटों पर अपने प्रत्याशियों के नाम का ऐलान कर दिया है। सूची में मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी (Chief Minister Charanjit Singh Channi) को चमकौर साहिब सीट के बाद भादौर सुरक्षित सीट से भी उतारने का ऐलान किया गया है।
इसके अलावा सूची में सबसे उल्लेखनीय बात नवांशहर सीट से मौजूदा विधायक अंगद सिंह (MLA Angad Singh) का टिकट काटना है। अंगद सिंह उत्तर प्रदेश की रायबरेली सीट से विधायक अदिति सिंह के पति हैं और अदिति सिंह की बगावत के बाद पंजाब में उनके पति का टिकट कटना तय माना जा रहा था।
कांग्रेस नेतृत्व ने नवांशहर सीट पर फैसला अभी तक रोक रखा था मगर अंतिम सूची में इस सीट से सतबीर सिंह सैनी को चुनाव मैदान में उतारने की घोषणा की गई है। माना जा रहा है कि अदिति सिंह से नाराजगी की कीमत अंगद सिंह को चुकानी पड़ी है और इसी कारण कांग्रेस नेतृत्व की ओर से नवांशहर सीट पर उनका टिकट काट दिया गया है।
भाजपा में शामिल हो चुकी हैं अदिति सिंह
अदिति सिंह ने 2017 का विधानसभा चुनाव उत्तर प्रदेश की रायबरेली सीट से कांग्रेस के टिकट पर जीता था। बाद में उनकी नजदीकी भाजपा के साथ हो गई थी और उन्होंने योगी सरकार का समर्थन करना शुरू कर दिया था। चुनाव घोषित होने के बाद अदिति सिंह ने औपचारिक रूप से भाजपा की सदस्यता ग्रहण कर ली थी।
भाजपा में शामिल होने से पहले ही वे बीच-बीच में कांग्रेस और पार्टी की नेता प्रियंका गांधी पर हमला बोलती रही हैं। अदिति सिंह के इस रुख के कारण ही उनके पति और नवांशहर सीट से मौजूदा विधायक अंगद सिंह के टिकट पर खतरा मंडरा रहा था। कांग्रेस नेतृत्व उन्हें टिकट देने के मूड में कतई नहीं था और अंतिम सूची से साफ हो गया है कि पार्टी ने उनका टिकट काट दिया है।
2019 में हुई थी अंगद सिंह से शादी
रायबरेली सीट से विधायक अदिति सिंह (MLA Aditi Singh) और पंजाब की नवांशहर सीट से विधायक अंगद सिंह की सगाई दिसंबर 2018 में हुई थी। अदिति के पिता और पूर्व विधायक अखिलेश सिंह ने दोनों का विवाह तय किया था। नवंबर 2019 में अदिति और अंगद सिंह विवाह के बंधन में बंध गए थे। हाल के दिनों में अदिति सिंह ने कांग्रेस नेतृत्व पर सीधे हमले शुरू कर दिए थे जबकि अंगद सिंह ने अभी तक कांग्रेस का ही दामन थाम रखा था। उनके समर्थकों की ओर से पार्टी नेतृत्व से टिकट की गुहार भी लगाई गई थी मगर पार्टी नेतृत्व ने उस गुहार को अनसुना करते हुए अंगद सिंह का टिकट काट दिया।
शुरू से ही कांग्रेसी रहा है अंगद का परिवार
अंगद सिंह का परिवार शुरू से ही कांग्रेसी रहा है और उनके पिता के चाचा दिलबाग सिंह 1962 में पहली बार नवांशहर से विधायक चुने गए थे। 1997 में दिलबाग सिंह के बेटे चरणजीत सिंह ने नवांशहर सीट से चुनाव जीता था। 2002 में इस सीट से प्रकार सिंह जीते जबकि 2012 में अंगद सिंह की मां गुरइकबाल कौर इस सीट से कांग्रेस की विधायक चुनी गईं। 2017 में कांग्रेस की ओर से इस सीट पर अंगद सिंह को चुनाव मैदान में उतारा गया था और उन्होंने इस सीट पर जीत हासिल की थी। शिमला और मोहाली में पढ़ाई करने वाले अंगद सिंह यूथ कांग्रेस में भी पदाधिकारी रहे हैं।
नवांशहर विधानसभा सीट पर उनके परिवार की मजबूत पकड़ मानी जाती रही है मगर फिर भी कांग्रेस नेतृत्व की ओर से उन्हें टिकट नहीं दिया गया। उनका टिकट काटने के पीछे अदिति सिंह को ही बड़ा कारण माना जा रहा है। अदिति सिंह के तेवर से कांग्रेस का शीर्ष नेतृत्व काफी नाराज है और इसकी कीमत अंगद सिंह को चुकानी पड़ी है।