×

किसानों को लेकर सपा-भाजपा आमने-सामने, अखिलेश ने कहा बातों की खेती करने वाली सरकार

अखिलेश यादव ने कहा कि सुना है कि बातों की खेती करने वाली भाजपा उत्तर प्रदेश में ‘‘किसान सम्मेलन‘‘ करेगी। अन्नदाता का मतदाता बनने का समय जब निकट आ गया है तब जाकर भाजपा को किसानों की याद आयी है।

Shreedhar Agnihotri
Written By Shreedhar AgnihotriPublished By Ashiki
Published on: 12 Aug 2021 9:49 PM IST
किसानों को लेकर सपा-भाजपा आमने-सामने, अखिलेश ने कहा बातों की खेती करने वाली सरकार
X

लखनऊ: समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव ने कहा कि भाजपा सरकार किसानों के साथ अमानवीय व्यवहार कर रही है। खेत-खलिहान की उसे कोई सुध नहीं है। खेती-किसानी का संकट बढ़ता जा रहा है। अन्नदाता अपनी उपज मूल्य के लिए संघर्ष कर रहा है। न्यूनतम समर्थन मूल्य सिर्फ घोषणाओं तक सीमित रह गया है। भाजपा सरकार की दोषपूर्ण नीतियों और मौसम की मार से किसान हताश हो रहा है।

अखिलेश यादव ने कहा कि सुना है कि बातों की खेती करने वाली भाजपा उत्तर प्रदेश में ''किसान सम्मेलन'' करेगी। अन्नदाता का मतदाता बनने का समय जब निकट आ गया है तब जाकर भाजपा को किसानों की याद आयी है। किसान भाजपाइयों के बहकावे-फुसलावे में नहीं आने वाला है। 2022 में किसान एकजुट होकर भाजपा के खिलाफ मतदान करेंगे।

उन्होंने कहा कि भाजपा सरकार काले कृषि कानून लागू कर किसानों का गला घोंटना चाहती है। भाजपा का मूल चरित्र पूंजीपति हितैषी है। बड़े उद्योगपतियों को लाभ पहुंचाने के लिए ही कृषि कानून लाया गया है। इससे किसान अपनी जमीन का मालिकाना हक खो देगा। गन्ना किसानों का बकाया भुगतान अभी तक नहीं हुआ। अखिलेश ने कहा कि खाद-बीज की समस्या जस की जस बनी हुई है। बे-मौसम बारिश एवं बाढ़ से सैकड़ों हेक्टेयर फसल जलमग्न हो गयी है। शासन-प्रशासन की संवेदनहीनता के कारण किसानों को उचित मुआवजा भी नहीं मिल रहा है।

यादव ने कहा समाजवादी पार्टी की सरकार में किसान प्राथमिकता में था। किसान हित में लिए गए फैसलों से गांव खुशहाल हो रहे थे। मंडियों की स्थापना कर अन्नदाता के फसलों का उचित मूल्य दिलाने का महत्वपूर्ण कार्य हुआ था। लेकिन किसान विरोधी भाजपा ने मंडियों को ध्वस्त कर दिया। उन्होंने कहा कि अपने हक की लड़ाई लड़ने वाले आंदोलित किसान सरकार को नक्सली नज़र आ रहे हैं। 2022 में अन्नदाता भाजपा को हटाने के लिए संकल्पित है। बाईस में बाइसिकल से ही किसानों के चेहरे पर खुशहाली आयेगी।

उल्लेखनीय है कि भाजपा किसान मोर्चा ने 23 अगस्त तक गन्ना बाहुल्य विधानसभाओं में व्यापक संवाद का कार्यक्रम शुरू किया है । इसके अलावा 25 अगस्त के आस-पास लखनऊ में किसानों की बडी बैठक होगी। वहीं दूसरी तरफ 5 से 10 सितम्बर के बीच मेरठ में किसान सम्मेलन आयोजित होगा तथा उसी समय चित्रकूट में सितम्बर में प्रदेश किसान मोर्चा की प्रदेश कार्यसमिति बैठक सम्पन्न होगी।

भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष स्वतंत्र देव सिंह ने ने कहा कि स्वतंत्रता के बाद आजतक कभी भी चार वर्षों में एक लाख 40 हजार करोड़ रूपये का गन्ना मूल्य भुगतान सिर्फ योगी सरकार में ही हुआ है। योगी सरकार में ही मायावती व अखिलेश के समय 10 वर्षो में जितनी खाद्यानों की खरीददारी किसानों से हुई थी उसे डेढ़ गुना अधिक लगभग 66 हजार करोड़ रूपए की खाद्यन्य की खरीददारी योगी सरकार में हुई है।



Ashiki

Ashiki

Next Story