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शुरू हो गया है मलमास, न करें ये काम, नहीं तो होगा आपका सर्वनाश
जयपुर:खरमास यानि पौष मास जो16 दिसंबर से प्रारंभ हो गया है। खरमास की यह अवधि लगभग एक महीने तक चलेगा। इस दौरान किसी भी प्रकार का शुभ कार्य प्रारंभ करना अशुभ है। ज्योतिष के अनुसार, सूर्य इस समय वृश्चिक राशि से निकलकर धनु राशि में प्रवेश करते हैं। इस मास को मलमास भी कहा जाता है।
16 दिसंबर से प्रारंभ हुआ मलमास 14 जनवरी 2018 तक रहेगा। धर्मशास्त्रों में, खरमास की इस अवधि के दौरान मांगलिक कार्य तो वर्जित है ही, साथ ही दान-पुण्य के लिए यह मास सर्वोत्तम माना गया है। खरमास के बारे में कहीं-कहीं पुरुषोत्तम मास का भी वर्णन मिलता है। शास्त्रों के अनुसार इस मास में कुछ ऐसे कार्य हैं जिन्हें करना वर्जित माना गया है।
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शास्त्रों के अनुसार खरमास में देवता की निंदा और झगड़ा करना बेहद अनिष्टकारक माना गया है। इसलिए ऐसे कार्यों से बचाना चाहिए।
ऐसी मान्यता है कि इस मास में पलंग पर नहीं सोना चाहिए, अपितु भूमि पर शयन करना चाहिए। खरमास के दौरान मांस-मदिरा का सेवन भूलकर भी नहीं करना चाहिए।
खरमास की अवधि में यदि कोई भिखारी दरवाजे पर आ जाए तो उसे खाली हाथ नहीं जाने देना चाहिए। खरमास की पूरी एक मास की अवधि में विवाह, सगाई, गृह प्रवेश आदि शुभ कार्य नहीं करना चाहिए।