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Lucknow: AIDWA ने बढ़ती महंगाई को लेकर थाली बजाकर जताया विरोध, 'रोजगार छिन रहा, महंगाई बढ़ रही'
Lucknow: राजधानी के स्वास्थ्य भवन चौराहे पर अखिल भारतीय जनवादी महिला समिति (AIDWA) ने बढ़ती महंगाई (rising inflation) को लेकर प्रदर्शन किया।
Lucknow: राजधानी के स्वास्थ्य भवन चौराहे पर अखिल भारतीय जनवादी महिला समिति (AIDWA) ने बढ़ती महंगाई (rising inflation) को लेकर प्रदर्शन किया। जिसमें पेट्रोल-डीजल, रसोई गैस सिलेंडर और घर का बजट बिगाड़ देने जैसी बातें मुख्य रूप से रहीं। महिला समिति (women's committee) द्वारा जारी पत्र में कहा गया है कि इस बढ़ती महंगाई ने हमारी महिलाओं की रसोई और घर का बजट बिगाड़ दिया है।
पेट्रोल डीजल की कीमतों में (Petrol diesel price hike) 20% से अधिक की बढोत्तरी खाने की चीजों व सब्जियों में 80% तक की बढ़ोत्तरी (जिसका किसानों को लाभ नहीं) और सबसे बढ़कर कुकिंग गैस की कीमतें (Cooking gas price hike) पिछले 8 वर्षों में 144 बार बढ़ी और आज गैस सिलिंडर 1000 रुपये से ज्यादा कीमत का है।
कॉरपोरेट का 11 लाख करोड़ का कर्जा हुआ माफ
जनता द्वारा चुनी हुई सरकारें जनता के प्रति जवाबदेह होती है किन्तु सरकार की अमीरपरस्त नीतियों को देखकर लगता है कि यह सरकार जनता द्वारा चुनी हुई अमीरों की और अमीरों के हित साधने वाली सरकार है। इस हकीकत को इस तथ्य से समझा जा सकता है कि जब 84% भारत की जनता की आमदनी कम हो गई है, तब हमारे देश के खरबपतियों की संख्या 102 से 144 हो गई है। सबसे अमीर 10% के पास देश की संपदा का 65% हिस्सा है वहीं सबसे गरीब 50% के पास कुल 6% हिस्सेदारी है।
इस स्थिति में अमीरों से टैक्स वसूली कर गरीबों को राहत दी जा सकती है किन्तु अमीरपरस्त कारपोरेट सरकार (corporate government) उनको टैक्स में छूट दे रही है और पेट्रोल डीजल और जरूरी सामानों पर टैक्स बढ़ा रही है। गरीबों को दी जाने वाली सुविधाओं की सब्सिडी में भी कटौती की जा रही है। कारपोरेट द्वारा बैंकों से लिया गया 11 लाख करोड़ रुपए से ज्यादा का कर्ज माफ कर दिया गया है। नतीजा है कि आज हमारे देश की साढ़े चार करोड़ से ज्यादा जनता गरीबी रेखा के नीचे धकेल दी गई है और वहीं इसी समय में हमारे देश में खरबपतियों की संख्या में लगातार इजाफा हो रहा है।
मुख्य रूप से रहीं ये मांगें:-
• राशन दुकानों से सभी आवश्यक चीजें सस्ते दामों पर उपलब्ध हो।
• प्रतिवर्ष 200 दिन काम की गारंटी के साथ मनरेगा तहत काम मिलना सुनिश्चित हो साथ ही शहरी रोजगार योजना अविलंब शुरू की जाये।
• आंगनबाड़ी कार्यक्रम को मजबूत करते हुए सभी को मुफ्त शिक्षा का अधिकार मिले ।
• सरकारी स्वास्थ्य सेवाओं को मजबूत किया जाये जिससे गरीब व्यक्ति भी स्वास्थ्य का लाभ ले सके। शिक्षा, स्वास्थ्य जैसे बुनियादी सुविधाओं का निजीकरण बंद हो।
• कारपोरेट से टैक्स वसूली हो व गरीब जनता की बुनियादी जरूरतों पर सरकार सब्सिडी दे।
• किसानों को उनकी फसल के उचित मूल्य के लिए कानूनी प्रावधान हो।
• महिला स्वयं सहायता समूहों को बैंकों से आसान शर्तों पर बैंक ऋण उपलब्ध कराया जाये।