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Lucknow News: फूलन देवी की प्रतिमा लगाए जाने को लेकर टकराव, 25 जुलाई को विरोध प्रदर्शन

Lucknow News: चौधरी लौटन राम निषाद ने बताया कि जिला व पुलिस प्रशासन द्वारा प्रतिमा स्थापित करने व श्रद्धांजलि सभा आयोजित करने में बाधा पहुंचायी जा रही है।

Shreedhar Agnihotri
Written By Shreedhar AgnihotriPublished By Dharmendra Singh
Published on: 23 July 2021 9:39 PM IST (Updated on: 23 July 2021 9:51 PM IST)
Phoolan Devi
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किसी कार्यक्रम के दौरान फूलन देवी (फाइल फोटो: सोशल मीडिया)

Lucknow News: उत्तर प्रदेश के कई जिलों में पूर्व सांसद फूलन देवी की प्रतिमा लगाए जाने को लेकर विकासशील पार्टी के कार्यकर्ताओं और पुलिस के बीच विवाद होने के बाद पुलिस प्रशासन ने प्रतिमाओं को अपने कब्जे में ले लिया है। अब इसके खिलाफ पार्टी कार्यकर्ताओं की तरफ से 25 जुलाई को फूलन देवी के शहादत दिवस पर प्रदेश के हर जिला मुख्यालय पर श्रद्धांजलि सभा की जायेगी और विरोधी प्रदर्शन किया जायेगा।

उल्लेखनीय है कि विकासशील इंसान पार्टी के संस्थापक व पशुधन एवं मत्स्य मंत्री सन आफ मल्लाह मुकेश सहनी द्वारा उत्तर प्रदेश के सभी मण्डलों में वीरांगना फूलन देवी की बीसवीं पुण्यतिथि पर उनकी प्रतिमा स्थापित कराने का निर्णय लिया था।
वीआईपी पार्टी के चौधरी लौटन राम निषाद ने बताया कि जिला व पुलिस प्रशासन द्वारा प्रतिमा स्थापित करने व श्रद्धांजलि सभा आयोजित करने में बाधा पहुंचायी जा रही है। भारी पुलिस बल के साथ अधिकारियों जाकर बलिया, वाराणसी, औरैया, मिर्जापुर, प्रयागराज, भदोही, बांदा की प्रतिमाओं का अपने कब्जे में ले लिया है। उन्होंने कहा कि ये प्रतिमायें सरकारी व नजूल की जमीनों में न लगाकर अपने लोगों की निजी जमीन पर स्थापित करायी जा रही थी।

उन्होंने बताया कि उप्र के वाराणसी, बलिया, गोरखपुर, महाराजगंज, संतकबीरनगर, सुलतानपुर, अयोध्या, जौनपुर, मिर्जापुर, संत रविदासनगर, प्रयागराज, औरैया, बांदा, फिरोजाबाद, लखनऊ मुजफ्फरनगर, मेरठ में प्रतिमा स्थापित करने के लिए पटना से मूर्तियां आ चुकी है। निषाद ने बताया कि कोई व्यक्ति आरोपित तो हो सकता है लेकिन जब तक न्यायालय द्वारा आरोप सिद्ध नहीं होता कोई व्यक्ति अपराधी या हत्यारा नहीं का जा सकता।
उन्होंने कहा कि राम नगर एसएचओ वेद प्रकाश सिंह व क्षेत्रीय एसीपी प्रवीण कुमार द्वारा यह कहा जाना कि फूलन देवी हत्यारिन व अपराधी थीं। इसलिए फूलन देवी की मूर्तियां व फोटो नहीं लगाया जा सकती, ऐसा शासन का आदेश है। उन्होंने कहा कि जाति दुर्भावना से शासन प्रशासन द्वारा ऐसी हरकत की जा रही है। पिछड़ा दलित निषाद समाज इसका पुरजोर विरोध करेगा।
उन्होंने कहा कि 25 जुलाई 2016 को गोरखपुर में फूलन देवी की प्रतिमा लगायी जानी थी। तत्कालीन सरकार के पुलिस प्रशासन ने मूर्ति को जब्त कर लिया। विधान सभा चुनाव 2017 में निषाद समाज ने सपा का विरोध किया। सरकार उसी ढर्रे पर चल फूलन देवी की मूर्ति लगाने में अवरोध उत्पन्न कर रही है। वीआईपी पार्टी निषाद समाज मिशन 2022 में इसका जवाब देगी।




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Dharmendra Singh

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