पेरिस ओलंपिक : शूटिंग में तीन मेडल और भोपाल कनेक्शन

Paris Olympic 2024: भोपाल की शूटिंग अकादमी का फाइनल हॉल पेरिस ओलंपिक 2024 के फाइनल हॉल की तरह ही है। इस अत्याधुनिक केंद्र में पदक जीतने वाले निशानेबाजों ने प्रैक्टिस की थी जिसने उनकी तैयारी में अहम भूमिका निभाई।

Neel Mani Lal
Published on: 3 Aug 2024 12:46 PM GMT
Paris Olympic 2024
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Paris Olympic 2024

Paris Olympic 2024: पेरिस ओलंपिक 2024 में भारत के लिए अभी तक के तीन पदक जीतने में भोपाल को भी शुक्रिया कहना न भूलियेगा। जी हां, शूटिंग प्रतिस्पर्धाओं में हमारे तीन मेडल के पीछे भोपाल शूटिंग अकादमी की अहम भूमिका है। पेरिस ओलंपिक को ध्यान में रखकर बनाई गई अकादमी की एडवांस्ड शूटिंग रेंज निशानेबाजों के लिए एक आदर्श प्रशिक्षण मैदान रही है। इस तैयारी का नतीजा यह हुआ कि भोपाल शूटिंग अकादमी में प्रशिक्षण लेने वाले मनु भाकर, सरबजोत सिंह और स्वप्निल कुसाले ने तीन कांस्य पदक जीते। इसके अलावा, मनु भाकर महिलाओं की 25 मीटर पिस्टल स्पर्धा के फाइनल में बहुत करीब से पीछे रह गईं।

भोपाल की शूटिंग अकादमी का फाइनल हॉल पेरिस ओलंपिक 2024 के फाइनल हॉल की तरह ही है। इस अत्याधुनिक केंद्र में पदक जीतने वाले निशानेबाजों ने प्रैक्टिस की थी जिसने उनकी तैयारी में अहम भूमिका निभाई। अब पहली बार भारत के निशानेबाजों ने एक ही ओलंपिक में तीन पदक जीते हैं। राइफल निशानेबाजों ने 7 से 14 जुलाई तक और पिस्टल निशानेबाजों ने 14 से 20 जुलाई तक भोपाल में शिविर लगाया था। भोपाल की शूटिंग अकादमी ने दिल्ली के कर्णी सिंह शूटिंग रेंज के साथ-साथ पेरिस ओलंपिक के लिए चयन ट्रायल की भी मेजबानी की।

वर्ल्ड क्लास शूटिंग रेंज

भोपाल की यह शूटिंग रेंज भारत में विश्व स्तरीय सुविधाओं वाली एकमात्र शूटिंग रेंज है। इसमें इटली की सियस मशीनें लगी हैं, जो पेरिस ओलंपिक में इस्तेमाल की गई मशीनों के समान हैं। बताया जाता है कि एक एक सियस मशीन की कीमत लगभग 4 लाख रुपये है और रेंज में ऐसी दस मशीनें हैं। इसके अलावा, रेंज में एडवांस्ड सॉफ्टवेयर और दो साल पहले 50 करोड़ रुपये की लागत से बनी एक फाइनल रेंज भी है। इस फाइनल रेंज का निर्माण 2023 में होने वाले शूटिंग वर्ल्ड कप के लिए किया गया था। दावा किया जाता है कि यह देश की सबसे अच्छी शूटिंग रेंज है। यहाँ का फाइनल हॉल अपने आप में अनूठा है। यहां जिम की सुविधा और फिजियोथेरेपी सहित हर चीज़ उपलब्ध है।

खेल विभाग के कंट्रोल में

जनवरी 2007 में स्थापित एमपी स्टेट शूटिंग अकादमी ऑफ एक्सीलेंस में 10 मीटर और 25 मीटर पिस्टल/राइफल रेंज, 50 मीटर 3-पोजिशन राइफल रेंज, 5 ट्रैप और 8 स्कीट शूटिंग स्टेशनों के साथ एक शॉटगन रेंज और 500 दर्शकों की क्षमता वाली एक फाइनल शूटिंग रेंज सहित सभी सुविधाएं हैं। इसके अतिरिक्त, इसमें अंतरराष्ट्रीय और राष्ट्रीय खिलाड़ियों के शस्त्रागार, विभिन्न सुविधाओं के साथ एक वातानुकूलित प्रशासनिक भवन और विशेष भोजन सुविधाओं के साथ एक आधुनिक 250-बेड वाला छात्रावास भी है।

Shalini singh

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