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जानिए क्यों भारतीय क्रिकेटर काली पट्टी बांधकर उतरे आज के मैच में
ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ सीरीज के तीसरे और निर्णायक वनडे इंटरनेशनल मैच में भारतीय टीम के खिलाड़ी रविवार को बाजू पर काली पट्टी बांधकर खेलने उतरी। उन्होंने इस...
चेन्नई। ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ सीरीज के तीसरे और निर्णायक वनडे इंटरनेशनल मैच में भारतीय टीम के खिलाड़ी रविवार को बाजू पर काली पट्टी बांधकर खेलने उतरी। उन्होंने इस तरह टीम इंडिया के पूर्व ऑलराउंडर बापू नाडकर्णी को श्रद्धांजलि दी जिनका इसी सप्ताह निधन हो गया था।
नाडकर्णी 86 वर्ष के थे और उनके परिवार में पत्नी और दो बेटियां हैं। उन्होंने शुक्रवार को अंतिम सांस ली। भारतीय टीम ने नाडकर्णी को श्रद्धांजलि दी और ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ तीसरे वनडे में बाजू पर काली पट्टी बांधकर फील्डिंग को उतरे।
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ऑस्ट्रेलिया के कप्तान आरोन फिंच ने इस मैच में टॉस जीतकर पहले बल्लेबाजी का फैसला किया। बाएं हाथ के बल्लेबाज और लेफ्ट आर्म स्पिनर नाडकर्णी ने 41 टेस्ट खेले जिसमें उन्होंने 1414 रन बनाए और 6/43 के अपने बेस्ट बोलिंग आंकड़े के साथ कुल 88 विकेट झटके।
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नाडकर्णी मुंबई के दिग्गज क्रिकेटरों में शुमार थे और उन्होंने 191 प्रथम श्रेणी मैचों में 500 विकेट लिए और कुल 8880 रन बनाए। नासिक में जन्मे नाडकर्णी ने 1955 में दिल्ली में न्यूजीलैंड के खिलाफ टेस्ट से इंटरनेशनल क्रिकेट में डेब्यू किया और मंसूर अली खान पटौदी की कप्तानी में 1968 में न्यू जीलैंड के खिलाफ अपना आखिरी टेस्ट खेला था।
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उनके नाम ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ मद्रास (अब चेन्नै) में खेले गए टेस्ट मैच में लगातार 21 मेडन ओवर फेंकने का रेकॉर्ड दर्ज है जो उन्होंने 1964 में बनाया था।
रोहित-धवन टीम में
इससे पहले ऑस्ट्रेलिया के कप्तान एरॉन फिंच ने टॉस जीतकर बल्लेबाजी का फैसला किया है और टीम इंडिया को पहले गेंदबाजी दी है। टीम इंडिया में कोई बदलाव नहीं हुआ है, जिसका मतलब है कि रोहित शर्मा और शिखर धवन की फिटनेस पर जो सस्पेंस चल रहा था वह खत्म हुआ।