TRENDING TAGS :
Prayagraj News: पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी आइएसआइ के मददगार थे अतीक और अशरफ, जांच में खुलासा
Prayagraj News: उमेश पाल हत्याकांड के बाद जिस तरह गैंग ऑफ अतीक अहमद पर पुलिस ने शिकंजा कसा। उसके बाद जांच में कई चौंकाने वाली बातें सामने आती रही हैं। पुलिस जांच में खुलासा हुआ है कि करेली से गिरफ्तार आतंकी जीशान कमर का पासपोर्ट बनवाने में मदद अतीक के भाई अशरफ अंसारी ने की थी। अशरफ ने पासपोर्ट अधिकारी को पत्र लिखकर जीशान कमर को जानने और पासपोर्ट बनाने की बात लिखी थी।
Prayagraj News: उमेश पाल हत्याकांड के बाद जिस तरह गैंग ऑफ अतीक अहमद पर पुलिस ने शिकंजा कसा। उसके बाद जांच में कई चौंकाने वाली बातें सामने आती रही हैं। अतीक और अशरफ का मर्डर हो जाने के बाद पुलिस की तफ्तीश जारी है। सिलसिलेवार ढंग से जांच एजेंसियां इस गैंग की करतूतों का परत-दर-परत खुलासा कर रही हैं। सामने आया है कि जिस दौरान अतीक और अशरफ पुलिस की हिरासत में थे, उन्होंने खुद कबूल किया था कि उनके तार पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी आइएसआइ (ISI) से जुड़े हुए हैं। वो आतंक के मामलों में आरोपित एक शख्स के माध्यम से पाकिस्तान में बैठे अपने आकाओं से संपर्क साधा करते थे।
अशरफ ने आतंकी का बनवा दिया था पासपोर्ट
पुलिस जांच में खुलासा हुआ है कि करेली से गिरफ्तार आतंकी जीशान कमर का पासपोर्ट बनवाने में मदद अतीक के भाई अशरफ अंसारी ने की थी। अशरफ ने पासपोर्ट अधिकारी को पत्र लिखकर जीशान कमर को जानने और पासपोर्ट बनाने की बात लिखी थी। अपने लेटर हेड पर अशरफ ने जीशान कमर को भली-भांति जानने की बात लिखकर दी थी। पुलिस के मुताबिक जीशान को पाकिस्तान में हथियार चलाने और प्रयागराज में रहकर आतंकी गतिविधियों को बढ़ाने के लिए ट्रेनिंग दी गई थी। ट्रेनिंग के बाद वह कुछ साथियों के साथ लखनऊ के रास्ते हथियारों को प्रयागराज ले आया था और उन्हें नैनी स्थित पोल्ट्री फार्म में छिपा दिया था। वह ऑनलाइन खजूर बेचने के बहाने आतंकी गतिविधियों को संचालित कर रहा था। लेकिन 2021 में जीशान कमर गिरफ्तार हो गया था।
पाकिस्तान से मंगाए थे अतीक ने हथियार
पुलिस की पूछताछ में अतीक और अशरफ ने कबूला था कि वो जीशान के माध्यम से पाकिस्तान में आइएसआइ के आतंकियों के संपर्क में थे। उन्होंने पाकिस्तान से हथियार खरीदने की बात स्वीकार की थी। पुलिस अब इस मामले में गहराई से पड़ताल कर रही है कि अतीक के साम्राज्य के गुर्गों के पास उन हथियारों की खेप में से कितने हथियार मौजूद हैं और उन्हें बरामद करने की कोशिश की जा रही है।