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Bank strike: निजीकरण के विरोध में हड़ताल का पहला दिन, उत्तर प्रदेश में 500 करोड़ का कारोबार प्रभावित

Bank Strike: बैंक कर्मियों के संगठन दो दिवसीय देशव्यापी हड़ताल बैंकों का निजीकरण रोकने, पुरानी पेंशन बहाल करने के लिए दो दिवसीय देशव्यापी हड़ताल का आवाह्न किया है।

Shashwat Mishra
Report Shashwat MishraPublished By Shreya
Published on: 28 March 2022 9:39 PM IST
Bank Strike: बैंकों ने निजीकरण के विरोध में की हड़ताल, पूरे UP में 500 करोड़ का लेनदेन हुआ प्रभावित
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बैंक यूनियन स्ट्राइक (फोटो- आशुतोष त्रिपाठी, न्यूजट्रैक)

Bank Strike: बैंक कर्मियों के संगठन 'ऑल इंडिया बैंक एम्पलाइज एसोसिएशन' व 'ऑल इंडिया बैंक ऑफिसर्स एसोसिएशन' ने सार्वजनिक क्षेत्रों के बैंको को निजीकरण करने की केन्द्र सरकार के प्रयासों के विरोध और पुरानी पेंशन बहाल करने हेतु दो दिवसीय देशव्यापी हड़ताल (Two Day Nationwide Strike) का आवाह्न किया है। जिसके पहले दिन हड़ताली बैंक कर्मियों ने अपने-अपने मंडलीय, क्षेत्रीय कार्यालय व अपनी शाखा के सामने प्रर्दशन एवं सभा की।

इन मांगों को लेकर हुई हड़ताल

इंडियन बैंक (Indian Bank) हजरतगंज शाखा के समक्ष प्रदर्शन में यूपी बैंक इम्पलाइज यूनियन के प्रदेश उपाध्यक्ष दीप बाजपेई ने बताया कि दो दिवसीय देशव्यापी हड़ताल बैंकों का निजीकरण (Banks Privatization) रोकने, पुरानी पेंशन बहाल करने, एनपीए वसूली शुरू कराने, जमा राशि पर ब्याज बढ़ाने, ग्राहकों पर उच्च सेवा शुल्क पर रोक लगाने, नई भर्तियां करने, आउटसोर्सिंग बंद कराने आदि मांगों के लिए की जा रही है। इस अवसर पर अनेक बैंक कर्मी नेताओं ने सभा को संबोधित करते हुए मांगों के बारे में विस्तृत चर्चा की।

(फोटो- आशुतोष त्रिपाठी, न्यूजट्रैक)

जनता की कमाई पूंजीपतियों को सौंप रही

दीप बाजपेई ने रोष में कहा- सरकार जनता की गाढ़ी कमाई, पूंजीपतियों के हितों के लिये, बैंको का निजीकरण करके उन्हें सौंपना चाह रही है। यह जनता के साथ धोखाधड़ी है। बैंककर्मी और आम जनता हरहाल में सरकार को निजीकरण करने से रोकेंगे।

बैंक यूनियन की हड़ताल (फोटो- आशुतोष त्रिपाठी, न्यूजट्रैक)

एसबीआई ने बनाई हड़ताल से दूरी

सोमवार की बैंक हड़ताल में मुख्य रूप से इंडियन बैंक, पंजाब एंड सिंध बैंक, यूनियन बैंक, सेंट्रल बैंक, केनरा बैंक, नैनीताल बैंक, फेडरल बैंक, ग्रामीण बैंक शामिल रहे। साथ ही, पंजाब नेशनल बैंक, बैंक ऑफ बड़ौदा, बैंक ऑफ इंडिया आदि बैंकों में संगठन के कम सदस्य होने के कारण कोई प्रभाव नहीं पड़ा। वहीं दूसरी ओर स्टेट बैंक ऑफ इंडिया, इंडियन ओवरसीज बैंक आदि बैंकों ने हड़ताल से दूरी बनाकर रखी। मीडिया प्रभारी अनिल तिवारी ने बताया कि आज की हड़ताल से लखनऊ में लगभग 45 करोड़ और प्रदेश में 500 करोड़ का लेनदेन प्रभावित रहा।

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Shreya

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