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CM अखिलेश को जसवंतनगर सीट से चुनाव लड़ाने की उठी मांग, शिवपाल हैं वहां के मौजूदा MLA
लखनऊ/इटावा: यूपी के सीएम अखिलेश यादव को उनके पिता सपा सुप्रीमो मुलायम सिंह यादव की परंपरागत विधानसभा सीट से चुनाव लड़ाने की मांग अब पार्टी के भीतर से उठने लगी है। गौरतलब है कि हाल के दिनों में सीएम अखिलेश के बुंदेलखंड से चुनाव लड़ने की चर्चाएं जोर पकड़ चुकी है।
सीएम अखिलेश के जसवंतनगर विधानसभा सीट से चुनाव लड़ाने की मांग सपा से हाल ही में 6 साल के लिए निकाले गए प्रधान संघ अध्यक्ष चंदगीराम यादव ने की है। फिलहाल इस सीट से अभी सपा के प्रदेश अध्यक्ष शिवपाल सिंह यादव 1996 से लगातार एमएलए हैं।
'बेटे को आगे बढ़ाने की परंपरा है'
यह मांग उस वक्त उठी है जब सपा में एक बार फिर टिकट बंटवारे पर मनमुटाव सामने आया है। बताया जाता है कि मुलायम सिंह यादव छोटे भाई शिवपाल के ट्वीट करने से खासे नाराज चल रहे हैं। मुलायम सिंह ने पार्टी के लोगों से बातचीत में यह भी कहा कि 'हमारे यहां माता-पिता द्वारा अपने बेटे को आगे बढ़ाने की परंपरा है।' माना जा रहा है सपा सुप्रीमो ने ये दिल की बात कही।
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अब शिवपाल पर सख्त हुए मुलायम
चंदगीराम यादव की इस मांग को मौजूदा परिपेक्ष्य में अहम इसलिए माना जा सकता है क्योंकि सपा में मचे घमासान के बीच जब सीएम अखिलेश यादव ने 403 विधानसभा उम्मीदवारों की सूची सपा सुप्रीमो को दी, तो सपा प्रदेश अध्यक्ष शिवपाल यादव इससे खासे नाराज हो गए। उन्होंने इसे अनुशासनहीनता मानते हुए कार्रवाई का इशारा दिया। शिवपाल के इस बयान के बाद मुलायम सिंह यादव, शिवपाल से नाराजगी के संकेत दिए हैं।
यहां से लड़े तो मिलेगी सबसे बड़ी जीत
चंदगीराम यादव का कहना है कि असल में जसवंतनगर विधानसभा सीट का असली हकदार तो अखिलेश यादव ही हैं। क्योंकि यह सीट उनके पिता की परंपरागत सीट रही है। उन्होंने कहा, 'अगर इस मांग पर अमल हुई, तो सीएम को इतनी बड़ी जीत दिलाई जाएगी, जितनी आज तक इस सीट से किसी भी राजनेता की नहीं हुई होगी।' उन्होंने कहा यदि सीएम अखिलेश इस सीट पर चुनाव लड़ने की सोचते हैं तो उन्हें यहां आकर वोट मांगने की भी जरूरत नहीं पड़ेगी। क्योंकि यहां की जनता इस वक्त उनको सबसे अधिक पसंद कर रहा है।
मुलायम परिवार के करीबी माने जाते हैं चंदगीराम
गौरतलब है कि चंदगीराम यादव को मुलायम परिवार का बेहद करीब माना जाता है। लेकिन हाल के दिनों में शिवपाल और अखिलेश यादव विवाद के बीच चंदगीराम यादव को रामगोपाल यादव के एमएलसी भांजे अरविंद यादव के साथ पार्टी से 6 साल के लिए बर्खास्त कर दिया गया था।