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UP Election 2022: चुनाव से पहले भाजपा के लिए बुरी खबर! अखिलेश से मिले विधायक राकेश राठौर, क्या करेंगे साइकिल की सवारी?
उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव में अभी भले ही 5 महीने का वक्त बचा हो लेकिन नेता अपना अगला ठिकाना ढूंढ़ने में लग गए हैं।
Lucknow News: उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव में अभी भले ही 5 महीने का वक्त बचा हो लेकिन नेता अपना अगला ठिकाना ढूंढ़ने में लग गए हैं। यूपी चुनाव से पहले सत्ताधारी भारतीय जनता पार्टी को बड़ा झटका लग सकता है। सीतापुर से भाजपा विधायक राकेश राठौर (BJP MLA Rakesh Rathore) रविवार को अचानक समाजवादी पार्टी के प्रमुख अखिलेश यादव (Akhilesh Yadav) से मिलने पहुंचे तो सियासी गलियारे में चर्चाओं का बाजार गर्म हो गया। हालांकि अभी तक इस मुलाकात की वजह साफ नहीं हो पाई है कि वह अखिलेश यादव (Akhilesh Yadav) से किस सिलसिले में मिलने गए थे।
सपा में जाने की अटकलें तेज
सीतापुर सदर से विधायक राकेश राठौर (MLA Rakesh Rathore) की अखिलेश यादव (Akhilesh Yadav) से मुलाकात के बाद अब सियासत तेज हो गई है। अब चर्चाओं का बाजार गर्म है कि राकेश राठौर समाजवादी पार्टी का दामन थाम सकते हैं। अगर ऐसा होता है तो चुनाव से पहले बीजेपी के लिए यह बड़ा झटका हो सकता है। विधायक राकेश राठौर (MLA Rakesh Rathore) पहले भी कई मुद्दों पर अपनी ही सरकार पर सवालिया निशान खड़े कर चुके हैं।
अपनी ही सरकार के खिलाफ उठा चुके हैं आवाज
विधायक राकेश राठौर (MLA Rakesh Rathore) अपनी ही सरकार के खिलाफ कई बार बयानबाजी कर सुर्खियों में आ चुके हैं। मई 2021 में भी उनके एक बयान ने योगी सरकार के खिलाफ विपक्ष को हमला बोलने का मौके दे दिया था। उस समय विधायक राकेश राठौर का एक वीडियो वायरल हुआ था, वीडियो में वह अपनी सरकार पर तंज कसते दिखाई दे रहे थे।
वीडियो में उन्होंने कहा था 'आखिर विधायकों की हैसियत ही क्या है। हम ज्यादा बोलेंगे तो देशद्रोह, राजद्रोह हम पर भी तो लग सकता है। प्रशासन सरकार से अलग होता है। क्या सरकार और प्रशासन एक ही पहलू हैं, फिर चाहे प्रशासन की मानें और चाहे सरकार की, बात तो एक ही है। उन्होंने सरकार पर तंज कसते हुए कहा था, हम तो यही कहेंगे कि सब-कुछ बहुत अच्छा चल रहा है। इससे बेहतर कुछ हो ही नहीं सकता।'
राकेश राठौर को जानिए?
2017 के विधानसभा चुनावों से कुछ महीने पहले राकेश राठौर ने बीजेपी का दामन थामा था। उन्हें सदर सीट से टिकट भी मिल गया था। बीजेपी की लहर में वह विधायक बन गए। इससे पहले वह बहुजन समाज पार्टी में थे और 2012 के विधानसभा चुनावों में वो बसपा के टिकट पर चुनाव लड़े थे। उन्हें हार का सामना करना पड़ा था। वह कई बार कह चुके हैं कि बतौर विधायक मेरा कार्यकाल खराब रहा, बहुत खराब रहा, इससे अधिक मैं कुछ नहीं कहूंगा। जिसके बाद अब उनकी अखिलेश यादव से मुलाकात ने चर्चाओं का बाजार गर्म कर दिया है कि वह सपा का दामन थाम सकते हैं।