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"राम भरोसे" वशिष्ठ कुंज योजना – सपनों का घर या घोटाले की बुनियाद?

Ayodhya News: अवैध खनन पर स्थानीय लोगों ने बताया कि रात के अंधेरे में डंपरों के जरिए समीप की नदी से बालू लाकर पाटाई की जा रही है।

NathBux Singh
Published on: 6 March 2025 6:07 PM IST (Updated on: 6 March 2025 6:18 PM IST)
राम भरोसे वशिष्ठ कुंज योजना – सपनों का घर या घोटाले की बुनियाद?
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Ayodhya News: अयोध्या से 20 किलोमीटर दूर, 75 एकड़ में फैली और 300 करोड़ रुपये की लागत से विकसित हो रही वशिष्ठ कुंज योजना अब सवालों के घेरे में है। 6 मार्च को जब इस योजना की लॉटरी प्रक्रिया चल रही थी, पत्रकारों की पड़ताल में चौंकाने वाली सच्चाई सामने आई।

बालू से भराई भवन निर्माण पर बड़ा खतरा

योजना के तहत मिट्टी से भराई का प्रावधान था, लेकिन गुपचुप तरीके से समीप की नदी के पास से अवैध रूप से लाई गई बालू से गड्ढों की पाटाई की जा रही है। भवनों की मजबूती पर सवाल कि बालू से बनी नींव कमजोर होती है, जिससे इमारतें धंस सकती हैं या प्राकृतिक आपदाओं के दौरान गिर सकती हैं। अवैध खनन पर स्थानीय लोगों ने बताया कि रात के अंधेरे में डंपरों के जरिए समीप की नदी से बालू लाकर पाटाई की जा रही है। जांच में हेरफेर पर जब भी किसी अधिकारी का निरीक्षण होता है, तो ऊपर से थोड़ी मिट्टी डालकर सच्चाई छिपाने की कोशिश की जाती है।

सीमेंट ईंटों का खेल—क्या नियमों का पालन हुआ?

पत्रकारों की जांच में एक और बड़ा घोटाला सामने आया। एक कंपनी खुद ही साइट पर सीमेंटेड ईंटों का निर्माण कर रही है। इस पर कई सवाल खड़े होते हैं कि क्या इसके लिए सरकारी अनुमति मिली थी? क्या अन्य विभागों से लाइसेंस लिया गया? क्या टेंडर में इसका प्रावधान था, या फिर कंपनी ने खुद ही नियम तोड़े? विकास प्राधिकरण का जवाब—सिर्फ जांच का वादा?

जब इस पूरे मामले पर विकास प्राधिकरण के उपाध्यक्ष अश्वनी पांडे से सवाल किए गए, तो उन्होंने कहा कि मामले की जांच होगी और सही कदम उठाए जाएंगे। लेकिन सवाल यह है कि क्या यह जांच सिर्फ कागजों तक सीमित रहेगी? बालू से भराई के लिए किसका आदेश था, और क्या इसका टेंडर पास हुआ था? क्या मुख्यमंत्री तक यह मामला पहुंचेगा, या घोटाले को दबाने की कोशिश होगी? विकास के नाम पर भ्रष्टाचार? जिस योजना को आम जनता के लिए एक सुरक्षित और मजबूत टाउनशिप के रूप में पेश किया गया, वह अब गंभीर निर्माण खामियों और अनियमितताओं का अड्डा बन गई है। अब सवाल यह है कि क्या जनता को ठोस घर मिलेंगे या फिर भ्रष्टाचार की नींव पर टिकी कमजोर इमारतें? क्या इस घोटाले पर कार्रवाई होगी, या फिर यह मामला भी अन्य घोटालों की तरह ठंडे बस्ते में डाल दिया जाएगा?

Snigdha Singh

Snigdha Singh

Leader – Content Generation Team

Hi! I am Snigdha Singh, leadership role in Newstrack. Leading the editorial desk team with ideation and news selection and also contributes with special articles and features as well. I started my journey in journalism in 2017 and has worked with leading publications such as Jagran, Hindustan and Rajasthan Patrika and served in Kanpur, Lucknow, Noida and Delhi during my journalistic pursuits.

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