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Noida News: अवमानना में फंसीं नोएडा की सीईओ ऋतु माहेश्वरी, कोर्ट में पेश करने का आदेश

Noida News: इलाहाबाद हाई कोर्ट ने नोएडा की सीईओ ऋतु माहेश्वरी के खिलाफ गैर जमानती वारंट जारी किया है।

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Newstrack NetworkPublished By Shreya
Published on: 7 May 2022 10:01 PM IST
Noida: अवमानना में फंसीं नोएडा की सीईओ ऋतु माहेश्वरी, पुलिस कस्टडी में कोर्ट में पेश करने का आदेश
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सीईओ ऋतु माहेश्वरी (फोटो साभार- सोशल मीडिया)

Noida News: नोएडा की सीईओ, आईएएस अफसर ऋतु माहेश्वरी (IAS Ritu Maheshwari) अदालत की अवमानना (Contempt Of Court) के मामले में फंस गईं हैं। इलाहाबाद हाई कोर्ट (Allahabad High Court) ने उनके खिलाफ गैर जमानती वारंट (Non-Bailable Warrant) जारी किया है और नोएडा के सीजेएम को आदेश के पालन की जिम्मेदारी सौंपी है। कोर्ट ने कहा है कि 48 घंटे के भीतर इस आदेश की प्रतिलिपि गौतमबुद्ध नगर के सीजेएम को उपलब्ध करवाई जाए।

मामले की अगली सुनवाई 13 मई, 2022 को होगी और उस दिन नोएडा की सीईओ ऋतु महेश्वरी को पुलिस अपनी कस्टडी में अदालत के सामने पेश करेगी। जस्टिस सरल श्रीवास्तव (Justice Saral Srivastava) की कोर्ट ने यह आदेश दिया है।

क्या है मामला?

ये मामला भूमि अधिग्रहण से (Land Acquisition) जुड़ा हुआ है। नोएडा के सेक्टर-82 में अथॉरिटी ने 30 नवंबर 1989 और 16 जून 1990 को 'अर्जेंसी क्लॉज' के तहत भूमि अधिग्रहण किया था। इस अधिग्रहण को जमीन की मालकिन मनोरमा कुच्छल ने चुनौती दी थी। वर्ष 1990 में दायर मनोरमा की याचिका पर इलाहाबाद हाईकोर्ट ने 19 दिसंबर, 2016 को फैसला सुनाया और 'अर्जेंसी क्लॉज' के तहत किए गए भूमि अधिग्रहण को रद्द कर दिया।

कोर्ट ने साथ ही मनोरमा को नए भूमि अधिग्रहण अधिनियम के तहत सर्किल रेट से दोगुनी दरों पर मुआवजा देने का आदेश दिया था। इसके अलावा प्रत्येक याचिका पर 5-5 लाख रुपये का खर्च आंकते हुए भरपाई करने का आदेश भी प्राधिकरण को दिया था।

सुप्रीम कोर्ट पहुंचा मामला

इलाहाबाद हाईकोर्ट के इस आदेश के खिलाफ नोएडा अथॉरिटी ने सुप्रीम कोर्ट में अपील दाखिल की थी । लेकिन सुप्रीम कोर्ट में भी अथॉरिटी मुकदमा हार गई। इसके बावजूद इलाहाबाद हाईकोर्ट के पुराने आदेश का पालन नोएडा ऑथोरिटी ने नहीं किया। इसके बाद मनोरमा कुच्छल ने नोएडा अथॉरिटी के खिलाफ अवमानना याचिका दायर कर दी।

इस याचिका पर 27 अप्रैल, 2022 को हाईकोर्ट ने आदेश पारित किए। हाईकोर्ट ने ऋतु महेश्वरी को खुद अदालत में हाजिर होने का आदेश दिया था। लेकिन सीईओ हाजिर नहीं हुईं। इस पर कोर्ट ने कड़ा रुख अपनाते हुए सीईओ के खिलाफ वारंट जारी किया है।

(फोटो साभार- सोशल मीडिया)

कोर्ट इंतजार में, अफसर नोएडा में

हाई कोर्ट ने ऋतु माहेश्वरी को 5 मई को अदालत में पेश होने को कहा था। 5 मई को जब सुबह 10 बजे अदालत की कार्यवाही शुरू हुई तो अदालत को बताया गया कि ऋतु माहेश्वरी प्रयागराज के लिए साढ़े दस बजे की फ्लाइट पकड़ने वाली हैं। इस पर कोर्ट ने सख्त आपत्ति जताई और कहा कि सीईओ ने जानबूझ कर ऐसा इस उम्मीद में किया है कि कोर्ट उनकी सुविधानुसार कार्यवाही शुरू करेगा।

ऊर्जा मित्र ऐप बनाया था

ऋतु माहेश्वरी उत्तर प्रदेश कैडर की वर्ष 2003 बैच की आईएएस हैं। उनके पति मयूर महेश्वरी भी आईएएस अधिकारी हैं। योगी सरकार के पिछले कार्यकाल के दौरान बिजली चोरी रोकने के उनके अभिनव प्रयोगों की सराहना हुई थी। बिजली चोरी पर लगाम लगाने के लिए ऋतु ने ऊर्जा मित्र नामक एक मोबाइल ऐप बनाया था। ऊर्जा मंत्रालय की ओर से उन्हें इसके लिए सम्मान भी मिल चुका है।

मामला कानपुर के सपा विधायक का

जुलाई 2011 में कानपुर इलेक्ट्रिसिटी सप्लाई कंपनी (केस्को) में एमडी के पद पर तैनाती के दौरान ऋतु माहेश्वरी ने कानपुर के सपा के एक विधायक हाजी इरफान सोलंकी के खिलाफ बिना इजाजत उनके ऑफिस में आने और अभद्रता करने के आरोप में प्राथमिकी दर्ज करवा दी थी। बाद में वॉरंट जारी होने पर एमएलए को कोर्ट से अपनी जमानत करानी पड़ी थी।

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Shreya

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