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Lucknow me WIFI: कहीं से भी चलाएं इंटरनेट, योगी सरकार का बड़ा एलान

इंडियन कंप्यूटर इमरजेंसी रेस्पांस टीम की एक रिपोर्ट के मुताबिक भारत में पब्लिक वाई-फाई का प्रयोग करना बहुत जोखिम भरा है।

Neel Mani Lal
Report Neel Mani LalPublished By Deepak Kumar
Published on: 16 Sept 2021 4:05 PM IST (Updated on: 16 Sept 2021 4:08 PM IST)
cm yogi adityanath announces free internet Wifi
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यूपी सीएम योगी आदित्यनाथ ने मुफ्त इंटरनेट वाईफाई की घोषणा की। 

Lucknow News: देश में कई शहरों में मुफ्त पब्लिक वाई-फाई वाले क्षेत्र बनाये गए हैं, इनमें रेलवे प्लेटफार्म भी शामिल हैं। अब लखनऊ में 24 जगहों पर वाई-फाई सुविधा देने की तैयारी है। सार्वजनिक क्षेत्र में मुफ्त वाई-फाई मिलना अच्छी बात है। इससे लोगों को काफी सुविधा हो जाती है, लेकिन ये समझना भी जरूरी है कि पब्लिक वाई-फाई के कुछ जोखिम भी होते हैं। सरकारी एजेंसी इंडियन कंप्यूटर इमरजेंसी रेस्पॉंस टीम (सीईआरटी-इन) की एक रिपोर्ट के मुताबिक भारत में पब्लिक वाई-फाई बहुत जोखिम भरा है। इसने कहा है कि पब्लिक वाई-फाई हैकर्स या साइबर हमलावर को संवेदनशील जानकारियां चुराने का सहज मौका उपलब्ध कराते हैं। हैकर आपसे जुड़ी कई जानकारियों जैसे क्रेडिट कार्ड नंबर, पासवर्ड, चैट मैसेज, ई-मेल और फोटो आदि तक आसानी से पहुंच सकते हैं। पब्लिक वाई-फाई में एक बड़ा खतरा वायरस आने का भी होता है।

एक्सपर्ट्स का कहना है कि जब तक आप किसी संवेदनशील जानकारी या वेबसाइट का इस्तेमाल नहीं करते तब तक कोई ज्यादा खतरा नहीं है। पर जब भी आप कोई गोपनीय जानकारियां जैसे कि पासवर्ड या क्रेडिट - डेबिट कार्ड की जानकारी या कोई भी जरूरी मेल का इस्तेमाल करते हैं तो वो सारी जानकारी उस वाई-फाई के एडमिन के पास जा रही होती है। नेटवर्किंग एक्सपर्ट्स का कहना है कि ऐसे कई सॉफ्टवेयर उपलब्ध हैं, जिनका इस्तेमाल करके किसी वाई-फाई से जुड़े प्रत्येक व्यक्ति पर नजर रखी जा सकती है। आप क्या टाइप करते हैं चाहे वो पासवर्ड हो या क्रेडिट कार्ड का ओटीपी, सब कुछ एडमिन के सामने हो रहा होता है। इसलिए जाने अनजाने में किसी भी पब्लिक वाई-फाई का बेवजह लुत्फ ना उठाएं यह बहुत खतरनाक हो सकता है।


क्या करें

- यूजर कोई वर्चुअल प्राइवेट नेटवर्क यानी वीपीएन का उपयोग करके अपना डेटा बचा सकते हैं। वीपीएन आपके डेटा ट्रैफिक को एन्क्रिप्ट करता है और सर्वर व ब्राउजर के बीच एक टनल बनाता है। साइबर क्राइम के लिए हैकर्स इस वजह से आपके पर्सनल डेटा का उपयोग नहीं कर सकेंगे। पब्लिक वाई-फाई में वीपीएन को इस्तेमाल करके बचा जा सकता है।

- किसी पब्लिक वाई-फाई का उपयोग करने से पहले समझ लें कि ये वाई-फाई वेरिफाइड है या नहीं। वेरिफाई करने के लिए आप संबन्धित अथॉरिटी से संपर्क कर सकते हैं। हैकर्स यूजर्स का निजी डाटा चुराने के लिए फर्जी वाई-फाई बनाते हैं। बेहतर सुरक्षा के लिए अपने वाई-फाई को आईपी एड्रेस से कनेक्ट करना होगा।

- पब्लिक वाई-फाई का उपयोग करते समय किसी भी वेबसाइट को खोलते समय यूआरएल में एचटीटीपीएस का उपयोग ज़रूर करें। इस तरह डिवाइस का डेटा सुरक्षित रहेगा।

- मोबाइल डेटा कनेक्शन में वाई-फाई विंडो खुलने के बाद तीन डॉट्स पर क्लिक करें। इसके बाद एडवांस पर क्लिक करें और इसके बाद आपको कई विकल्प मिलेंगे । जिसमें आपको डिटेक्ट सस्पीसियस नेटवर्क पर क्लिक करना होगा और इसे ऑन करना होगा।

- अगर आप अपने लैपटॉप या स्मार्टफोन पर पब्लिक वाई-फाई का इस्तेमाल करते हैं तो आपको अपने डिवाइस में एंटीवायरस का भी इस्तेमाल जरूर करना चाहिए। एंटीवायरस आपके पब्लिक वाई-फाई कनेक्शन को सेफ रखता है। अगर आपके द्वारा इस्तेमाल किए जा रहे पब्लिक वाई-फाई के जरिए कोई वायरस या कोई संदिग्ध एक्टिविटी डिवाइस में होती है तो एंटीवायरस उसे नाकाम कर देता है।



Deepak Kumar

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